श्रीनगर: नैनीताल से हाईकोर्ट शिफ्टिंग मामले पर अब सामाजिक संगठनों ने एक मंच पर आकर हाईकोर्ट को मैदानी क्षेत्र की बजाय पर्वतीय जिलों में ही शिफ्ट करने की मांग उठाई है. इस संबंध में श्रीनगर-गढ़वाल को हाईकोर्ट के लिये बेहतर स्थान बताया. सामाजिक संगठन से जुड़े लोगों का कहना है कि उत्तराखंड आंदोलन का मकसद ही पहाड़ी जिलों के विकास के लिए हुआ था. ऐसे में अगर नैनीताल जैसे पहाड़ी जिले से हाई कोर्ट शिफ्ट किया जा रहा है, तो हाईकोर्ट को मैदानी जिले की बजाय पहाड़ में ही शिफ्ट होना चाहिए.
सामाजिक संगठन से जुड़े लोगों का कहना है कि नैनीताल से हाईकोर्ट मैदानी जिले में शिफ्ट हुआ तो नैनीताल से पलायन मैदानी जिलों की तरफ होगा. वहीं, अगर हाईकोर्ट श्रीनगर में शिफ्ट हुआ तो पौड़ी जिले से हो रहे पलायन पर रोक लगेगी. साथ ही पहाड़ी जिले की अव्यवस्थाओं पर कोर्ट का ध्यान केंद्रित करने के लिए कोर्ट में जनहित याचिका डालने में भी सामाजिक कार्यकर्ताओं को आसानी होगी और पहाड़ के हालात सुधरेंगे.