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लखनऊ की वृंदावन योजना में बड़ी गड़बड़ी; आवास विकास परिषद ने संपत्ति अधिकारी को किया निलंबित - HOUSING DEVELOPMENT COUNCIL

Lucknow News: आवास विकास परिषद के संपत्ति अधिकारी पर दलालों से मिलीभगत कर उनको फायदा पहुंचाने का है आरोप.

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आवास विकास परिषद ने संपत्ति अधिकारी को किया निलंबित. (Photo Credit; ETV Bharat)

By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Dec 12, 2024, 3:24 PM IST

लखनऊ: यूपी की राजधानी लखनऊ में वृंदावन योजना में भ्रष्टाचार की शिकायतें सामने आ रही हैं. जिसकी वजह से अधिकारी, कर्मचारी और दलालों के मकड़जाल आम आवंटी का शोषण कर रहा है. ऐसे ही एक मामले में संपत्ति अधिकारी को निलंबित किया गया है. अब अधिकारियों की इस पूरी चेन पर नजर है. माना जा रहा है कि आने वाले समय में और कड़ी कार्रवाई हो सकती है.

आवास विकास परिषद की वृंदावन योजना के संपत्ति अधिकारी नरेश कुमार को अनुशासनहीनता और दलालों से मिलीभगत के आरोप में निलंबित कर दिया गया है. इसका आदेश भी आवास विकास परिषद सचिव नीरज शुक्ला ने जारी कर दिया है. वहीं, प्रशासनिक अधिकारी आनंद कुमार गौतम को वृंदावन योजना का संपत्ति अधिकारी बनाया गया है. नीरज शुक्ला ने बताया कि ऐसे हर मामले पर उनकी नजर है. आने वाले समय में हम और कड़ी कार्रवाई करेंगे.

परिषद के कनिष्ठ सहायक निखिल जोशी ने संपत्ति अधिकारी नरेश कुमार पर आरोप लगाया था. उनका कहना था कि नरेश कुमार अपने पास दलालों को बैठाते हैं. किसानों के भूखंड आवंटन से जुड़ी फाइलें दलालों को दिखाने का दबाव बनाते हैं. दलाल बदसुलूकी करते हैं, तो संपत्ति अधिकारी आपत्ति जताने के बजाय उनका बचाव करते हैं. ट्रांसफर हो जाने के बाद भी मुझे कार्यमुक्त नहीं किया गया.

निलंबन के बाद प्रशासनिक अधिकारी ब्रजेश कुमार को अवध विहार योजना का नया संपत्ति अधिकारी बनाया गया है. ब्रजेश अभी मुरादाबाद कार्यालय में तैनात हैं. इसके अलावा इंदिरानगर संपत्ति प्रबंधक के पद पर तैनात रामचंद्र को अब आम्रपाली योजना के संपत्ति प्रबंधक की जिम्मेदारी दी गई है. फिलहाल इस मामले में अभी और कार्रवाई होगी. नीरज शुक्ला ने बताया कि दलालों के मकड़जाल को समाप्त करने के लिए आवास विकास परिषद संभव प्रयास कर रहा है.

कोविड से बताई थी PWD महिला कर्मचारी की मौत, अब होगी हत्या की जांच: लोक निर्माण विभाग की महिला कर्मचारी की मौत 2020 में कोविड काल में हुई थी. कोरोना काल में मृत्यु होने की वजह से अधिकांश लोगों तक यह सूचना पहुंची कि महिला की मौत कोविड से हुई. अब वरिष्ठ महिला कर्मचारी की मौत की जांच गृह विभाग करवाएगा. इस प्रकरण में विभागीय यूनियन के पदाधिकारियों पर दुष्कर्म के बाद हत्या करने का आरोप है.

विभाग की कमेटी ने मामले की जांच पुलिस से कराने की संस्तुति की थी. इस पर पीडब्ल्यूडी के सचिव गुर्राला श्रीनिवासुलु ने अपर मुख्य सचिव, गृह को जांच कराकर रिपोर्ट उपलब्ध कराने के लिए पत्र भेज दिया है. उन्होंने बताया कि यह मामला विभागीय जांच और कार्रवाई से आगे निकलकर पुलिस की जद में आ चुका है. प्रकरण अपराधिक है, इसलिए पुलिस ही जांच करके रिपोर्ट देगी.

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