रांचीः झारखंड विधानसभा चुनाव को लेकर पिछले दिनों एनडीए घटक दलों की बैठक दिल्ली में होने के पश्चात अब सीट शेयरिंग का फार्मूला तय किया जाएगा. बीजेपी झारखंड के जिन सीटों पर मजबूत स्थिति में है उसपर विचार-विमर्श करने के लिए क्षेत्रीय संगठन महामंत्री नागेंद्र त्रिपाठी और प्रदेश प्रभारी लक्ष्मीकांत वाजपेयी कल शुक्रवार शाम ही दिल्ली रवाना हो गए.वहीं प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी और कुछ अन्य नेता जल्द ही दिल्ली दौरे पर जाएंगे.
बीजेपी 65 सीटों पर लड़ना चाहती है चुनाव!
बीजेपी झारखंड की 81 में से 65 सीटों पर खुद चुनाव लड़ना चाहती है. इसको लेकर कवायद शुरू हो गई है.पार्टी के पदाधिकारियों का जोर इस बात पर है कि जिन सीटों पर भाजपा 2019 में जीत दर्ज की थी, उन सीटों को गठबंधन के तहत किसी दूसरे दल को नहीं दिया जाए. इसके अलावे 2019 के चुनाव में बीजेपी जिन सीटों पर दूसरे स्थान पर रही उसे भी भाजपा अपने खाते में ही रखना चाहती है.
जदयू ने किया 12 सीटों पर दावा
सरयू राय के जदयू में शामिल होने के बाद सबसे ज्यादा परेशानी भाजपा को है.एनडीए फोल्डर में शामिल जदयू की ओर से जमशेदपुर पूर्वी सीट सहित 12 सीटों पर दावा किया जा रहा है.जदयू की ओर से 15 सीटों की मांग की गई है. जिसमें 12 सीटों पर चुनाव हर हाल में लड़ने का दावा किया जा रहा है.
इस संबंध में जदयू के प्रदेश महासचिव संतोष सोनी कहते हैं कि 5 सीट बीजेपी से मिल रहा है, लेकिन हमलोग विधानसभा चुनाव में 12 सीटों पर प्रत्याशी खड़ा करना चाहते हैं.
आजसू ने 18 सीटों की मांग की
इसी तरह आजसू की ओर से भी 18 सीटों की मांग रखी गई है. बीजेपी का आजसू से पुराना दोस्ताना संबंध रहा है.हालांकि 2019 विधानसभा चुनाव में आई खटास का खामियाजा बीजेपी को उठाना पड़ा था. जिसे बार-बार बीजेपी के समक्ष एनडीए के सहयोगी दल उठाते रहे हैं, लेकिन इस बार झारखंड में जयराम महतो की पार्टी के चुनावी मैदान में उतरने से आजसू की परेशानी बढ़ गई है.
लोजपा 10 सीटों पर लड़ना चाहती है चुनाव
इन सबके बीच लोजपा भी एनडीए फोल्डर में अपना हक मांगने में जुटा है.लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) कम से कम 10 सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है. जिसपर मुहर 25 अगस्त को होनेवाले राष्ट्रीय कार्यसमिति की बैठक में होने की संभावना जताई जा रही है.