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रिटायर्ड आर्मी डॉग्स को मिलेगा अब परिवार का साथ, सेवानिवृत्ति के बाद नई शुरुआत - RETIRED ARMY DOGS ADOPTION

भारतीय सेना के सेवानिवृत्त सैन्य श्वानों की निष्ठा भरी आर्मी सर्विस के बाद अब उन्हें रिटायरमेंट लाइफ में परिवार भी मिल रहा है.

Retired Army Dogs adoption
आर्मी डॉग्स को मिलेगा अब परिवार का साथ (ETV Bharat Jaipur)

By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : 10 hours ago

जयपुर : भारतीय सेना के निस्वार्थ सेवा करने वाले रिटायर्ड डॉग्स को अब सेवानिवृत्ति के बाद एक नई शुरुआत का अवसर मिलेगा. सेना के साथ हर मुश्किल परिस्थिति में कंधे से कंधा मिलाकर देश सेवा करने वाले इन के-9 हीरोज को प्रशिक्षण के दौरान चुनौतियों का सामना करना, शांत स्वभाव अपनाना और अपने कार्य के प्रति समर्पण दिखाना सिखाया जाता है. अब सेवानिवृत्ति के बाद इन्हें विशेष बच्चों के स्कूलों और देशभर के नागरिकों द्वारा अपनाने की प्रक्रिया शुरू हो गई है.

12 डॉग्स हुए देश सेवा से विदा :हाल ही में रिमाउंट वेटरनरी कॉर्प्स (RVC) दिवस के अवसर पर भारतीय सेना ने 12 आर्मी डॉग्स को सेवानिवृत्त किया है. इन डॉग्स ने अपने सेवा काल में विभिन्न क्षेत्रों और संचालन परिस्थितियों में साहस और दृढ़ता का प्रदर्शन किया. उन्होंने विस्फोटकों का पता लगाने, हिमस्खलन बचाव अभियान, ट्रैकिंग, सुरक्षा और मानवीय प्रयासों जैसे कार्यों में महत्वपूर्ण योगदान दिया. इस मौके पर रिमाउंट वेटरनरी कॉर्प्स के मेजर जनरल देवेंद्र कुमार ने कहा कि भारतीय सेना का यह विभाग इन डॉग्स को न केवल उत्कृष्ट प्रशिक्षण देता है, बल्कि उनके कार्यक्षेत्र में दक्षता भी सुनिश्चित करता है.

सेवानिवृत्ति के बाद नई शुरुआत (ETV Bharat Jaipur)

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रिटायरमेंट के बाद डॉग्स की जीवनशैली :भारतीय सेना के सेवानिवृत्त डॉग्स को मेरठ छावनी स्थित रिमाउंट वेटरनरी कॉर्प्स सेंटर और कॉलेज के कैनाइन जेरियाट्रिक सेंटर में रखा जाता है. यहां उन्हें उत्कृष्ट देखभाल और आरामदायक जीवन प्रदान किया जाता है. यह केंद्र विशेष रूप से इन डॉग्स के लिए डिजाइन किए गए हैं, ताकि वे अपनी सेवा के बाद भी आराम और सम्मान से जी सकें. मेजर जनरल ने बताया कि इन केंद्रों में विशेषज्ञ पशु चिकित्सा सेवाएं, पोषण और आरामदायक वातावरण उपलब्ध कराया जाता है. इसके बाद इन्हें समाज के विभिन्न वर्गों, जैसे विशेष बच्चों के स्कूलों या ऐसे परिवारों के साथ जोड़ा जाता है जो इन्हें गोद लेना चाहते हैं.

जेरियाट्रिक सेंटर :भारतीय सेना न केवल डॉग्स बल्कि सेवा से रिटायर्ड घोड़ों के लिए भी जेरियाट्रिक सेंटर संचालित करती है. इसमें यह सुनिश्चित किया जाता है कि इन पशुओं को भी सम्मान और देखभाल उसी प्रकार मिले जैसे सेवानिवृत्त मानव सैनिकों को दी जाती है. यह पहल भारतीय सेना के मानवीय दृष्टिकोण का प्रमाण है.

सेवानिवृत्त सैन्य श्वानों मिलेगी परिवार (ETV Bharat Jaipur)

समाज में योगदान की नई भूमिका :रिटायरमेंट के बाद ये डॉग्स समाज के अन्य वर्गों में भी अपनी उपयोगिता सिद्ध कर रहे हैं. विशेष बच्चों के स्कूलों में उनकी उपस्थिति बच्चों के मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य में सुधार लाती है. इसके अलावा कई नागरिक उन्हें अपने परिवार का हिस्सा बनाकर उनकी सेवा का सम्मान कर रहे हैं. भारतीय सेना का यह प्रयास न केवल इन पशुओं की सेवा को मान्यता देता है, बल्कि उनके जीवन के आखिरी वर्षों को सम्मान और प्यार से भरने की कोशिश करता है. यह पहल न केवल सेना की मानवता का उदाहरण है, बल्कि समाज के प्रति उनकी जिम्मेदारी का भी प्रतीक है.

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