पटना: बिहारी व्यंजन लिट्टी चोखा ने राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पहचान बनाई. बदलते दौर में बिहार में उपजने वाले मिलेट से बने व्यंजन भी खूब पसंद किया जा रहे हैं. राजधानी पटना में मिलेट रेस्टोरेंट भी खुल रहे हैं और लोग भी मिलेट से बने भोजन को खूब पसंद कर रहे हैं.
पटना में चखे मिलेट्स से बने स्पेशल व्यंजन: भारत सरकार ने साल 2023 को मिलेट वर्ष के रूप में मनाया था. मिलेट मोटे अनाज को कहते हैं. मोटे अनाज की श्रेणी में जौ, ज्वार, बाजरा, कुदरा ,रागी और कुटकी जैसे अनाज आते हैं. गेहूं चावल की तुलना में मिलेट्स में न्यूट्रिएंट्स अधिक पाए जाते हैं. मिलेट्स में कई तरह के फाइटोकेमिकल्स भी होते हैं जो एंटीऑक्सीडेंट का काम करते हैं. मिलेट्स में कार्बोहाइड्रेट प्रोटीन और फाइबर होता है.
पटना में खुला मिलेट्स रेस्टोरेंट:पहाड़ी इलाकों में मोटे अनाज की खेती खूब होती है. खास बात यह है कि मोटे अनाज की खेती में खाद का इस्तेमाल नहीं होता है. मोटे अनाज जैविक तरीके से उपजाए जाते हैं. बिहार में मोटे अनाज के कदरदानों की संख्या बढ़ रही है. अब मिलेट्स रेस्टोरेंट भी खुलने लगे हैं. राजधानी पटना का मिलेट्स रेस्टोरेंट इन दोनों मिलेट खाने वालों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है.
बीपी, शुगर को नियंत्रित करता है मिलेट्स:आधुनिक शोध के मुताबिक मिलेट्स को सुपर फूड भी कहा जाता है. मिलेट्स फाइबर से भरपूर होते हैं और ग्लूटेन फ्री होता है. मिलेट्स में विटामिन मिनरल्स और प्रोटीन प्रचुर मात्रा में पाया जाता है. मिलेट्स का सेवन कर कई रोगों से मुक्ति मिल सकती है. ब्लड प्रेशर और शुगर जैसी बीमारी के दौरान मिलेट्स का सेवन फायदेमंद होता है.
पाया जाता है एंटीऑक्सीडेंट: मिलेट्स में गैलेक्सी का एंटीऑक्सीडेंट पाए जाते हैं जो दिल के स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में मदद करते हैं. इसमें गुड कोलेस्ट्रॉल भारी मात्रा में पाया जाता है. बाजरे में पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट कैंसर के खिलाफ लड़ने में मददगार साबित होते हैं.