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सीआईआई चंडीगढ़ मेला 2024: अलग-अलग संस्कृति और कला की लगाई गई प्रदर्शनी

चंडीगढ़ के सेक्टर-17 परेड ग्राउंड में तीन दिवसीय सीआईआई चंडीगढ़ मेला 2024 लगाया गया. यहां 280 से अधिक प्रदर्शनी लगाई गई.

CII Chandigarh Fair 2024
सीआईआई चंडीगढ़ मेला 2024 (ETV Bharat)

By ETV Bharat Haryana Team

Published : 4 hours ago

चंडीगढ़:सीआईआई चंडीगढ़ मेला 2024 का आगाज हो चुका है. जिले के सेक्टर-17 परेड ग्राउंड में शुक्रवार से 27वें सीआईआई फेयर की शुरुआत हो गई है. 28 अक्टूबर तक ये मेला लगा रहेगा. इस मेले में गोवा, गुजरात, जम्मू और कश्मीर, पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश सहित कई राज्यों से 280 से अधिक प्रदर्शनी लगाई गई. इन सभी ने एक ही छत के नीचे संस्कृति, वाणिज्य और कला का संगम पेश किया. वहीं, 6 हजार वर्ग मीटर में फैले इस ग्राउंड में हर दिन सुबह 10 बजे से रात आठ बजे तक ये मेला लगाया जाएगा.

प्रदर्शनी ने लोगों को अपनी ओर खींचा:इस मेले में देश के अलग-अलग राज्यों से आए कारीगरों ने प्रदर्शनी लगाई है, जिसमें गाजीपुर के सरफिराज और दिल्ली के श्रवण कुमार जैसे शिल्पकारों ने दिवाली से जुड़ी हर चीजों को अपने स्टॉल में सजाया है. सैकड़ों स्टालों के बीच ये कारीगर न केवल अपनी अनूठी कृतियों से बल्कि समर्पण और परंपरा की कहानियों से भी लोगों को अपनी ओर खींचा.

पीतल से बनीं मूर्तियां लोगों को कर रही आकर्षित:सरफिराज के जटिल, एनीवोर्मेन्टेट फ्रेंडली, जूट से बनी चीजें, पीतल की मूर्तियों लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है. जो परंपरा, स्थिरता और शिल्प के लिए एक अचूक जुनून को एक साथ जोड़ता है. इस साल चंडीगढ़ फेयर ने देश भर के कारीगरों को आकर्षित किया है. जो सांस्कृतिक विरासत, आधुनिक घरेलू सजावट और नवीन उपकरणों का एक मिश्रण पेश कर रहा है, जिससे फेयर की खरीदारी और संस्कृति के क्षेत्र में अपनी जगह पक्की की है.

सीआईआई के 27 वें चंडीगढ़ फेयर में वोल्टास, सिंगर इंडिया और करचर जैसे ब्रांडों के आधुनिक नवाचारों के साथ सरफिराज और श्रवण जैसे कारीगरों के पुरानी दुनिया के आकर्षण का मिश्रण है. जो घरेलू उपकरणों को नए रूप में प्रस्तुत कर रहे हैं. उनके जैसे कारीगर चंडीगढ़ फेयर को आम लोगों के लिए पहली पसंद में बनने में मददगार साबित होते हैं. सीआईआई चंडीगढ़ फेयर सिर्फ एक बाजार से कहीं अधिक बन गया है. यह देश के कारीगर परंपराओं की आत्मा में एक खिड़की है, जो पीढ़ियों को जोड़ती है और सपनों को जीवन में लाती है. -अनुराग गुप्ता, चेयरमेन, सीआईआई

पिछले 10 सालों से लगा रहे प्रदर्शनी:जूट कारीगरों के परिवार में पले-बढ़े सरफिराज को बहुत कुछ विरासत में मिला है.वो पीढ़ियों पुरानी विरासत को आगे बढ़ा रहे हैं. उनके स्टॉल में जूट हैंडबैग, चटाई और दीवार पर लटकी मिट्टी है, जिसमें मजबूत डिजाइन और रंग बिरंगी कला फेयर में आने वाले लोगों को अपने ओर आकर्षित करती है. सरफिराज की मानें तो जूट सिर्फ एक कपड़े से कहीं अधिक है. यह टिकाऊ है, जिसका इस्तेमाल लम्बे समय तक किया जा सकता है फेयर में पिछले 10 सालों से श्रवण अपने काम की प्रदर्शनी लगा रहे हैं. उनका विनम्र स्वभाव और असाधारण कौशल लोगों के आकर्षण का केंद्र बन रहा है. उनके सभी प्रोडक्ट 100 रुपए से शुरू होते हुए ₹2000 तक जा रहा है. वहीं, दिवाली के मोके यहां 20 फीसद तक की छूट दी गई है.

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