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उत्तराखंड के स्कूलों में दिनों दिन बढ़ रहे 'अपराध', अस्पताल भी नहीं सुरक्षित, डराने वाली हैं ये घटनाएं - Crime In Uttarakhand Schools - CRIME IN UTTARAKHAND SCHOOLS

Crime In Uttarakhand Schools, Dehradun Ragging Sexual Abuse case, molestation cases in schools उत्तराखंड के स्कूलों में दिनों दिन 'अपराध' का ग्राफ बढ़ता जा रहा है. आये दिन छेड़छाड़, यौन शोषण, रैंगिग के मामले स्कूलों से सामने आ रहे हैं. इन घटनाओं के बाद परिजन भी डरे हुये हैं.

CRIME IN UTTARAKHAND SCHOOLS
उत्तराखंड के स्कूलों में दिनों दिन बढ़ रहे 'अपराध' (ETV BHARAT)

By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Sep 6, 2024, 7:52 PM IST

Updated : Sep 6, 2024, 8:28 PM IST

देहरादून:उत्तराखंड की राजधानी देहरादून के नामी स्कूल पर रैगिंग यौन शोषण के गंभीर आरोप लगे हैं. जिसके बाद से ही राजधानी देहरादून का माहौल गर्माया हुआ है. शिक्षा का हब कहे जाने वाले देहरादून से इस तरह की घटनाएं चौंकाने वाली हैं. देहरादून के नामी स्कूल से जब इस तरह की खबर आती है तो अभिभावकों की चिंताएं बढ़ना लाजमि है. सोचने वाली बात यह है कि बच्चे स्कूलों, मदरसों अस्पतालों तक मेंं सुरक्षित नहीं है. बात अगर उत्तराखंड की करें तो बीते कुछ महीनों में स्कूलों में इस तरह की घटनाएं बढ़ी हैं.

देहरादून के नामी स्कूल में रैगिंग यौन शोषण: ताजा मामलादेहरादून के एक बड़े स्कूल से जुड़ा है. जहां पर एक पिता ने असम में पुलिस को एक शिकायत दी. जिसमें बताया कि उनका बेटा आठवीं कक्षा में देहरादून में पढ़ता है. जहां स्कूल में उसके साथ न केवल रैगिंग हुई बल्कि यौन उत्पीड़न भी किया गया. असम में दर्ज हुई शिकायत जीरो एफआईआर के रूप में देहरादून पुलिस के पास पहुंची. जिसके बाद पुलिस ने जांच पड़ताल शुरू की. इस मामले के सामने आने के बाद देहरादून का माहौल गर्मा गया है. एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं ने आज इस स्कूल के बाहर प्रदर्शन किया. उन्होंने इस मामले में जांच की मांग की.

उत्तराखंड के स्कूलों में दिनों दिन बढ़ रहे 'अपराध' (ETV BHARAT)

इस मामले पर क्या बोला स्कूल प्रबंधन:इस पूरे मामले पर स्कूल प्रबंधन का बयान भी सामने आया है. स्कूल प्रिंसिपल ने कहा इस पूरे घटनाक्रम की इंटरनल इन्वेस्टिगेशन चल रही है. उन्होंने कहा अब तक उनके संज्ञान में रैगिंग और यौन उत्पीड़न जैसा मामला सामने नहीं आया है. शिक्षा संस्थान से जुड़े लोग कह रहे हैं कि इस शिक्षा के मंदिर में हर छात्र को बड़ी सुरक्षित तरीके से रखा जाता है. रैगिंग का मामला हमारे स्कूल में आज तक नहीं आया है. स्कूल प्रबंधन शिकायत करने वाले छात्र के परिवार से रैगिंग के सबूत और जांच में सहयोग करने की अपील कर रहा है.

हल्द्वानी में टीचर ने छात्रा को भेजे अश्लील मैसेज: ऐसा नहीं है कि शिक्षा के मंदिर में इस तरह की हरकत का ये पहला मामला है. इससे पहले भी उत्तराखंड में इस तरह के मामले सामने आ चुके हैं. हालांकि, देहरादून का मामला रैगिंग से जुड़ा है, लेकिन इससे अलग छात्रों के संग पहले भी गलत मानसिकता के साथ कृत्य किए गए हैं. ऐसा ही एक मामला 1 सितंबर को उत्तराखंड के हल्द्वानी शहर से समाने आया. यहां के एक नामी स्कूल में पढ़ने वाली दसवीं की छात्रा से टीचर ने छेड़छाड़ की. बताया जा रहा है कि टीचर ने छात्रा को स्नैपचैट पर लगातार आपत्तिजनक मैसेज भेजे. साथ ही उससे अश्लील बातें करने की कोशिश की. इसके बाद परिजनों ने पुलिस से मामले की शिकायत की. जिसके बाद मामले में तत्काल प्रभाव से दुष्कर्म और पॉक्सो को एक्ट में मुकदमा दर्ज किया गया. इस घटना के बाद आक्रोशित छात्रों ने स्कूल और संबंधित अधिकारियों के दफ्तर के बाहर हंगामा भी किया.

उत्तराखंड के स्कूलों में दिनों दिन बढ़ रहे 'अपराध' (ETV BHARAT)

उधम सिंह नगर में 4 साल की बच्ची के साथ स्कूल में गलत काम: हल्द्वानी का मामला जैसा ही शांत हुआ इसके बाद पड़ोसी जिले उधम सिंह नगर जिले से भी ऐसा ही एक मामला सामने आया. यहां स्कूल में 4 साल की बच्ची के साथ गलत काम किया गया. हैरानी की बात यह थी कि घिनौनी हरकत करने वाले कोई और नहीं बल्कि इस स्कूल में पढ़ने वाले ही तीन छात्र थे. जिनकी उम्र मात्र 9, 11, और 14 साल थी. पुलिस ने इन तीनों छात्रों को बाल सुधार गृह भेजा. तीनों के खिलाफ गंभीर धाराओं में फिलहाल मुकदमा दर्ज किया गया है. अभी आरोपियों की उम्र काफी कम है, लिहाजा पुलिस इस मामले में ज्यादा कुछ कहने से बच रही है.

उत्तराखंड के स्कूलों में दिनों दिन बढ़ रहे 'अपराध' (ETV BHARAT)

पौड़ी में शिक्षक ने छात्रा का किया अपहरण: 5 सितंबर को पौड़ी जिले में एक शिक्षक पर बेहद गंभीर आरोप लगे. इस दिन पूरा देश शिक्षक दिवस मना रहा था, तब पौड़ी में एक शिक्षक ने अपनी ही छात्रा का अपहरण कर रहा था. ये छात्रा नाबालिग थी. घटना की जानकारी परिजनों से पुलिस को दी. इसके बाद पुलिस ने दोनों की तलाश की. जिसके बाद पता चला कि शिक्षक छात्रा को अपनी बातों में बहला फुसलाकर ले गया था. शिक्षक नाबालिग छात्रा के साथ कोटद्वार में था. पुलिस की कार्रवाई के बाद शिक्षक अपनी बीमारी का बहाना करके कोटद्वार के ही एक अस्पताल में भर्ती हो गया. इस मामले में पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है.

उत्तराखंड के स्कूलों में दिनों दिन बढ़ रहे 'अपराध' (ETV BHARAT)

रुद्रपुर में मदरसे में मौलवी बना शैतान: शिक्षा के मंदिर में इस तरह के मामले प्रदेश में बीते एक हफ्ते में लगातार बढ़े हैं. ऐसा ही एक मामला रुद्रपुर के मदरसे से भी सामने आया. यहां एक मौलवी छोटी-छोटी बच्चियों के साथ न केवल अश्लील हरकतें कर रहा था बल्कि उन्हें अश्लील फिल्में दिखाकर रोजाना परेशान भी करता था. मौलवी की हरकत तब सामने आई जब 8 साल की बच्ची की तबीयत अचानक खराब हुई. उसने अपने परिवार को पूरी बात बताई. जिसके बाद परिवार के लोगों ने मौलवी की पूरी करतूत को पुलिस को बताई. इसके बाद पुलिस ने तत्काल मामले को गंभीरता से लेते हुए मौलवी को गिरफ्तार किया.

उत्तराखंड के स्कूलों में दिनों दिन बढ़ रहे 'अपराध' (ETV BHARAT)

अस्पताल भी सुरक्षित नहीं: शिक्षा के मंदिर से लेकर उत्तराखंड के अस्पतालों में इस तरह के मामले लगातार आ रहे हैं. बीते दिनों उधम सिंह नगर के रुद्रपुर में मेडिकल स्टाफ के साथ न केवल उत्तर प्रदेश के रहने वाले एक युवक ने रेप किया. साथ ही उसकी बेरहमी से हत्या भी की. इस मामले में उधम सिंह नगर एसटीएफ लगातार जांच कर रही है. आरोपी को जेल भी भेज दिया गया है.

अस्पताल भा नहीं सुरक्षित (ETV BHARAT)

श्रीनगर में 12 साल की पेसेंट पर गलत नजर: अस्पताल में अपराध की ऐसी घटना जुलाई महीने में श्रीनगर गढ़वाल में भी घटी है. यहां 12 साल की छोटी सी बच्ची के पेट में दर्द होने के बाद परिजनों ने उसे अस्पताल में भर्ती करवाया. तब किसी को यह मालूम नहीं था की जिस बच्ची की जान बचाने के लिए उसके परिवार के लोग अस्पताल में लेकर आए हैं इस अस्पताल में उसकी जान के लाले पड़ जाएंगे. अस्पताल में भर्ती छोटी सी मासूम को देखकर वहां मौजूद एक व्यक्ति ने खुद को न केवल डॉक्टर बताया बल्कि चेकअप के बहाने उसे शौचालय में ले गया. उसके साथ दुष्कर्म का प्रयास भी किया. मामले में पुलिस ने आरोपी को तत्काल गिरफ्तार किया.

अस्पताल भा नहीं सुरक्षित (ETV BHARAT)

भगवानपुर में गार्ड ने की छेड़छाड़: हरिद्वार के भगवानपुर थाना क्षेत्र में भी अस्पताल के अंदर छेड़छाड़ का मामला सामने आ चुका है. यह घटना 26 अगस्त साल 2024 की है, जब एक महिला ने आरोप लगाया कि अस्पताल में तैनात एक गार्ड ने उसके साथ न केवल बदतमीजी की बल्कि छेड़छाड़ भी की. घटना की जांच करने के बाद पुलिस ने गार्ड के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया. महिला ने पुलिस को यह बताया कि जब वह एक मरीज से मिलने के लिए यहां पर आई थी तब गार्ड ने अकेला देखकर उसके साथ अभद्रता और छेड़छाड़ की. विरोध करने पर गार्ड वहां से फरार हो गया.

अस्पताल भा नहीं सुरक्षित (ETV BHARAT)


कई संस्थाएं कर इस दिशा में कर रही काम: यह वह घटनाएं है जो उत्तराखंड में हाल ही में घटी हैं. आपराधिक घटनाओं का अंदाजा आप इस बात से लगाया जा सकता है कि महिलाएं कहीं भी सुरक्षित नहीं हैं. सबसे कच्ची उम्र होती है किसी भी बच्चों की वह स्कूल में होती है और अगर स्कूल में ही उसे इस तरह की चीजों से गुजरना पड़ेगा तो आप उनकी मनोस्थिति का अंदाजा लगा सकते हैं. स्कूलों में बच्चों की मनोस्थित जानने और उन्हें गुड टच, बैड टच के साथ-साथ तमाम बातों को जानने के लिए ईटीवी भारत ने नई उड़ान फाउंडेशन अध्यक्ष विनीता गौनियाल से बात की.

नई उड़ान फाउंडेशन अध्यक्ष विनीता गौनियाल (ETV BHARAT)

बच्चों में पहचाने परिवर्तन: विनीता गौनियाल ने कहा समाज में इस तरह की घटनाएं दिनों दिन बढ़ रही हैं. जब छोटी-छोटी बच्चियों के साथ स्कूल के अंदर इस तरह की हरकतें होती हैं, तब इस तरह के मामले गंभीर हो जाते हैं. ऐसे में बच्चों में हो रहे परिवर्तन को समझना जरूरी है. इसके लिए बच्चों पर हमेशा नजर बनाकर रखें. उनके बर्ताव का विशेष ध्यान दें. अगर इस तरह का कोई मामला आता है तो 99% ऐसे मामलों में बच्चा नॉर्मल नहीं रहता. ऐसे में बच्चों से संवाद बहुत जरुरी हो जाता है. परिजनों को चाहिए कि वह बच्चों को बैठाकर बात करें.

क्या होता है गुड टच (ETV BHARAT)

बच्चे करें ये काम, परिवार सिखाए और बताएं

क्या होता बैड टच (ETV BHARAT)
  • पहला स्टेप: किसी भी बच्चे के अंदर अगर कोई भी इस घटना के बाद परिवर्तन आ रहा है तो हमें तीन स्टेप का हमेशा ध्यान रखना है. यह स्टेप हमें अपने बच्चों को भी बताने हैं. बच्चों को बताना है कि अगर कोई भी आपके सेंसिटिव अंग को टच करता है, आपके कंधे पर हाथ रखता है, आपकी थाई पर हाथ रखता है तो आप जोर से उसे नो कहें.
  • दूसरा स्टेप: दूसरा अपने बच्चों को बताएं कि अगर ऐसा कुछ आपको लगता है तो सबसे पहले आप अगर अकेले में है तो भीड़भाड़ वाले इलाके में जाएं. हो सके तो अपने शिक्षकों के पास जाकर खड़े हो जाएं, अगर आप उन्हें नहीं बताना चाहते हैं तो परिवार के सदस्य को जरूर बताएं.
  • तीसरा स्टेप: मां बाप बच्चों को यह बताने के लिए सुनिश्चित हो कि बच्चों को यह पता हो कि घर में उनके लिए कोई एक ऐसा बॉडीगार्ड है जिसे वह अपने दिल, स्कूल, कॉलेज और दोस्तों के साथ की बात शेयर कर सकते हैं.
Last Updated : Sep 6, 2024, 8:28 PM IST

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