प्रयागराजःहाईकोर्ट ने बार-बार निर्देश के बावजूद स्पष्टीकरण नहीं देने पर भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) के परियोजना निदेशक पर दो हजार रुपये हर्जाना लगाया है. अपने सैलरी अकाउंट खाते से यह हर्जाना हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार जनरल के समक्ष भुगतान करने का निर्देश दिया है. यह आदेश न्यायमूर्ति पीयूष अग्रवाल ने दिया है. नेशनल हाईवे अथॉरिटी की ओर से दाखिल अपील पर कई बार निर्देश के बाद भी विलम्ब का स्पष्टीकरण नहीं देने पर कोर्ट ने जुर्माना लगाया है.
स्पष्टीकरण नहीं देने पर NHAI के प्रोजेक्ट डायरेक्टर पर हाईकोर्ट ने लगाया 2 हजार रुपये का हर्जाना - NHAI PROJECT DIRECTOR - NHAI PROJECT DIRECTOR
भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) के परियोजना निदेशक पर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने जुर्माना लगाया है. कोर्ट ने यह जुर्माना अपने वेतन से भरने का आदेश दिया है.
By ETV Bharat Uttar Pradesh Team
Published : Aug 29, 2024, 10:02 PM IST
|Updated : Aug 29, 2024, 10:22 PM IST
कोर्ट ने वेतन से हर्जाना जमा करने के आदेश के साथ ही अपील करने में हुई चूक का स्पष्टीकरण देने के लिए अतिरिक्त समय भी दिया. कोर्ट ने भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (National Highway Authority of India) के परियोजना निदेशक के वेतन से 2000 रुपये जमा कराने की शर्त पर मामले को स्थगित कर दिया. एनएचएआई डायरेक्टर ने परियोजना निदेशक के माध्यम से मध्यस्थता एवं सुलह अधिनियम 1996 की धारा 37 के तहत अपील की है, जो 11 दिन की देरी से दाखिल की गई है. अपीलार्थी के आग्रह पर कोर्ट ने गत 18 जुलाई के आदेश में लापरवाही के बारे में स्पष्टीकरण का पूरक हलफनामा दाखिल करने को दो सप्ताह का समय दिया था. फिर दो अगस्त अपीलार्थी के आग्रह पर पिछले आदेश का पालन करने के लिए अतिरिक्त समय प्रदान किया. कोर्ट ने कहा कि आदेश से पता चलता है कि पहले दो मौकों पर अपीलार्थियों के वकील के अनुरोध पर मामले को स्थगित कर दिया गया था ताकि वह पूर्व आदेश का पालन कर सकें. न्यायालय ने एनएचएआई डायरेक्टर को व्यक्तिगत हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है. साथ ही हर्जाना जमा करने की रसीद भी पेश करने को कहा है.
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