गिरिडीह: झारखंड युवा मोर्चा के सम्मेलन सह प्रशिक्षण शिविर में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पत्नी और गांडेय विधायक कल्पना मुर्मू सोरेन का एक अलग अंदाज देखने को मिला. इस एक दिवसीय कार्यशाला में जब कल्पना पहुंचीं तो उन्होंने कार्यकर्ताओं का अभिवादन किया. उन्होंने नमस्कार, जोहार, आदाब कहा. कार्यकर्ता भी जोश में आ गए और मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, दिशोम गुरु और कल्पना जिंदाबाद के नारे लगाए गए. नारे इतने गूंजे कि कल्पना एक बार फिर भावुक हो गईं.
कल्पना सोरेन ने टिशू पेपर से आंसू पोंछे, फिर पानी पिया और मुट्ठी बांधकर झारखंड झुकेगा नहीं, झारखंड रुकेगा नहीं का नारा लगाया. उन्होंने कहा कि जिन्होंने आपके मुख्यमंत्री को जेल भेजा, जिन्होंने झारखंड की जनता पर अत्याचार किया, अब उन्हें बाहर निकालने का समय आ गया है. इस चुनाव में कार्यकर्ताओं को वो पांच महीने याद रखने चाहिए जब आपके हेमंत दादा जेल की सलाखों के पीछे बंद थे. हमें याद रखना है कि झारखंड को झुकाने के लिए विपक्ष और केंद्र में बैठी सरकार ने क्या-क्या किया.
'विरोधियों की न बचे जमानत'
उन्होंने कहा कि पिछली सरकार ने झारखंड को लूटा. यहां के लोगों के अधिकारों पर हमला किया गया. 2019 में जिस दिन हेमंत सोरेन मुख्यमंत्री बने, उसी दिन से भाजपा ने सरकार गिराने की साजिश रची. जब वे सफल नहीं हुए, तो उन्होंने मुख्यमंत्री को जेल में डाल दिया. अब जब सीएम हेमंत जेल से बाहर आ गए हैं, तो झारखंड का हर व्यक्ति मजबूत हो गया है. हेमंत सोरेन लगातार राज्य के हित में काम कर रहे हैं. इस चुनाव में हमें कुछ ऐसा करना है कि विरोधियों की जमानत ही न बचे.
'नेता भागते हैं, कार्यकर्ता नहीं'
कल्पना सोरेन ने कार्यकर्ताओं के बहाने चंपाई सोरेन, सीता सोरेन और लोबिन हेम्ब्रम पर नाम लिए बिना हमला बोला. उन्होंने कहा कि कार्यकर्ता नेता बनाते हैं, कार्यकर्ता जीत दिलाते हैं. झारखंड मुक्ति मोर्चा कार्यकर्ताओं के सम्मान की रक्षा करता रहता है. झामुमो कार्यकर्ताओं की पार्टी है. यही कारण है कि नेता भाग जाते हैं, लेकिन एक भी कार्यकर्ता पार्टी नहीं छोड़ता. हमें भी कार्यकर्ताओं के सुख-दुख में उनके साथ खड़ा होना है और पार्टी उनके साथ खड़ी है.