लखनऊ :देश और प्रदेश के विभिन्न विश्वविद्यालय और डिग्री कॉलेज में संचालित 3 व 5 वर्षीय लॉ पाठ्यक्रम के अंतिम सेमेस्टर की पढ़ाई कर रहे छात्रों को बार काउंसिल आफ इंडिया (बीसीआई) ने बड़ी राहत दी है. ऐसे छात्र बार काउंसिल आफ इंडिया द्वारा 24 नवंबर को आयोजित कराई जारी वकालत के लिए अनिवार्य अखिल भारतीय बार परीक्षा (एआईबीई) में हिस्सा ले सकेंगे. परीक्षा को और अधिक सुलभ बनाने के लिए सुप्रीम कोर्ट के निर्दोशों के अनुरूप यह फैसला लिया गया है. बार काउंसिल आफ इंडिया ने नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया है. पंजीकरण कराने से संबंधित दिशा निर्देश भी जारी किए हैं.
बिना बैकलॉग वाले अंतिम सेमेस्टर के छात्र दे सकते हैं परीक्षा :बार काउंसिल की ओर से जारी नोटिफिकेशन में साफ कहा गया है कि 3 वर्षीय और 5 वर्षीय अंतिम सेमेस्टर की पढ़ाई कर रहे ले लॉ छात्र जो बीते सभी सेमेस्टर एग्जाम में बिना बैकलॉग (जिनका किसी भी सेमेस्टर में बैक न हो वह) इस परीक्षा में शामिल हो सकते हैं. सभी कैंडिडेट्स को एआईबीई के लिए पत्र होने के लिए डिग्री वह नामांकन प्रमाण पत्र की आवश्यकता होती थी. इन प्रमाण पत्रों को समय से प्राप्त करने में अंतिम वर्ष के छात्रों को आने वाली चुनौतियों को देखते हुए सुप्रीम कोर्ट ने बार काउंसिल ऑफ इंडिया को निर्देश दिया था कि ऐसे छात्रों को 2024 में आयोजित होने वाले एआईबीई की परीक्षा में पंजीकरण कराने की अनुमति दे.
जिसे डिग्री न मिली वह भी हो सकते हैं शामिल :बार कौंसिल ऑफ इंडिया ने एआईबीई रजिस्ट्रेशन को लेकर बुधवार शाम को जारी संशोधित अधिसूचना में कहा है कि अंतिम वर्ष के ऐसे छात्र परीक्षा के लिए रजिस्ट्रेशन कर सकते जिनकी पूर्व में किसी सेमेस्टर में बैकलॉग न लगा हो. ऐसे ग्रेजुएट छात्र भी परीक्षा में भाग लेने के लिए रजिस्ट्रेशन करा सकेंगे, जो परीक्षा में पास हो या उन्हें डिग्री न मिली हो. इसके अलावा ऐसे लोग ग्रेजुएट भी परीक्षा में शामिल हो सकेंगे जिनके पास डिग्री हो लेकिन किसी राज्य के बार काउंसिल में एनरोलमेंट ना हो या एनरोलमेंट के बाद एनरोलमेंट सर्टिफिकेट सरेंडर कर चुके.