रोहतास: एमएसपी गारंटी और कदवन जलाशय परियोजना को चालू करने की मांग को लेकर 37 दिनों से किसान प्रदर्शन कर रहे हैं. इसी बीच किसानों ने जिला प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाया है. कहा कि मंगलवार की आधी रात में सीओ आए और प्रदर्शन स्थल पर जेसीबी से पंडाल उखाड़ने लगे. कारण पूछा तो धमकाने लगे. किसानों का आरोप है कि सीओ गुंडा को लेकर आए थे.
किसानों को खदेड़ा: दरअसल, किसान समाहरणालय के सामने अनिश्चितकालीन धरना दे रहे हैं. किसानों ने कहा कि जब पंडाल उखाड़ने का विरोध किया तो किसानों को खदेड़ दिया गया कुछ लोगों को पकड़ कर थाना ले जाने लगे. जबकि सभी लोग शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे हैं. किसानों ने कहा कि जिला प्रशासन मनमानी कर रहा है.
रोहतास किसान महासंघ अध्यक्ष रमाशंकर सरकार (ETV Bharat) कार्रवाई का विरोध: रोहतास किसान महासंघ के अध्यक्ष रमाशंकर सरकार ने सीओ की इस कार्रवाई का विरोध जताया है. कहा कि आधी रात में आकर किसान को परेशान करना कहीं से उचित नहीं है. जिला प्रशासन किसानों के आंदोलन को कुचलना चाहती है. इस तानाशाही को किसान कतई बर्दाश्त नहीं करेगा.
"सीओ आए और जबदस्ती पंडाल नोचने लगे. इस जगह हमारे कुछ साथी मौजूद थे. सूचना मिलने के बाद हमलोग पहुंचे. सीओ अपने साथ गुंडा लेकर आए थे. दो बॉडीगार्ड और 4 गुंडा को लेकर आए थे और धमकी दे रहे थे. सीओ के द्वारा जघन्य अपराध किया गया है. आधी रात में इस तरह की हरकत नहीं करना चाहिए."-रमाशंकर सरकार, अध्यक्ष, किसान महासंघ, रोहतास
रोहतास में किसानों का प्रदर्शन (ETV Bharat) दशकों से योजना लंबित: रोहतास जिला में कदवन जलाशय परियोजना पिछले कई दशकों से लंबित है. इसे चालू करने की मांग को लेकर किसान आंदोलन कर रहे हैं. अभी तक इस मामले में कोई सुनवाई नहीं हुई. अंतत: जिला प्रशासन के द्वारा देर रात दल बल के साथ किसानों के पंडाल को उखाड़ दिया गया.सभी सामान को जब्त कर लिया गया.
रोहतास में किसानों का प्रदर्शन (ETV Bharat) 1987 घूम रहा डीपीआर: किसानों का कहना है कि कदवनजलाशय परियोजना का डीपीआर 1987 से घुम रहा है. किसान महासंघ इसके निर्माण और फसलों की MSP गारंटी कानून की मांग को लेकर 11 नवंबर से सासाराम में धरने पर हैं.
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