देहरादूनः उत्तराखंड में यूसीसी, आपदा और महिला अपराध के बाद इन दिनों सड़कों के गड्ढे सुर्खियों में हैं. दरअसल सीएम धामी ने अधिकारियों को अल्टीमेटम देकर सड़कों के गड्ढे भरने के निर्देश दिए हैं. खुद लगातार सीएम धामी अधिकारियों को सड़कों के गड्ढे भरने की समय सीमा याद दिलवा रहे हैं. दूसरी तरफ विपक्ष मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी को गड्ढा मुक्त प्रदेश का वादा याद दिलाकर बार-बार चुटकी ले रहा है. ऐसे में प्रदेश की सड़कों के गड्ढों ने उत्तराखंड की राजनीति में चर्चाओं को लिए मजबूत जगह बना ली है.
सड़कों के गड्ढ़ों के पीछे पड़े सीएम धामी: भले ही सरकारें सड़कों के गड्ढे को लेकर इतनी सजग न रहती हो, लेकिन मॉनसून के दौरान खराब हो चुकी सड़कें और लगातार दुर्घटनाओं को देखते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी अब इन सड़कों के गड्ढों के पीछे पड़ गए हैं. सीएम धामी ने संबंधित विभाग के अधिकारियों को यह दिशा निर्देश दिए थे कि 15 अक्टूबर तक प्रदेश की सड़कों को गड्ढा मुक्त कर दें.
सीएम की समीक्षा बैठक, विभाग परेशान:मुख्यमंत्री ने सबसे पहले सचिव स्तर के अधिकारियों और उसके बाद जिले के तमाम अधिकारियों को निर्देश दिए कि जल्द से जल्द सड़कों को ठीक किया जाए. समय सीमा रखी गई. उम्मीद यही जताई गई कि मुख्यमंत्री के निर्देशों का अधिकारी शक्ति से पालन करेंगे. अब आलम यह है कि हर 10 दिन बाद मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी गड्ढे मुक्त प्रदेश की समीक्षा कर रहे हैं. बैठकों में सभी 13 जिलों के अधिकारियों से हो चुके कार्यों का ब्योरा लिया जा रहा है.
इस हफ्ते की बैठक 21 अक्टूबर को मुख्यमंत्री आवास में हुई, जिसमें इस अभियान से जुड़े अधिकारियों से पूछा गया कि डेडलाइन के 8 दिन और अधिक बीत जाने के बाद अब तक यह काम पूरा क्यों नहीं हो सका है? बैठक के दौरान मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों को यह तक कहा कि अगर कहीं से भी जनता की तरफ से सुगम यात्रा में सड़कों के गड्ढे परेशानी बनने की बात उन तक पहुंची तो उस जिले के अधिकारी कार्रवाई के लिए तैयार रहे.
बढ़ा 10 दिन का समय: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस बैठक के समापन के दौरान अधिकारियों को 10 दिन का और अधिक समय दिया. पीडब्ल्यूडी और सड़क से जुड़े दूसरे अधिकारियों को यह कहा गया कि जो काम 15 अक्टूबर तक नहीं हो पाया है, उसके लिए आपको 10 दिन और दिए जाते हैं. अगर इन 10 दिनों में भी सभी 13 जिलों से सड़कें गड्ढा मुक्त नहीं हुईं तो फिर वह खुद इन अधिकारियों की फाइल अपने पास तलब करेंगे.