रायपुर: बीएड सहायक शिक्षकों को नौकरी खोने का डर सता रहा है. इसके बाद से छत्तसीगढ़ के सभी शिक्षक लगातार नेता, मंत्री, विधायक, सांसद, जनप्रतिनिधि और मुख्यमंत्री से मिलने पहुंच रहे हैं. जो भी मिल रहा है उनसे नौकरी बचाने की गुहार लगा रहे हैं. इसी कड़ी में बीएड सहायक शिक्षक भगवान जगन्नाथ के मंदिर पहुंचे और अपनी नौकरी बचाने भगवान के सामने अर्जी लगाई. सहायक शिक्षकों ने रायपुर दक्षिण विधानसभा से भाजपा विधायक पुरंदर मिश्रा से भी मुलाकात की.
सहायक शिक्षकों की गुहार-"सालभर मेहनत से काम करने के बाद अब खतरे में नौकरी"
सहायक शिक्षक भावना बसोने बताती है कि साल 2023 मई में नोटिफिकेशन के बाद उन्हें नियुक्ति मिली. सहायक शिक्षक के तौर पर बस्तर और सरगुजा संभाग में पदस्थ है. लगभग साल भर पहले ही नौकरी लगी. पूरी ईमानदारी से सभी सहायक शिक्षक काम कर रहे हैं. सरकारी स्कूलों के बच्चों को नवोदय में एडमिशन के लिए तैयार कर रहे हैं.
"सरकार सहायक शिक्षकों के लिए निकाले बीच का रास्ता"
सहायक शिक्षक बताती है सुप्रीम कोर्ट ने बीएड के शिक्षकों को हटाकर डीएड के शिक्षकों को नियुक्त करने का आदेश जारी किया है. हमारी सरकार से अपील है पूरी प्रक्रिया कंप्लीट करके हम सहायक शिक्षक के पद पर नियुक्ति पाई है. सरकारी नौकरी पाने में काफी समय लगता है. इस नौकरी के लिए 5 से 6 साल से हमने मेहनत की. अब एक साल जॉब करने के बाद हमारे दिल और दिमाग में सरकारी नौकरी के लिए क्षमता नहीं बच पाएगी. कोई और नौकरी की तैयारी नहीं कर पाएंगे. सरकार से अपील है कि हमारी नियुक्ति यथावत रहने दें. इसके लिए सरकार कोई रास्ता निकाले.
"हमारे भरोसे परिवार, नौकरी जाने से खतरे में पड़ेगा जीवन"
सहायक शिक्षक, विकास कुमार साहू बताते हैं एक साल से नौकरी कर रहे हैं. सरकार अपने हिसाब से कहीं और हमें समायोजित करें. ग्रेजुएशन के बाद से हम शिक्षक की तैयारी कर रहे थे. परिवार में मैं अकेला कमाने वाला हूं. पिता जी रिटायर हो चुके हैं. अगर ये नौकरी जाती है तो हम पूरी तरह से खत्म हो जाएंगे.