नई दिल्ली:क्रिकेट का क्रेज पूरी दुनिया में है. इस खेल को बहुत से लोग देखना पसंद करते हैं. अंपायर क्रिकेट मैचों के लिए निर्णय निर्माता के रूप में कार्य करते हैं. वाइड, नो बॉल, आउट, सिक्स, फोर आदि का खुलासा अंपायर अलग-अलग तरह से करते हैं. क्रिकेट में अंपायरों का निर्णय ही अंतिम निर्णय होता है. फैसले में गलती होने पर मैच का नतीजा बदलने का खतरा रहता है.
क्रिकेट में ऐसा अब तक कई बार हो चुका हैं. ऐसे कई मामले हैं जहां अंपायर गलती करते हैं और खिलाड़ी इसका शिकार हो जाते हैं. इसलिए ये अपना फैसला देने से पहले सोच-समझकर कदम उठाते हैं. अंपायर मैदान पर कुछ उपकरणों का उपयोग करते हैं ताकि गलतियां न हों और गलतियों की गुंजाइश कम से कम रहे. आइए जानते हैं कि मैच के दौरान अंपायर किन उपकरणों का इस्तेमाल करते हैं.
काउंटर: एक समय की बात है, अंपायर गेंदबाज द्वारा फेंकी गई गेंदों को गिनने के लिए 6 सिक्कों, पत्थरों और कंचों के एक सेट का इस्तेमाल करते थे. जैसे ही गेंदबाज गेंद फेंकता है, मार्बल या पत्थर एक हाथ से दूसरे हाथ में चला जाता है. लेकिन टेक्नोलॉजी बढ़ने के कारण काउंटर का इस्तेमाल होने लगा है. इसमें बटन दबाकर अंपायर आसानी से पहचान सकते हैं कि ओवर में कितनी गेंदें पूरी हुई हैं.
स्निकोमीटर: स्निको मीटर का उपयोग थर्ड अंपायर द्वारा किया जाता है. क्या गेंद बल्ले पर लगी या पैड पर? इसकी पुष्टि के लिए वह इसका उपयोग करता है. स्नीकोमीटर बल्लेबाज के बल्ले या पैड पर गेंद के टकराने की आवाज को रिकॉर्ड करता है. थर्ड अंपायर अपने हिसाब से फैसला लेगा. यदि ऊंची स्पाइक है, तो माना जाता है कि गेंद बल्ले से टकराई है.