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हाईकोर्ट ने खारिज की करवा चौथ को महिलाओं के लिए अनिवार्य बनाने की याचिका, जुर्माना भी लगाया - PETITION ON KARVA CHAUTH

हाईकोर्ट ने करवा चौथ को महिलाओं के लिए अनिवार्य बनाने की याचिका खारिज कर दी है. अदालत ने याचिकाकर्ता पर जुर्माना भी लगाया है.

PETITION ON KARVA CHAUTH
करवा चौथ पर याचिका खारिज. (Photo- ETV Bharat)

By ETV Bharat Haryana Team

Published : Jan 24, 2025, 10:39 PM IST

पंचकूला:पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में एक व्यक्ति द्वारा अजीब याचिका दाखिल की गई. इसमें याचिकाकर्ता ने करवा चौथ को सभी महिलाओं के लिए अनिवार्य बनाने की मांग की. यहां तक कि याचिकाकर्ता ने विधवा, तलाकशुदा व अलग रहने वाली और लिव-इन रिलेशनशिप में रहने वाली महिलाओं को भी इसमें शामिल करने की गुहार लगाई थी.

अच्छे भाग्य का त्योहार घोषित करने की मांग

याचिकाकर्ता ने अपनी याचिका में अनुरोध किया कि करवा चौथ को महिलाओं के अच्छे भाग्य का त्योहार घोषित कर इसे 'मां गौरा उत्सव' या 'मां पार्वती उत्सव' के रूप में मान्यता दी जाए. इसके अलावा याचिका में भारत सरकार और हरियाणा सरकार से संबंधित कानून में संशोधन करने और सभी महिलाओं की भागीदारी सुनिश्चित करने की अपील की गई. याचिका में कहा गया कि जो कोई व्यक्ति इस त्योहार में किसी महिला को शामिल होने से रोकेगा, उसे दंडित किया जाना चाहिए.

इस खंडपीठ ने की सुनवाई

मुख्य न्यायाधीश शील नागू और न्यायमूर्ति सुमीत गोयल की खंडपीठ ने याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि याचिकाकर्ता 'महिलाओं के हर वर्ग और स्थिति के बावजूद करवा चौथ मनाने की घोषणा' की मांग कर रहा है. कोर्ट ने इस पर टिप्पणी करते हुए कहा कि याची द्वारा प्रस्तुत मुख्य शिकायत ये है कि कुछ वर्गों की महिलाओं, विशेषकर विधवाओं को करवा चौथ के अनुष्ठान की अनुमति नहीं दी जाती. इस कारण एक ऐसा कानून बनाया जाए, जो भेदभाव के बिना सभी महिलाओं के लिए करवा चौथ का अनुष्ठान करना अनिवार्य बनाए. साथ ही इसका पालन नहीं करने वाले के खिलाफ कार्रवाई हो.

अदालत ने जुर्माना लगाकर याचिका खारिज की

खंडपीठ ने याचिका पर सुनवाई करते हुए स्पष्ट किया कि ऐसे मामले 'विधानमंडल के विशेष अधिकार क्षेत्र' में आते हैं और अदालत इसमें हस्तक्षेप नहीं कर सकती. इस पर याचिकाकर्ता ने खंडपीठ से अपनी याचिका वापस लेने की प्रार्थना की. लेकिन अदालत ने इस याचिका को याची पर 1 हजार रुपये के प्रतीकात्मक जुर्माने के साथ खारिज किया. जुर्माना राशि चंडीगढ़ स्थित पीजीआई के गरीब मरीज कल्याण कोष में जमा की जाएगी.

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