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हसदेव अरण्य क्षेत्र के कोल ब्लॉक में पेड़ कटाई का विरोध, पुलिस-ग्रामीणों में झड़प, राहुल और प्रियंका गांधी ने खोला मोर्चा - HASDEO ARANYA CONTROVERSY

पुलिसकर्मी और ग्रामीण घायल हुए हैं. कांग्रेस ने इस घटना को लेकर सरकार पर निशाना साधा है.

HASDEO ARANYA CONTROVERSY
हसदेव अरण्य में बवाल (ETV Bharat)

By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Oct 17, 2024, 6:52 PM IST

Updated : Oct 17, 2024, 11:08 PM IST

सरगुजा : जिले में उदयपुर क्षेत्र के ग्राम साल्ही सहित आस-पास के अन्य इलाकों में परसा कोल खदान को लेकर आज तनाव की स्थिति निर्मित हो गई. गुरुवार की सुबह से ही सैकड़ों पुलिसकर्मियों की मौजूदगी में इन क्षेत्रों में पेड़ों की कटाई का काम चल रहा है. ग्रामीण और हसदेव अरण्य बचाओ संघर्ष समिति के सदस्य पेड़ कटाई का विरोध कर रहे हैं.

पुलिस और ग्रामीणों के बीच झड़प : इस प्रदर्शन में पुलिस और ग्रामीणों के बीच झड़प हो गई, जिसमें दोनों ही पक्ष के लोग घायल हो गए हैं. हसदेव अरण्य बचाओ संघर्ष समिति के सदस्य रामलाल को पुलिस के हमले में सिर पर चोट लगी है. जिससे वह घायल हो गए हैं. इस घटना ने ग्रामीणों के बीच आक्रोश बढ़ गया. पुलिस और प्रदर्शनकारियों में हुई झड़प में कुछ पुलिस अधिकारी, कर्मचारी और कुछ ग्रामीण भी घायल हो गए हैं. पुलिस ने घायलों को सीएचसी उदयपुर लाया है.

आज उदयपुर क्षेत्र में कुछ पुलिस अधिकारी और कर्मचारी घायल हुए हैं. घायलों को उदयपुर सीएचसी में भर्ती कराया गया है:अमोलक सिंह ढिल्लो, एएसपी, सरगुजा

सरगुजा एएसपी का घटना पर बयान (ETV Bharat)

हसदेव अरण्य विवाद लंबे समय से जारी : हसदेव अरण्य क्षेत्र में प्रस्तावित कोल खदान को लेकर विवाद लंबे समय से ही चल रहा है. सरकार को बिजली बनाने के लिये कोयला चाहिए, इसलिए राजस्थान सरकार को सरगुजा के हसदेव क्षेत्र से कोल उत्खनन की अनुमति दी गई है. राजस्थान राज्य विद्युत निगम लिमिटेड को यह कोयला लेना है. वहीं सरगुजा के स्थानीय ग्रामीण अपने जंगल को काटने नहीं देना चाहते. वर्षों से यह विवाद चला आ रहा है. ग्रामीण लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. इधर कोल कंपनी भी ग्रामीणों को संतुष्ट करने के लिए हर तरह की सुविधा देने में जुटी हुई है.

हसदेव मामले पर प्रियंका गांधी का 'एक्स' पर पोस्ट (ETV Bharat)
जंगल काटने के आरोप : इस मामले में सियासी दलों की भूमिका बड़ा नाटकीय नजर आती है. जब जिसकी सरकार होती है, वो कोल खदान खोलने के पक्ष में काम करता है. जैसे ही दल विपक्ष में आता है, वो कोल खदान का विरोधी हो जाता है. वर्तमान में भी सत्ताधारी दल पर जंगल काटने के आरोप लग रहे हैं. इस तरह की सियासत लंबे समय से हसदेव अरण्य को लेकर हो रही है, लेकिन कोई ठोस समाधान नहीं निकल रहा है. नतीजन अब विरोध हिंसक रूप ले चुका है.

कांग्रेस ने खोला मोर्चा:एक बार फिर पेड़ों की कटाई, ग्रामीणों और पुलिस के बीच झड़प को लेकर कांग्रेस ने मोर्चा खोल दिया है. कांग्रेस ने कहा है कि छत्तीसगढ़ के आदिवासियों का खून, अडानी के रसूख और पैसों के सामने सस्ता हो गया है. आज साय सरकार के निर्देश पर भारी मात्रा में पुलिस बल परसा ग्राम के जंगलों में पेड़ों की कटाई के लिए जंगल खाली करवाने पहुंची है. अपने जंगलों को बचाने पहुंचे आदिवासियों पर बड़ी ही बेदर्दी से लाठी चार्ज किया जा रहा है.

छत्तीसगढ़ कांग्रेस का 'एक्स' पर पोस्ट (ETV Bharat)

प्रियंका गांधी ने उठाए सवाल : वहीं कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने कहा है कि पूरे देश में आदिवासियों पर अत्याचार करना भाजपा की नीति बन गई है. जो आदिवासी सदियों से जंगलों के मालिक हैं, उन्हें बेदखल किया जा रहा है ताकि अडानी जी की खदानें चल सकें.

प्रियंका गांधी ने यह सवाल भी उठाया कि ''क्या छत्तीसगढ़ में संविधान की पांचवी अनुसूची के क्षेत्र समाप्त कर दिये गये हैं? इसके तहत संरक्षित क्षेत्र से आदिवासियों को बेदखल किया जा रहा है. क्या आदिवादियों के जल, जंगल और जमीन के अधिकार और पुरखों की विरासत का फैसला फर्जी प्रक्रियाओं के जरिये होगा?''

कांग्रेस की सरकार ने विधानसभा में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित किया था कि हसदेव अरण्य क्षेत्र में पेड़ नहीं काटे जाएंगे. भाजपा ने भी प्रस्ताव का समर्थन किया था, लेकिन आज आदिवासियों के विरोध के बावजूद जंगल खाली करने को कहा जा रहा है और विरोध करने पर आदिवासी भाई बहनों पर अत्याचार किया जा रहा है. : प्रियंका गांधी, कांग्रेस महासचिव

आदिवासियों की जमीन छीनने का आरोप : वहीं छत्तीसगढ़ के पूर्व डिप्टी सीएम और वरिष्ठ कांग्रेस नेता टीएस सिंहदेव ने कहा है कि हसदेव अरण्य में पुलिस बल के दुरुपयोग से आदिवासी भाई बहनों की जमीन छीनने का प्रयास असंवैधानिक और अन्यायपूर्ण है. जहां ट्राइबल आयोग ने साफ प्रस्तावित किया था कि आदिवासियों के जंगल और जमीन जबरन नहीं छीने जा सकते, वहीं फर्जी ग्राम सभा की बातों को आधार बना कर ये अत्याचार किए जा रहे हैं. सिंहदेव ने यह भी कहा है कि ''हिंसा और बल का प्रयोग निंदनीय है. सैकड़ों वर्षों से ये जंगल इन मूल निवासियों का घर रहा है.

"एक पेड़ मां के नाम का नाटक कर रहे मुख्यमंत्री" : छत्तीसगढ़ के पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने कहा है कि ''एक आदिवासी मुख्यमंत्री आदिवासियों को अपनी पुलिस से पिटवा रहे हैं, खून बहा रहे हैं. 'एक पेड़ मां के नाम' का नाटक कर रहे हैं और पुरखों की विरासत जंगलों को कटवा रहे हैं. विधानसभा ने सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित किया था कि हसदेव का जंगल नहीं कटने देंगे तो आप जंगल कटवाकर विधानसभा की अवमानना कर रहे हैं.''

हसदेव अरण्य में रुके पेड़ों की कटाई और रद्द किया जाए कोल ब्लॉक : सर्व आदिवासी समाज - Hasdeo Aranya Controversy
''छत्तीसगढ़ के लोग कब तक गरीब रहेंगे'', वन मंत्री केदार कश्यप ने कोयला खनन पर दिया बयान - Forest Minister on Hasdeo
''हसदेव जंगल में हो रही है पेड़ों की कटाई, गांव वालों को पुलिस ने हिरासत में लिया'': सर्व आदिवासी समाज - Hasdeo Aranya
Last Updated : Oct 17, 2024, 11:08 PM IST

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