पटना : नक्सलियों के खिलाफ NIAने ताबड़तोड़ कार्रवाई करते हुए सीपीआई (माओवादी) की तलाशी के दौरान भारी मात्रा में गोला-बारूद और आपत्तिजनक सामग्री जब्त की गई है. बता दें कि NIA ने बिहार के दो जिलों में साथ स्थानों पर सघन तलाशी अभियान चलाया जिसके आधार पर गोला-बारूद के साथ कई डिजिटल इक्वीपमेंट और दस्तावेज बरामद हुए हैं.
नक्सलियों के खिलाफ सर्चिंग ऑपरेशन: अप्रैल 2022 में गिरफ्तार विजय कुमार आर्य और उमेश चौधरी से NIA ने पूछताछ के बाद इनपुट के आधार पर सर्चिंग अभियान चलाया. जिसमें NIA को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है. नक्सलियों की साजिश का पर्दाफाश करते हुए NIA की टीम ने भारी मात्रा में बम-बारूद को बरामद कर लिया है. साथ ही उनके हाथ अहम दस्तावेज भी लगे हैं. NIA ने अपने प्रेस रिलीज के माध्यम से बताया है कि उसकी जांच की जा रही है.
जिंदा बम और बारूद के साथ दस्तावेज बरामद: बता दें कि कैमूर जिले में 5 और रोहतास जिले के 2 स्थानों पर तलाशी ली गई. जिन्हें अप्रैल 2022 में रोहतास जिले से उठाया गया था. उस समय विजय कुमार आर्य के पास लेवी की रसीदें, प्रतिबंधित आतंकी संगठन के नक्सली पर्चे और डिजिटल उपकरण जब्त किये गए थे. इसके अलावा उमेश चौधरी को भी गिरफ्तार किया गया था. इनके अलावा तीन अन्य आरोपी अनिल यादव, राजेश कुमार और रूपेश कुमार सिंह को न्यायिक हिरासत में है और आरोपियों पर NIA के द्वारा आरोप पत्र दायर किया गया है.
''तलाशी अभियान में जिंदा गोला-बारूद के अलावा मोबाइल फोन, सिम कार्ड मेमोरी सहित कुछ आपत्तिजनक दस्तावेजों, जायरियों आदि सहित डिजिटल उपकरणों को जब्त किया गया था. भर्ती और लेवी वसूली के माध्यम से संगठन को फिर से खड़ा करने के लिए काम कर रहे सीपीआई (माओवादी) कैडर्स के बारे में सुराग के लिए उपकरणों और दस्तावेजों की जांच की जा रही है.''-बिहार NIA
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