श्रीनगर : डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव आजाद पार्टी (DPAP) के नेता मोहम्मद सलीम पर्रे ने शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग-राजौरी लोकसभा क्षेत्र से नामांकन पत्र दाखिल किया. बता दें, इस सीट पर 7 मई को तीसरे चरण के चुनाव होने हैं. पर्रे ने डीपीएपी के अध्यक्ष गुलाम नबी आजाद और पार्टी के अन्य नेताओं के साथ अनंतनाग के उपायुक्त सैयद फखरुद्दीन के समक्ष अपना नामांकन पत्र दाखिल किया. बता दें, सैयद फखरुद्दीन अनंतनाग निर्वाचन क्षेत्र के रिटर्निंग अधिकारी है.
नामांकन पत्र दाखिल करने के बाद पत्रकारों से बात करते हुए आजाद ने उम्मीद जताई कि पर्रे इस सीट से जीतेंगे और लोकसभा में जम्मू-कश्मीर और उसके लोगों का प्रतिनिधित्व करेंगे. गुलाम नबी आजाद ने आगे कहा कि पर्रे 40 वर्षीय युवा वकील हैं, जो हाईकोर्ट के निचली अदालत और जिला अदालत में केस लड़ते थे, अब भारत की लोकतंत्र की सर्वोच्च सीट लोकसभा में हमारे राज्य और उसके लोगों का प्रतिनिधित्व करेंगे.
यह पूछे जाने पर कि वह इस सीट से चुनाव लड़ने से पीछे क्यों हट गए क्योंकि लोग चाहते थे कि वह चुनाव लड़ें, आजाद ने कहा कि पर्रे मेरे प्रतिनिधि हैं और उनके लिए मतदान करना मेरे लिए मतदान करने के समान है. इससे पहले आजाद ने अपने समर्थकों को संबोधित करते हुए उनसे किसी भी पार्टी या उम्मीदवार के खिलाफ बुरा बोलने से परहेज करने को कहा. उन्होंने कुछ राजनीतिक नेताओं के साथ जुबानी जंग पर अफसोस जताया था? जाहिर तौर पर उनका इशारा नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी) के उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला की ओर था, जिन्हें उन्होंने पर्यटक कहा था.
समर्थकों को संबोधित करते हुए जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि कुछ राजनेताओं के साथ वाकयुद्ध हुआ था. मुझे इसका अफसोस है. यह मेरे स्वभाव के खिलाफ है. 40 साल तक मैं संसद में रहा, मैंने कभी किसी पार्टी या नेता के खिलाफ बुरा नहीं बोला. मैं चाहता हूं कि आज से हमें किसी भी पार्टी या किसी भी पार्टी के उम्मीदवार के बारे में बुरा नहीं बोलना चाहिए. हमारा एजेंडा लोगों की सेवा करना है.