चेन्नई (तमिलनाडु): चक्रवाती तूफान 'फेंगल' का तमिलनाडु के तटीय जिलों में व्यापक प्रभाव दिखा. इसको लेकर मंगलवार को तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने सचिवालय से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए समीक्षा बैठक की. बैठक में प्रभावितों को राहत सहायता प्रदान करने का निर्णय लिया गया.
बता दें कि, भारी बारिश के कारण तमिलनाडु के विल्लुपुरम, कल्लाकुरिची, कुड्डालोर, तिरुवन्नामलाई, धर्मपुरी और कृष्णगिरी जिले प्रभावित हुए हैं. इसके कारण अधिकांश जिलों में सड़कें, पुल, बिजली के खंभे, ट्रांसफार्मर, सार्वजनिक भवन जैसी बुनियादी सुविधाएं और जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया. राज्य में प्रभावित लोगों के बचाव और उनके पुनर्वास कार्य में तेजी लाई जा रही है.
सीएम स्टालिन ने मंगलवार को एमके स्टालिन ने सचिवालय से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए समीक्षा बैठक की और बारिश प्रभावित जिलों की मौजूदा स्थिति की जानकारी ली. इस बैठक में उपमुख्यमंत्री उदयनिधि स्टालिन और विल्लुपुरम, कल्लाकुरिची, तिरुवन्नामलाई और कुड्डालोर जिलों में राहत कार्यों की निगरानी कर रहे मंत्रियों ने भाग लिया.
बाद में, चक्रवात फेंजल और बारिश की बाढ़ से प्रभावित लोगों को राहत सहायता प्रदान करने के संबंध में आज तमिलनाडु के मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में एक परामर्श बैठक हुई. इस बैठक में चक्रवात फेंजल से प्रभावित विल्लुपुरम, कल्लाकुरिची, तिरुवन्नामलाई, कुड्डालोर, धर्मपुरी और कृष्णगिरि जिलों में राहत सहायता प्रदान करने का निर्णय लिया गया.
- चक्रवात और बाढ़ में मरने वालों के परिवारों को 5 लाख रुपये का मुआवजा दिया जाएगा.
- क्षतिग्रस्त झोपड़ियों को 10 हजार रुपये का मुआवजा दिया जाएगा.
- पूरी तरह से क्षतिग्रस्त झोपड़ियों के लिए कलैगनार कनवु इल्लम योजना के तहत घरों के निर्माण को प्राथमिकता दी जाएगी.
- वर्षा से प्रभावित धान की फसलों (33 प्रतिशत और उससे अधिक) सहित वर्षा आधारित फसलों के लिए 17 हजार रुपये प्रति हेक्टेयर प्रदान किए जाएंगे.
- यदि बारहमासी फसलें और पेड़ क्षतिग्रस्त होते हैं (33 प्रतिशत और उससे अधिक), तो 22,500 रुपये प्रति हेक्टेयर का मुआवजा दिया जाएगा.
- भारी बारिश से प्रभावित वर्षा आधारित फसलों (33 प्रतिशत और उससे अधिक) के लिए 8,500 रुपये प्रति हेक्टेयर प्रदान किए जाएंगे.
- वर्षा से प्रभावित (33 प्रतिशत और उससे अधिक) वर्षा आधारित फसलों के लिए 8,500 रुपये प्रति हेक्टेयर प्रदान किए जाएंगे। बैलों और गायों सहित मवेशियों के नुकसान के लिए 37,500 रुपये मुआवजे के रूप में प्रदान किए जाएंगे.
- बकरियों और भेड़ों के नुकसान के लिए 4,000 रुपये मुआवजे के रूप में प्रदान किए जाएंगे.
- मुर्गियों के नुकसान के लिए 100 रुपये मुआवजे के रूप में प्रदान किए जाएंगे.
- विल्लुपुरम, कुड्डालोर और कल्लाकुरिची जिलों में, जो दो दिनों से अधिक समय से भारी बारिश से प्रभावित हैं, जिन परिवारों की आजीविका बारिश और बाढ़ से प्रभावित हुई है, उन्हें राशन कार्ड के आधार पर 2,000 रुपये की राहत प्रदान की जाएगी.
बारिश और बाढ़ से प्रभावित क्षेत्रों में प्रमाण पत्र, मतदाता कार्ड, आधार कार्ड और परिवार कार्ड खोने वालों को नए प्रमाण पत्र प्रदान करने के लिए विशेष शिविर आयोजित किए जाएंगे. बारिश और बाढ़ से प्रभावित परिवारों के छात्रों को नई पाठ्यपुस्तकें और नोटबुक प्रदान की जाएंगी.
तमिलनाडु सरकार द्वारा जारी एक प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार, राहत के प्रावधान के संबंध में धर्मपुरी, कृष्णगिरि और तिरुवन्नामलाई के जिला कलेक्टरों को निर्देश दिया गया है कि वे अपने जिलों में गंभीर रूप से प्रभावित क्षेत्रों का विवरण सरकार को भेजें और उन विवरणों के आधार पर वहां राहत प्रदान की जाएगी.
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