मध्य प्रदेश

madhya pradesh

ETV Bharat / bharat

देखे हैं ऐसे स्कूल, कलेक्टर का एक आदेश और अधिकारी बन गए मास्टर साहब - MP officers teach schools

मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा में अब अधिकारी और कर्मचारी सरकारी स्कूलों में पढ़ाते हुए नजर आएंगे. दरअसल एजुकेशन लेवल को सुधारने के लिए छिंदवाड़ा कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह ने अधिकारियों और कर्मचारियों को सरकारी स्कूलों में एक पीरियड पढ़ाने की जिम्मेदारी सौंपी है. जिले के 164 जिला अधिकारियों को स्कूल आवंटित भी किए गए हैं.

MP OFFICERS TEACH SCHOOLS
सरकारी स्कूलों में पढ़ाएंगे अधिकारी कर्मचारी (Etv Bharat)

By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Jun 16, 2024, 10:44 AM IST

छिंदवाड़ा। सरकारी स्‍कूलों में शिक्षा की स्‍थिति से हम सब वाकिफ हैं. सरकारी स्कूलों में पढ़ाई का स्तर सुधारने के लिए छिंदवाड़ा कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह ने अलग तरीका अपनाया है. उन्होंने सरकारी अधिकारियों को काम के साथ-साथ स्कूलों में एक पीरियड पढ़ाई करने के आदेश भी दिए हैं. अब सरकारी अधिकारी और कर्मचारी स्कूलों में पढ़ाते हुए भी नजर आएंगे. प्रदेश में ऐसा पहली बार हो रहा है जब अधिकारी और कर्मचारी स्कूलों में पढ़ाते हुए दिखाई देंगे. इससे पढ़ाई का स्तर सुधरने के साथ स्कूलों में अनुशासन का पालन भी होता रहेगा.

काम के साथ स्कूलों में पढ़ाएंगे अधिकारी-कर्मचारी

'स्कूल चले हम' अभियान के अंतर्गत सरकारी स्कूलों में स्कूल चले हम अभियान चलेगा. इसमें प्रवेशोत्सव से लेकर अलग-अलग तैयारी की गई है. कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह ने स्कूलों का शैक्षणिक स्तर सुधारने के लिए जिले के 164 जिला अधिकारियों को स्कूल आवंटित किए गए हैं. इन अधिकारियों के द्वारा स्कूल पहुंचकर एक पीरियड पढ़ाया जाएगा. स्कूल चले हम अभियान 2024-25 का शुभारंभ 18 जून से होगा. जिसमें 18, 19 एवं 20 जून को विभिन्न प्रकार की गतिविधियाँ प्रत्येक शासकीय शालाओं में आयोजित किए जाने के निर्देश हैं. इसी के चलते में 18 जून को शाला में प्रवेशोत्सव मनाया जाएगा. नए प्रवेश लेने वाले बच्चों का तिलक लगाकर स्वागत किया जायेगा व निःशुल्क पाठ्य पुस्तकों का वितरण किया होगा. उत्सव में प्रत्येक स्कूल में आयोजित गतिविधियों में जनप्रतिनिधियों को आमंत्रित किया जायेगा.

पढ़ाई के साथ अनुशासन और शिक्षा के स्तर में आएगा सुधार

कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह का कहना है कि ''इस तरह के प्रयोग से एक तरफ जहां पढ़ाई ठीक से होगी वहीं शिक्षा का स्तर सुधरेगा. इसके साथ ही कई स्कूलों में शिक्षकों के लेट आने और जल्दी जाने की शिकायतें भी मिलती हैं जिसकी वजह से अनुशासन का पालन नहीं हो पता है. इस प्रकार की प्रक्रिया से अधिकारियों की मौजूदगी के चलते स्कूल का स्टाफ भी अनुशासन में रहेगा. कोई भी अधिकारी अपने विषय के अनुसार पढ़ाई भी कराएगा, ताकि उसके ज्ञान में भी वृद्धि होगी.''

Also Read:

मध्य प्रदेश के सरकारी स्कूलों में प्री-नर्सरी से होगी पढ़ाई, इस ऐज में मिलेगा एडमिशन, जानें नामांकन की डेट - PRE NURSERY MP Government Schools

मध्य प्रदेश स्कूल खुलने की डेट अनाउंस. प्रवेशोत्सव के लिए बैंड बाजा तैयार, स्टूडेंट्स का इंतजार - GOVT SCHOOL OPEN IN MADHYA PRADESH

देवी अहिल्या विश्वविद्यालय ने नैक ग्रेडिंग के लिए कसी कमर, NIRF की टॉप 100 रैंकिंग में भी जगह बनाने की तैयारी - Devi Ahilya University meeting

जिले के डेढ़ सौ से ज्यादा स्कूलों में नहीं शिक्षक

छिंदवाड़ा जिले में सरकारी स्कूलों की क्या स्थिति है, इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि करीब 150 से ज्यादा स्कूलों में शिक्षक नहीं हैं. यहां या तो अतिथि शिक्षकों के भरोसे पढ़ाई की जाती है या फिर अटैचमेंट के भरोसे स्कूल चल रहे हैं. वहीं, कई स्कूल ऐसे हैं जहां पर बच्चे कम और शिक्षक ज्यादा है, जिसमें से दो स्कूल तो ऐसे हैं जहां शिक्षक पदस्थ हैं पर बच्चे नहीं हैं.

ABOUT THE AUTHOR

...view details