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बेंगलुरु महानगर पालिका को 7 निगमों में विभाजित करने की सिफारिश, विधानसभा सत्र में पेश होगा विधेयक - SPLITTING BBMP

कर्नाटक सरकार 3 मार्च से शुरू होने वाले आगामी बजट सत्र में संयुक्त समिति की सिफारिशों को स्वीकार कर विधेयक पेश कर सकती है.

BBMP to split Into 7 Smaller Corporations Karnataka House Panel Recommends
बेंगलुरु महानगर पालिका को 7 निगमों में विभाजित करने की सिफारिश, विधानसभा सत्र में पेश होगा विधेयक (IANS)

By ETV Bharat Hindi Team

Published : Feb 24, 2025, 6:15 PM IST

Updated : Feb 24, 2025, 7:32 PM IST

बेंगलुरु: कर्नाटक विधानमंडल की संयुक्त सदन समिति ने बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका (BBMP) को सात छोटे निगमों में विभाजित करने की सिफारिश की है और प्रत्येक निगमों में 100 से 125 वार्ड होंगे. कांग्रेस विधायक रिजवान अरशद की अध्यक्षता वाली समिति ने सोमवार को विधानसभा अध्यक्ष यूटी कादिर को अपनी रिपोर्ट सौंपी.

रिपोर्ट सौंपने के बाद रिजवान ने मीडिया से बात करते हुए कहा, "पिछले पांच महीनों में शहर के योजनाकारों, शहरी विशेषज्ञों, निर्वाचित प्रतिनिधियों और आम जनता के साथ व्यापक विचार-विमर्श के बाद, समिति ने बेंगलुरु शहर के प्रभावी प्रशासन को सुनिश्चित करने के लिए BBMP को सात छोटे निगमों में विभाजित करने का सुझाव दिया है."

राज्य सरकार ने पिछले साल जुलाई में विधानसभा में ग्रेटर बेंगलुरु गवर्नेंस बिल पेश किया था. लेकिन भाजपा विधायकों की तरफ से विधेयक पर विस्तृत चर्चा की मांग के बाद इसे संयुक्त सदन समिति को भेज दिया गया, क्योंकि इससे बेंगलुरू के प्रशासन पर बड़ा प्रभाव पड़ेगा.

संयुक्त सदन समिति द्वारा सुझाए गए बदलावों को शामिल करते हुए 3 मार्च से शुरू होने वाले आगामी बजट सत्र में विधेयक को फिर से पेश किए जाने की उम्मीद है.

ग्रेटर बेंगलुरु विकास प्राधिकरण करेगा निगमों की निगरानी
रिजवान ने कहा कि नए निगमों की निगरानी ग्रेटर बेंगलुरु विकास प्राधिकरण द्वारा की जाएगी, जिसके अध्यक्ष मुख्यमंत्री होंगे और बेंगलुरु विकास मंत्री इसके सदस्य होंगे. सातों निगमों के बीच समन्वय के अलावा, प्राधिकरण के पास करों, शुल्कों, उपकर और उपयोगकर्ता शुल्कों की दरों को मंजूरी देने का अधिकार होगा. शहर में प्रमुख परियोजनाओं का निर्माण और क्रियान्वयन भी इसकी जिम्मेदारी में आएगा. यहां तक कि राज्य सरकार से निगमों को वित्तीय आवंटन भी इसके माध्यम से ही किया जाएगा.

उन्होंने कहा कि समिति ने मूल विधेयक के सभी प्रमुख प्रावधानों को बरकरार रखा है, लेकिन नए निगमों के लिए चुने जाने वाले महापौरों और उप महापौरों के लिए 30 महीने का कार्यकाल सुझाया है. मूल विधेयक में उनके लिए पांच कार्यकाल निर्धारित किए गए थे. समिति ने बीबीएमपी से बनने वाले नए निगमों की संख्या भी मूल विधेयक में प्रस्तावित 10 से घटाकर सात कर दी है.

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Last Updated : Feb 24, 2025, 7:32 PM IST

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