उत्तरकाशी:उत्तराखंड के उत्तरकाशी में इन दिनों मस्जिद विवाद सुर्खियों में बना हुआ है. जनाक्रोश रैली में बवाल की घटना के बाद महापंचायत के आह्वान से फिर तनाव की आशंका बरकरार है. हालांकि, कानून एवं शांति व्यवस्था के लिए जिला प्रशासन की ओर से पूरे जनपद में धारा 163 को बीते देर रात हटा दिया है. लेकिन दीपावली के बाद महापंचायत का आयोजन होता है तो फिर से तनाव की आशंका रहेगी. हालांकि अधिकारियों का कहना है उन्हें अभी महापंचायत के आयोजन को लेकर कोई लिखित सूचना नहीं मिली है.
विधायक ने प्रशासन की निंदा:वहीं 24 अक्टूबर को हुए बवाल को लेकर भाजपा पुरोला विधायक दुर्गेश लाल ने प्रशासन पर निशाना साधा है. उन्होंने इसके लिए पुलिस-प्रशासन पर आरोप लगाया है. उन्होंने उत्तरकाशी में फैले उन्माद को लेकर अपनी ही सरकार को कटघरे में खड़ा करते हुए उत्तरकाशी के प्रशासनिक व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े किए और जिलाधिकारी के रवैए की निंदा की है.
तनाव के बाद लगाई गई थी धारा 163:बता दें कि बीते 24 अक्टूबर को मस्जिद के खिलाफ जनाक्रोश रैली के आयोजन में प्रदर्शनकारी और पुलिस के बीच पथराव व लाठीचार्ज की घटना घटी थी. जिसमें 9 पुलिसकर्मी सहित 27 लोग घायल हुए थे. इस घटना के बाद पुलिस ने 8 नामजद और 200 अज्ञात के खिलाफ बीएनएस से संबंधित धाराओं में केस दर्ज किया. घटना के बाद ही तनाव बढ़ने की आशंका पर जिलाधिकारी डॉ.मेहरबान सिंह बिष्ट ने पूरे जनपद में बीएनएसएस की धारा 163 लागू कर दी थी.
धारा 163 के उल्लंघन पर की कार्रवाई:जिसके उल्लंघन पर शुक्रवार को जनाक्रोश रैली आयोजन से जुड़े जितेंद्र सिंह, सोनू नेगी व सूरज डबराल की गिरफ्तारी हुई. उसके बाद रैली में बड़कोट के उपराड़ी से शामिल हुए महंत केशवानंद गिरी ने उनके उपराड़ी स्थित आश्रम पर अज्ञात लोगों के पथराव का आरोप लगाया. मामले में पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ केस दर्ज किया है. हालांकि उसके बाद से किसी तरह की अप्रिय घटना सामने नहीं आई है. लेकिन जिस तरह से रैली आयोजन से जुड़े लोगों ने दीपावली के बाद 4 नवंबर को महापंचायत आयोजन का आह्वान किया है. उससे महापंचायत आयोजन से फिर तनाव बढ़ने की आशंका जताई जा रही है.