नई दिल्ली: हरियाणा में चुनावी हैट्रिक के बाद अब महाराष्ट्र में एनडीए को सत्ता में लाने के लिए आरएसएस ने अभियान शुरू कर दिया है. इसको लेकर महाराष्ट्र में आरएसएस ने 60 हजार से ज्यादा बैठक करने का फैसला लिया है. जिसमें संघ के कार्यकर्ताओं की दस-दस सदस्यों की टोली अलग-अलग सीटों में जाकर सभी विधानसभा क्षेत्रों में बैठक करेगी और जनता से जुड़े सामाजिक कार्यों और कल्याणकारी योजनाओं से जुड़ने में लोगों की मदद करेगी. सूत्रों की माने तो संघ ने हरियाणा में भी काफी मेहनत की थी.
सूत्रों की माने तो आरएसएस की सदस्यों की टोली महाराष्ट्र में अलग अलग क्षेत्रों में जाकर धुआंधार जनसंपर्क अभियान चलाएगी.जिसकी शुरुआत सोमवार से की गई. इन छोटी बड़ी बैठकों में महाराष्ट्र में भाजपा के नेतृत्व वाली महायुति सरकार ने क्या क्या किया है और आने वाले चुनाव में महायुति का आना क्यों जरूरी है ये भी बताया जाएगा. ये बैठकें संघ की बौद्धिक बैठक होगी जिसमे इन बातों का जिक्र किया जाएगा. यदि कहा जाए तो महाराष्ट्र में संघ की अच्छी पकड़ हमेशा से रही है और यहीं संघ का मुख्यालय भी है.जिसे देखते हुए भाजपा भी संघ के प्लेटफॉर्म की पूरी मदद लेना चाहती है.
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पहले से ही महाराष्ट्र में बौद्धिक के माध्यम से कई छोटे बड़े कार्यक्रम चल रही है. संघ ओबीसी के 353 उपजातियों, एससी के 59 उपजातियों, एसटी की 25 उपजातियों और 29 घुमंतू जातियों को लेकर अलग अलग कार्यक्रम पहले से चला रही है और अब आरएसएस ने भाजपा को सत्ता में लाने के लिए जमीन पर अभियान की शुरुआत कर दी है. संघ की ये दस दस की टोलियां सभी विधानसभा सीटों के सुदूर इलाकों में भी जाकर बौद्धिक के माध्यम से कार्यकम की शुरुआत कर रही है ताकि चुनाव से पहले जनता का नब्ज़ भी इसी बहाने टटोला जा सके.