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ایپ ڈیولپر عمران خان جمنالال بجاج ایوارڈ سے سرفراز - ایپ ڈیولپر عمران خان جمنالال بجاج ایوارڈ سے سرفراز

ایپ ڈیولپر عمران خان راجستھان کے شہر الور سےتعلق رکھتے ہیں۔

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ایپ ڈیولپر عمران خان جمنالال بجاج ایوارڈ سے سرفراز
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Published : Dec 10, 2019, 11:55 AM IST

ریاست راجستھان کے شہر الور میں ایپ ڈیولپر عمران خان ریاست بھر میں 'ایپ مین' کے نام سے معروف ہیں۔

انہیں گذشتہ دنوں ریاست مہاراشٹر کے دارالحکومت ممبئی میں سائنس اینڈ ٹکنالوجی میں نمایاں کارکردگی انجام دینے پر 'جمنالال بجاج ایوراڈ' سے سرفراز کیا گیا ہے۔

ایپ ڈیولپر عمران خان جمنالال بجاج ایوارڈ سے سرفراز

عمران خان پیشے کے اعتبار سے ٹیچر ہیں۔ انہوں نے ای ٹی وی بھارت سے بات کرتے ہوئے کہا کہ موجودہ زمانے کے نوجوان سے سب سے زیادہ وقت سماجی رابطے کی سائٹس پر وقت بتاتے ہیں، اس لیےانہیں چاہئے کہ موبائل پر اپنے وقت کا درست استعمال کریں۔

خیال رہے کہ شہر الور کا نام ساری دنیا میں روشن کرنے والے عمران خان اب تک 80 موبائل ایپ بناچکے ہیں۔

ان ایپس کی مدد سے، نوجوان مقابلہ جاتی امتحانات کی تیاری کر سکتے ہیں، جبکہ اس میں بہت ساری ایپس موجود ہیں ، جن میں بچوں کی تعلیم سے متعلق ہیں۔

وزیر اعظم نریندر مودی نے لندن کے دورہ کے دوران اپنی ایک تقریر میں کہا تھا کہ میرا بھارت الور کے عمران خان میں بستا ہے۔

وزیراعظم کے اس بیان کے بعد سے عمران خان کا نام مستقل طور پر میڈیا میں آنا شروع ہوگیا۔

عمران خان کی انہی گونا گو خصوصیت کے سبب وزیر اعظم اور نائب صدر سمیت متعدد افراد نے ان کی عزت افزائی کر چکے ہیں۔

ریاست راجستھان کے شہر الور میں ایپ ڈیولپر عمران خان ریاست بھر میں 'ایپ مین' کے نام سے معروف ہیں۔

انہیں گذشتہ دنوں ریاست مہاراشٹر کے دارالحکومت ممبئی میں سائنس اینڈ ٹکنالوجی میں نمایاں کارکردگی انجام دینے پر 'جمنالال بجاج ایوراڈ' سے سرفراز کیا گیا ہے۔

ایپ ڈیولپر عمران خان جمنالال بجاج ایوارڈ سے سرفراز

عمران خان پیشے کے اعتبار سے ٹیچر ہیں۔ انہوں نے ای ٹی وی بھارت سے بات کرتے ہوئے کہا کہ موجودہ زمانے کے نوجوان سے سب سے زیادہ وقت سماجی رابطے کی سائٹس پر وقت بتاتے ہیں، اس لیےانہیں چاہئے کہ موبائل پر اپنے وقت کا درست استعمال کریں۔

خیال رہے کہ شہر الور کا نام ساری دنیا میں روشن کرنے والے عمران خان اب تک 80 موبائل ایپ بناچکے ہیں۔

ان ایپس کی مدد سے، نوجوان مقابلہ جاتی امتحانات کی تیاری کر سکتے ہیں، جبکہ اس میں بہت ساری ایپس موجود ہیں ، جن میں بچوں کی تعلیم سے متعلق ہیں۔

وزیر اعظم نریندر مودی نے لندن کے دورہ کے دوران اپنی ایک تقریر میں کہا تھا کہ میرا بھارت الور کے عمران خان میں بستا ہے۔

وزیراعظم کے اس بیان کے بعد سے عمران خان کا نام مستقل طور پر میڈیا میں آنا شروع ہوگیا۔

عمران خان کی انہی گونا گو خصوصیت کے سبب وزیر اعظم اور نائب صدر سمیت متعدد افراد نے ان کی عزت افزائی کر چکے ہیں۔

Intro:
अलवर
एप मैन के नाम से पूरी दुनिया में अपनी पहचान रखने वाले अलवर के इमरान खान को हाल ही में मुंबई में हुए कार्यक्रम के दौरान साइंस और टेक्नोलॉजी के लिए जमनालाल बजाज अवार्ड से सम्मानित किया गया है। उन्होंने ईटीवी भारत से विशेष बातचीत में कहा कि जो युवा फेसबुक व व्हाट्सएप सहित अन्य सोशल मीडिया पर अपना सबसे कीमती चीज समय को जाया कर रहे हैं। उन युवाओं का भविष्य उज्जवल नहीं हो सकता है।


Body:अलवर के जाने वाली इमरान खान अब तक 80 मोबाइल एप बना चुके हैं। इनकी मदद से युवा प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर सकते हैं। तो वहीं बच्चों के लिए शिक्षा से जुड़े हुए सहित कई विभिन्न एप इसमें शामिल है। पहली बार इमरान उस समय चर्चा में आई। जब लंदन में होने वाले एक कार्यक्रम में देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने भाषण में कहा कि मेरा भारत अलवर के इमरान खान में है। उसके बाद से लगातार इमरान की चर्चा होने लगी तो वही देश के प्रधानमंत्री व उपराष्ट्रपति सहित कई लोग उन्हें सम्मानित कर चुके हैं। इमरान पेशे से एक शिक्षक हैं। पहले 4 साल इमरान ने कोटा में नौकरी की। इमरान के छोटे भाई ने कंप्यूटर विज्ञान में प्रौद्योगिकी स्नातक की वह उसके बाद गुडगांवा नौकरी करने चले गए घर में रखी छोटे भाई की किताबों के माध्यम से इमरान ने सामान्य ज्ञान संबंधित एक एप बनाया उस समय अलवर की तत्कालीन जिला कलेक्टर आशुतोष पेडणेकर ने उनको प्रोत्साहित किया। उसके बाद उन्होंने लगातार मानव संसाधन विकास मंत्रालय सहित कई विभागों के लिए भी मोबाइल एप बनाएं। इमरान ने डिजिटल मेवात नाम से भी एक एप बनाया है। इसके अलावा शिक्षा की अलख जगाने जागरूकता फैलाने बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने सामाजिक कुरीतियों खत्म करने और सकारात्मक माहौल पैदा करने के लिए कई एप लॉन्च किए।


Conclusion:इमरान ने शिक्षा क्षेत्र में अब तक 50 मोबाइल एप्लीकेशन कॉपीराइट कराकर मानव संसाधन विकास मंत्रालय को दिया है। इस पर उनको राज्य सरकार की तरफ से भामाशाह पुरस्कार से भी नवाजा गया। उनके एप का कुल अनुमानित मूल्य 3 करोड़ 32 लाख रुपए लगाया जा रहा था। राजस्थान के शिक्षा मंत्री वासुदेव देवनानी ने राज्य विधानसभा के अध्यक्ष कैलाश मेघवाल के साथ 28 जून 2016 को बिरला सभागार में उन्हें सम्मानित किया था। उसके बाद से लगातार साल 2016, 17 व 18 में विभिन्न संस्थाओं सरकारी विभागों द्वारा इमरान को सम्मानित किया गया हाल ही में मुंबई में हुए एक कार्यक्रम के दौरान साइंस एंड टेक्नोलॉजी के लिए इमरान खान को जमनालाल बजाज अवार्ड से सम्मानित किया गया। जमनालाल बजाज अवार्ड चार श्रेणियों में दिया जाता है। एक श्रेणी में विदेशी व्यक्ति को सम्मानित किया जाता है। तो वही दूसरी श्रेणी में महिला व बच्चों के लिए काम करने वाले लोगों को सम्मानित किया जाता है। इमरान ने कहा कि उनके एप बनाने का काम लगातार जारी है। इमरान खान ने ईटीवी भारत के माध्यम से देश के युवाओं से कहा कि जो युवा सबसे कीमती समय को सोशल मीडिया पर जाया कर रहे हैं। उनका भविष्य ज्यादा उज्जवल नहीं है। युवा खुद देखें कि वह फोन के माध्यम से क्या सीख रहे हैं। आज के समय में फेक न्यूज़ का दौर रहता है। ऐसे में हमें यह देखना होगा कि जो हम ज्ञान ले रहे हैं। वो ठीक है या नहीं।
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