पुरोला: शीतकालीन पर्यटन के रूप में केदार कांठा ने विश्व पर्यटन मानचित्र पर बिना सरकारी मदद के बहुत कम समय में अपना स्थान बना लिया है. जिसके कारण केदार कांठा ट्रेक रूट देश में शीतकालीन पर्यटन के शौकीनों के लिए सबसे पहला और आसान ट्रेक बन चुका है. अकेले केदार कांठा आने वाले पर्यटकों से गोविंद वन्यजीव पशु विहार ने 8 महीने में अट्ठारह लाख से ज्यादा की कमाई कर दी है.
साहसिक खेलों के शौकीन व पर्यटन प्रेमी आजकल सांकरी का रुख कर रहे हैं. इन दिनों राज्य की पहाड़ियां बर्फ की सफेद चादर से ढकी हुई हैं. जिसके कारण देश-विदेश के पर्यटक पहाड़ियों की सफेद चमक देखकर ऊंचे से ऊंचे पहाड़ों पर चढ़ने को तैयार हैं. यही कारण है कि इन दिनों बड़ी संख्या में पर्यटक केदार कांठा पहुंच रहे हैं. केदार कांठा में 8 महीने में 6705 पर्यटक पहुंच चुके हैं. जिनमें से 154 विदेशी पर्यटक भी शामिल हैं. दिसंबर महीने में 2242 पर्यटक केदार कांठा समिट कर चुके हैं.
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गोविंद वन्यजीव पशु विहार ने यहां अक्टूबर से दिसंबर तक प्रवेश शुल्क के तौर पर ₹3800000 की आमदनी की है. वहीं अप्रैल से दिसंबर महीने में 18 लाख 38000 की आमदनी दर्ज की गई. पर्यटकों की बढ़ती संख्या को देखते हुए गोविंद वन्यजीव पशु विहार नये इको टूरिंग खोजने की कवायद में जुट गया है. स्थानीय लोग भी पर्यटकों की आवाजाही से बहुत खुश हैं.
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स्थानीय लोगों की मेहनत और लगन से पर्यटकों की इतनी भारी संख्या सांकरी पहुंच रही है. फिर भी सरकार पर्यटकों की सुविधा के लिए सांकरी में शौचालय,संचार सुविधा व एटीएम तक नहीं लगा पा रही है. जबकि सरकार यहां पर्यटकों से प्रतिवर्ष लाखों रुपये की आमदनी कर रही है. सरकार को चाहिये कि पर्यटन को बढ़वा देने के लिए पर्यटन स्थलों पर मूलभूत सुविधाओं को उपलब्ध करवाये, जिससे पर्यटन को और गति मिल सके.