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टिहरी झील का जलस्तर बढ़ने से घरों में पड़ीं दरारें, दहशत में ग्रामीण - उत्तराखंड सरकार

टिहरी झील का जल स्तर बढ़ने से आसपास के गांवों पर खतरा मंडराने लगा है. लोगों के घरों में दरारें पड़ने लगी हैं. ग्रामीणों का आरोप है कि इस संबंध में उन्होंने शासन-प्रशासन को कई बार अवगत कराया, लेकिन उनकी सुध लेने वाला कोई नहीं है.

टिहरी डैम
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Published : Oct 14, 2019, 2:42 PM IST

टिहरी: जनपद की टिहरी डैम का जल स्तर बढ़ने से लोग खतरे के साए में जीने को मजबूर हैं. टिहरी झील का जलस्तर बढ़ने से लोगों के घरों में दरारें पड़ने लगी हैं. जिसको लेकर ग्रामीणों ने कई बार शासन-प्रशासन से गुहार लगाई है. लोगों का कहना है कि सरकार उनकी समस्या को गंभीरता से नहीं ले रही है.

घरों में दरार पड़ने से दहशत में ग्रामीण

टिहरी बांध बनते समय सरकार ने वहां के लोगों का विस्थापन कर उन्हें अलग-अलग स्थानों पर उनके रहने की व्यवस्था की, लेकिन अब एक बार फिर से टिहरी के लोगों पर खतरा मंडराने लगा है. जैसे-जैसे टिहरी झील का जलस्तर बढ़ता जा रहा है, उससे वहां के आसपास रहने वाले लोगों के घरों में दरारें पड़ने लगी है. कुछ लोग घरों की स्थिति को देखते हुए खुले आसमान के नीचे रात बिताने को मजबूर हैं.

पढ़ें- देहरादूनः रेलवे स्टेशन के बाहर पुलिस बूथ पर टैक्सी संचालकों का कब्जा, यात्री हो रहे परेशान

वहीं, ग्रामीणों का कहना है कि पर्यटन का हब होने के कारण यहां पर्यटकों का जमावड़ा लगा रहता है. लेकिन जब भी टिहरी डैम का जल स्तर आरएल 820 मीटर से ऊपर बढ़ता है तो गांव के नीचे पानी आ जाता है, साथ ही मकानों में दरारें पड़ रही हैं. जिससे लोग में खौफ है. वहीं सरकार की लापरवाही से ग्रामीणों में आक्रोश है. उनका कहना है कि सरकार उनकी समस्याओं को गंभीरता से नहीं ले रही है.

टिहरी: जनपद की टिहरी डैम का जल स्तर बढ़ने से लोग खतरे के साए में जीने को मजबूर हैं. टिहरी झील का जलस्तर बढ़ने से लोगों के घरों में दरारें पड़ने लगी हैं. जिसको लेकर ग्रामीणों ने कई बार शासन-प्रशासन से गुहार लगाई है. लोगों का कहना है कि सरकार उनकी समस्या को गंभीरता से नहीं ले रही है.

घरों में दरार पड़ने से दहशत में ग्रामीण

टिहरी बांध बनते समय सरकार ने वहां के लोगों का विस्थापन कर उन्हें अलग-अलग स्थानों पर उनके रहने की व्यवस्था की, लेकिन अब एक बार फिर से टिहरी के लोगों पर खतरा मंडराने लगा है. जैसे-जैसे टिहरी झील का जलस्तर बढ़ता जा रहा है, उससे वहां के आसपास रहने वाले लोगों के घरों में दरारें पड़ने लगी है. कुछ लोग घरों की स्थिति को देखते हुए खुले आसमान के नीचे रात बिताने को मजबूर हैं.

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वहीं, ग्रामीणों का कहना है कि पर्यटन का हब होने के कारण यहां पर्यटकों का जमावड़ा लगा रहता है. लेकिन जब भी टिहरी डैम का जल स्तर आरएल 820 मीटर से ऊपर बढ़ता है तो गांव के नीचे पानी आ जाता है, साथ ही मकानों में दरारें पड़ रही हैं. जिससे लोग में खौफ है. वहीं सरकार की लापरवाही से ग्रामीणों में आक्रोश है. उनका कहना है कि सरकार उनकी समस्याओं को गंभीरता से नहीं ले रही है.

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टिहरी-- टिहरी झील के आसपास बसे गांव के लोगों पर एक बार फिर से खतरा मंडराने लगा है टिहरी झील में जलस्तर बढ़ने की वजह से लोगों के घरों में दरारें पड़ने लगी है जिसकी वजह से लोग खौफ के साए में जीने को मजबूर हैं कई बार प्रशासन से इसकी गुहार लगाई गई लेकिन इनकी सुध लेने वाला कोई नहीं है।


Body:वी/ओ-- टिहरी बांध बनते समय वहां के आसपास आने वाले जितने भी गांव थे उन सभी को सरकार के द्वारा विस्थापन किया गया और अलग-अलग स्थानों पर विस्थापित कर उनके रहने की व्यवस्था की गई लेकिन अब एक बार फिर से टिहरी के लोगों पर खतरा मंडराने लगा है जैसे-जैसे टिहरी झील का जलस्तर बढ़ता जा रहा है उससे वहां के आसपास रहने वाले लोगों के घरों में दरारें पड़ने लगी है जिसकी वजह से लोग रात में सो भी नहीं पाते वहीं कुछ लोगों ने अपने घरों की स्थिति को देखते हुए खुले आसमान के नीचे रात बिताने को मजबूर हैं कई बार सुरक्षा की गुहार लगाने के बावजूद भी किसी ने भी इस ओर ध्यान नहीं दिया।


Conclusion:वी/ओ--टिहरी झील से प्रभावित तिवाड गांव में आजकल झील का जलस्तर बढ़ने से लोगो को खतरा मंडरा रहा है। अब लोगो के मकानों मैं दरारे पड़नी शुरू हो गई । जिससे लोग दहसत में जीने को मजबूर है। अब ग्रामीण बलियो के सहारे रात काटने को मजबूर है।ग्रामीणो का कहना है कि ग्रामीणों को समस्या को लेकर पुनर्वास विभाग न ही प्रशासन कोई कार्रवाई कर रहा है जिससे लोगों में आक्रोश व्याप्त है।


बाईट--कुलदीप पंवार, ग्रामीण


बाईट-- जयपाल सिंह,ग्रामीण


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