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मां सुरकंडा देवी मंदिर में लगाया जा रहा रडार, लोगों ने किया विरोध

इंदिरा गांधी पर्यावरण पुरस्कार से सम्मानित विजय जड़धारी ने भी मंदिर प्रागण में मौसम विभाग द्वारा रडार लगाए जाने का विरोध किया है.  ग्रामीणों का कहना है कि मंदिर प्रांगण में गंगा दशहरा पर मेला लगता है. साथ ही कई धार्मिक अनुष्ठान किए जाते हैं. यदि मंदिर में रडार लगाया जाता है तो इससे धार्मिक कार्य बाधित होंगे.

लोगों ने किया मंदिर प्रांगण में रडार लगाए जाने का विरोध.
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Published : May 10, 2019, 11:17 AM IST

Updated : May 10, 2019, 11:58 AM IST

टिहरी: प्रसिद्ध सिद्ध पीठ मां सुरकंडा देवी मंदिर के प्रांगण में मौसम विभाग द्वारा रडार लगाए जाने का मंदिर समिति के साथ ही स्थानीय लोगों ने पुरजोर विरोध किया है. लोगों का कहना है कि मौसम विभाग मंदिर से कुछ दूरी पर रडार लगाने का कार्य कर सकता है. जिसको लेकर मंदिर समिति और ग्रामीणों ने जिलाधिकारी को ज्ञापन दिया. साथ ही चेतावनी दी कि अगर मंदिर के प्रांगण में मौसम रडार लगाया गया तो लोग आंदोलन करने को विवश होंगे.

उल्लेखनीय है कि इंदिरा गांधी पर्यावरण पुरस्कार से सम्मानित विजय जड़धारी ने भी मंदिर प्रागण में मौसम विभाग द्वारा रडार लगाए जाने का विरोध किया है. ग्रामीणों का कहना है कि मंदिर प्रांगण में गंगा दशहरा पर मेला लगता है. साथ ही कई धार्मिक अनुष्ठान किए जाते हैं. यदि मंदिर में रडार लगाया जाता है तो इससे धार्मिक कार्य बाधित होंगे.

लोगों ने विरोध में प्रशासन को सौंपा ज्ञापन.

मंदिर समिति और ग्रामीणों ने जिला प्रशासन को चेतावनी देते हुए कहा कि मंदिर प्रांगण में मौसम रडार लगाया गया तो वे उग्र आंदोलन को विवश होंगे. उन्होंने कहा कि मंदिर का इतिहास पौराणिक है, इसलिए इसका संरक्षण आवश्यक है. जबकि स्थानीय लोग पीढ़ियों से ही यहां निवास करते आ रहे हैं. इसलिए मौसम विभाग और प्रशासन को जनभावनाओं के अनुरूप ही कार्य करना चाहिए. लोगों का कहना है कि मौसम विभाग मंदिर से कुछ दूरी पर रडार लगाने का कार्य कर सकता है.

टिहरी: प्रसिद्ध सिद्ध पीठ मां सुरकंडा देवी मंदिर के प्रांगण में मौसम विभाग द्वारा रडार लगाए जाने का मंदिर समिति के साथ ही स्थानीय लोगों ने पुरजोर विरोध किया है. लोगों का कहना है कि मौसम विभाग मंदिर से कुछ दूरी पर रडार लगाने का कार्य कर सकता है. जिसको लेकर मंदिर समिति और ग्रामीणों ने जिलाधिकारी को ज्ञापन दिया. साथ ही चेतावनी दी कि अगर मंदिर के प्रांगण में मौसम रडार लगाया गया तो लोग आंदोलन करने को विवश होंगे.

उल्लेखनीय है कि इंदिरा गांधी पर्यावरण पुरस्कार से सम्मानित विजय जड़धारी ने भी मंदिर प्रागण में मौसम विभाग द्वारा रडार लगाए जाने का विरोध किया है. ग्रामीणों का कहना है कि मंदिर प्रांगण में गंगा दशहरा पर मेला लगता है. साथ ही कई धार्मिक अनुष्ठान किए जाते हैं. यदि मंदिर में रडार लगाया जाता है तो इससे धार्मिक कार्य बाधित होंगे.

लोगों ने विरोध में प्रशासन को सौंपा ज्ञापन.

मंदिर समिति और ग्रामीणों ने जिला प्रशासन को चेतावनी देते हुए कहा कि मंदिर प्रांगण में मौसम रडार लगाया गया तो वे उग्र आंदोलन को विवश होंगे. उन्होंने कहा कि मंदिर का इतिहास पौराणिक है, इसलिए इसका संरक्षण आवश्यक है. जबकि स्थानीय लोग पीढ़ियों से ही यहां निवास करते आ रहे हैं. इसलिए मौसम विभाग और प्रशासन को जनभावनाओं के अनुरूप ही कार्य करना चाहिए. लोगों का कहना है कि मौसम विभाग मंदिर से कुछ दूरी पर रडार लगाने का कार्य कर सकता है.

Intro:मा सुरकण्डा मंदिर के प्रांगण में मौसम रडार लगाने का ग्रामीणो ने किया विरोध
इन्दिरा गांधी पर्यावरण पुरस्कार से सम्मानित विजय जड़धारी ने भी इस मौसम राडार को लगाने का विरोध किया है,


Body:52 सिद्ध पीठ में से एक है माँ सुरकंडा देवी का मंदिर,ओर मंदिर के प्रांगण में मौसम विभाग के द्वारा मौसम रडार लगाने का काम चल रहा है जिसके लेकर मंदिर समिति और आसपास के ग्रामीणो ने मौसम रडार लगाने का विरोध किया है लोगो का कहा कि उस स्थान से कुछ दूरी पर मौसम बिभाग परियोजना शुरू कर सकता है जिसको लेकर मंदिर समिति और ग्रामीणो ने जिला अधिकारी को ज्ञापन सौंपा और चेतावनी दी कि अगर मंदिर के प्रांगण में मौसम राडार लगाया गया तो मंदिर समिति और आसपास के ग्रामीण धरने पर बैठ जाएंगे

ग्रामीणो ने कहा कि धार्मिक आस्था के साथ कभी खिलवाड़ नहीं होने देंगे जब भी कभी गंगा दशहरा पर मेला लगता है तो इसी प्रांगण में लगता है मौसम विभाग के द्वारा मौसम रडार लगाया जाएगा धार्मिक कार्य व मेला कहां किये जाएंगे इसलिए यह मौसम राडार लगाने का विरोध किया हैं


Conclusion:मंदिर समिति और ग्रामीणो ने जिला प्रशासन को साफ चेतावनी देते हुए कहा कि मंदिर प्रांगण में मौसम रडार लगाया गया तो उसका बड़ा विरोध जिला प्रशासन को झेलना पड़ेगा साथी कहा कि जहां पर निर्माण कार्य किया जा रहा है उसका टावर मंदिर के ऊंचाई सभी ज्यादा हो रहा है इस मंदिर को ही खड़ा होगा साथी कहा कि यह मंदिर पौराणिक कॉल से यहां पर स्थापित है और उसके आसपास के सामान पर मंदिर समिति और ग्रामीणों का 72 साल से अधिक का कब्जा है और बन विभाग अधिनियम नियम ने साफ लिखा गया है कि जिसका पास 72 साल से अधिक कब्जा है वहां उसी का माना जाएगा

बाइट विजय जड़धारी पर्यावरण विद्द
बाइट जितेंद्र पवन समिति मंदिर

इसके विसुअल लाइव यु से भी भेजी है
Last Updated : May 10, 2019, 11:58 AM IST
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