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रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड NH बना जानलेवा, चार दिन बाद बांसवाड़ा से आवाजाही शुरू

रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड राष्ट्रीय राजमार्ग को केदारघाटी की लाइफ लाइन कहा जाता है, जो बीते चार दिनों बंद पड़ा हुआ था.

रुद्रप्रयाग
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Published : Aug 12, 2020, 3:26 PM IST

Updated : Aug 12, 2020, 3:40 PM IST

रुद्रप्रयाग: केदारनाथ घाटी की लाइफ लाइन कहे जाने वाला रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड राष्ट्रीय राजमार्ग बांसवाड़ा में बंद होने के बाद मार्ग को चौथे दिन खोल दिया गया है. भारी मलबा और बोल्डर आने से राजमार्ग बंद था, जिसे काफी मशक्कत के बाद खोला गया है. इसके अलावा अन्य चार जंगहों पर भी हाईवे बंद पड़ा हुआ था. वहां भी अब आवाजाही शुरू हो गई है.

राजमार्ग के खुलने के बाद केदारघाटी की जनता और केदारनाथ जाने वाले तीर्थयात्रियों ने राहत की सांस ली है. रास्ता खुलने के बाद केदारघाटी में आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति की जा रही है. हाईवे बंद होने से लोग 80 किमी का अतिरिक्त सफर तय करने को मजबूर हो रहे थे.

पढ़ें- युवक को डूबने से बचाने वाले 12 वर्षीय सनी को वीरता पुरस्कार की मांग, बनना चाहता है पुलिस अफसर

बता दें कि केदारघाटी में लगातार हो रही बारिश के कारण जनजीवन प्रभावित हो गया है. यहां ग्रामीण इलाकों में मूसलाधार बारिश से खेत, खलिहान, आवासीय भवनों को नुकसान पहुंच रहा हैं. वहीं, रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड नेशनल हाईवे भी जानलेवा बना हुआ है. हाईवे पर कई जगहों पर आवागमन करना खतरे से खाली नहीं रह गया है. राजमार्ग के बांसवाड़ा में सबसे अधिक दिक्कतें उठानी पड़ रही हैं.

एक ओर मंदाकिनी नदी विकराल रूप धारण किए हुए है तो दूसरी ओर पहाड़ी से भूस्खलन हो रहा है. ऑॅल वेदर रोड के कार्य के बाद से राष्ट्रीय राजमार्ग केदारनाथ की हालत बदतर हो चुकी है. राजमार्ग पर डेंजर जोन सक्रिय हो गए हैं, जो बरसाती सीजन में मुसीबत बनकर बरसते हैं.

पढ़ें- उत्तरकाशी: थिरांग में 31 घंटे बाद खोला गया गंगोत्री हाईवे, भूस्खलन से हुआ था बाधित

मंदाकिनी नदी के विकराल रूप धारण करने से बांसवाड़ा में हाईवे का एक बड़ा एक हिस्सा ढह गया है, जिससे यहां पर पहाड़ी काटकर मार्ग को तैयार किया गया है. यहां पर राजमार्ग अब बेहद संकरा भी हो गया है, जिस कारण दुर्घटना का अधिक खतरा बन गया है.

राष्ट्रीय राजमार्ग खंड के अधिशासी अभियंता जितेन्द्र कुमार त्रिपाठी ने बताया कि लैंडस्लाइड वाले स्थानों पर 35 मशीनों को तैनात किया गया है. बांसबाड़ा में राजमार्ग काफी डेंजर बन गया है, यहां पर हर दिन राजमार्ग बंद हो रहा है. ऊपरी पहाड़ी से छोटे-छोटे बोल्डर गिर रहे हैं, जबकि कभी-कभी बड़े बोल्डर भी आ रहे हैं.

रुद्रप्रयाग: केदारनाथ घाटी की लाइफ लाइन कहे जाने वाला रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड राष्ट्रीय राजमार्ग बांसवाड़ा में बंद होने के बाद मार्ग को चौथे दिन खोल दिया गया है. भारी मलबा और बोल्डर आने से राजमार्ग बंद था, जिसे काफी मशक्कत के बाद खोला गया है. इसके अलावा अन्य चार जंगहों पर भी हाईवे बंद पड़ा हुआ था. वहां भी अब आवाजाही शुरू हो गई है.

राजमार्ग के खुलने के बाद केदारघाटी की जनता और केदारनाथ जाने वाले तीर्थयात्रियों ने राहत की सांस ली है. रास्ता खुलने के बाद केदारघाटी में आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति की जा रही है. हाईवे बंद होने से लोग 80 किमी का अतिरिक्त सफर तय करने को मजबूर हो रहे थे.

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बता दें कि केदारघाटी में लगातार हो रही बारिश के कारण जनजीवन प्रभावित हो गया है. यहां ग्रामीण इलाकों में मूसलाधार बारिश से खेत, खलिहान, आवासीय भवनों को नुकसान पहुंच रहा हैं. वहीं, रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड नेशनल हाईवे भी जानलेवा बना हुआ है. हाईवे पर कई जगहों पर आवागमन करना खतरे से खाली नहीं रह गया है. राजमार्ग के बांसवाड़ा में सबसे अधिक दिक्कतें उठानी पड़ रही हैं.

एक ओर मंदाकिनी नदी विकराल रूप धारण किए हुए है तो दूसरी ओर पहाड़ी से भूस्खलन हो रहा है. ऑॅल वेदर रोड के कार्य के बाद से राष्ट्रीय राजमार्ग केदारनाथ की हालत बदतर हो चुकी है. राजमार्ग पर डेंजर जोन सक्रिय हो गए हैं, जो बरसाती सीजन में मुसीबत बनकर बरसते हैं.

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मंदाकिनी नदी के विकराल रूप धारण करने से बांसवाड़ा में हाईवे का एक बड़ा एक हिस्सा ढह गया है, जिससे यहां पर पहाड़ी काटकर मार्ग को तैयार किया गया है. यहां पर राजमार्ग अब बेहद संकरा भी हो गया है, जिस कारण दुर्घटना का अधिक खतरा बन गया है.

राष्ट्रीय राजमार्ग खंड के अधिशासी अभियंता जितेन्द्र कुमार त्रिपाठी ने बताया कि लैंडस्लाइड वाले स्थानों पर 35 मशीनों को तैनात किया गया है. बांसबाड़ा में राजमार्ग काफी डेंजर बन गया है, यहां पर हर दिन राजमार्ग बंद हो रहा है. ऊपरी पहाड़ी से छोटे-छोटे बोल्डर गिर रहे हैं, जबकि कभी-कभी बड़े बोल्डर भी आ रहे हैं.

Last Updated : Aug 12, 2020, 3:40 PM IST
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