रुद्रप्रयागः ज्योतिर्मठ चारधाम शीतकालीन मंगल यात्रा तीसरे चरण में भगवान केदारनाथ के शीतकालीन पूजा स्थल ओंकारेश्वर मंदिर पहुंची. यहां केदारनाथ के तीर्थ पुरोहितों और पुजारियों ने यात्रा का स्वागत किया. मंदिर में ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती की ओर से उनके शिष्य ज्योतिर्मठ प्रभारी ब्रह्मचारी मुकुंदानंद ने भगवान केदारनाथ की पूजा-अर्चना की. यह शीतकालीन यात्रा बीते 11 मार्च से हरिद्वार से शुरू हुई, जिसका समापन कल नृसिंह मंदिर जोशीमठ में होगा.
ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती की ओर से उनके शिष्य ब्रह्मचारी मुकुंदानंद ने शीतकालीन मंगल यात्रा के तहत आगामी चारधाम यात्रा की सफलता की मंगल कामना की. इस दौरान ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य की ओर से पूजा अर्चना की. ज्योर्तिमठ प्रभारी मुकुंदानंद ने बताया कि ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने एक संकल्प लिया था. जिसमें उन्होंने चार धामों की शीतकालीन पूजा स्थलों में पूजा का मानसिक संकल्प करने की बात कही थी. इसी कड़ी में भगवान केदारनाथ के शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर में विशेष पूजा और अभिषेक किया.
ये भी पढ़ेंः केदारनाथ प्रसाद की पैकेजिंग में नहीं होगा पॉलिथीन का इस्तेमाल, बार कोड से होगी पहचान
ज्योतिर्मठ प्रभारी ब्रह्मचारी मुकुंदानंद और अन्य सदस्यों का केदारसभा के अध्यक्ष राजकुमार तिवारी के साथ ही अन्य तीर्थ पुरोहितों व उत्तराखंड चारधाम तीर्थ पुरोहित महापंचायत उपाध्यक्ष आचार्य संतोष त्रिवेदी, संगठन मंत्री प्रकाश त्रिवेदी, केदारनाथ मंदिर के पुजारी शिव शंकर लिंग समेत बागेश लिंग ने स्वागत किया. ज्योर्तिमठ के मीडिया प्रभारी डॉ. बृजेश सती ने बताया कि ज्योतिर्मठ शीतकालीन मंगल यात्रा अपने चौथे और अंतिम पड़ाव में बदरीनाथ के शीतकालीन पूजा स्थल नृसिंह मंदिर पहुंची. यहां कल सर्वे भवंतु सुखिन की मंगल कामना के साथ पूजा की जाएगी.