रुद्रप्रयाग: पंच केदारों में तृतीय केदार के नाम से विख्यात भगवान तुंगनाथ के दूसरे चरण की उत्तर दिवारा यात्रा गड़गू गांव से रात्रि प्रवास के लिए गिरिया गांव पहुंची. वहीं गड़गू गांव में भगवान तुंगनाथ व जाखराजा के 18 सालों बाद अद्भुत मिलन के सैकड़ों श्रद्धालु साक्षी बने.
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दरअसल भगवान तुंगनाथ की दिवारा यात्रा के आगमन से मदमहेश्वर घाटी के हर गांव में माहौल भक्तिमय बना हुआ है. शुक्रवार को भगवान तुंगनाथ की दिवारा यात्रा विभिन्न स्थानों पर श्रद्धालुओं को आशीष देते हुए रात्रि प्रवास के लिए बुरूवा गांव पहुंचेगी.
वहीं गुरुवार को गड़गू गांव में आचार्य सुरेन्द्र प्रसाद मैठाणी, अतुल मैठाणी, आशीष मैठाणी, विनोद प्रसाद मैठाणी, भरत प्रसाद मैठाणी व राजेन्द्र प्रसाद मैठाणी ने सुबह की बेला में भगवान तुंगनाथ सहित सभी देवी-देवताओं का गंगा जल से स्नान करवाकर पंचांग पूजन के तहत 33 करोड़ देवी-देवताओं का आह्वान किया. साथ ही भगवान तुंगनाथ का रूद्राभिषेक कर आरती उतारी.
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फाल्गुन संक्रांति का पर्व होने से सुबह से ही श्रद्धालुओं ने भगवान तुंगनाथ की पूजा-अर्चना कर पुण्य अर्जित किया. ठीक 10 बजे जैसे ही हवन की पूर्णाहुति हुई, वैसे ही कई देवी-देवता नर रूप में अवतरित हुए. साथ ही दिवारा यात्रा में साथ चल रहे ग्रामीणों को आशीष दिया.