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शिक्षक-पुस्तक आंदोलन 32 दिनों से जारी, मांग पूरी नहीं होने पर दिल्ली कूच करेंगे छात्र - सरकार को चेतावनी,

पिथौरागढ़ महाविद्यालय के छात्र 32 दिन से शिक्षक और पुस्तक के लिए आंदोलन कर रहे हैं, जिसके लिए आज छात्रों और अभिभावकों ने जनगीत गाते हुए कल्चरल मार्च निकाला. इस दौरान अभिभावकों ने आंदोलन को उग्र करने की दी चेतावनी.

छात्रों का शिक्षक-पुस्तक आंदोलन
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Published : Jul 19, 2019, 1:43 PM IST

पिथौरागढ़: पिछले 32 दिनों से जारी शिक्षक-पुस्तक आंदोलन अब और तूल पकड़ने लगा है. महाविद्यालय के छात्रों और अभिभावकों ने नगर में सांस्कृतिक जुलूस निकालकर राज्य सरकार को आगाह किया है कि अगर जल्द ही छात्रों की समस्याओं का स्थायी हल नहीं निकाला गया, तो यह आंदोलन उत्तराखंड से लेकर दिल्ली तक चलाया जाएगा. इस दौरान छात्रों और अभिभावकों ने नुक्कड़ कार्यक्रम भी पेश किए.

शासन-प्रशासन के तमाम आश्वासनों के बावजूद छात्र और अभिभावक शिक्षक-पुस्तकों की मांग को लेकर डटे हुए हैं. शिक्षक-पुस्तक आंदोलन को विभिन्न जन संगठनों का समर्थन मिल रहा है. छात्रों का कहना है कि अब लड़ाई महाविद्यालय से निकलकर सड़कों पर लड़ी जाएगी, जिसमें अभिभावक उनके साथ है.

छात्रों का शिक्षक-पुस्तक आंदोलन

पढ़ें- तेज रफ्तार वाहन चलाने वाले ड्राइवर को दो साल की सजा, 21 हजार रुपये का लगा जुर्माना

आंदोलनकारी छात्रों ने पिथौरागढ़ महाविद्यालय की शैक्षणिक व्यवस्थाओं को लेकर लोगों से आगे आने की अपील की है. वहीं, आंदोलन को समर्थन दे रहे जन संगठनों का कहना है कि सरकार झूठे आश्वासनों से छात्रों के इस आंदोलन को तोड़ने का प्रयास कर रही है, मगर जब तक छात्रों की मांगे पूरी नही होगी तब तक आंदोलन जारी रहेगा.

पिथौरागढ़: पिछले 32 दिनों से जारी शिक्षक-पुस्तक आंदोलन अब और तूल पकड़ने लगा है. महाविद्यालय के छात्रों और अभिभावकों ने नगर में सांस्कृतिक जुलूस निकालकर राज्य सरकार को आगाह किया है कि अगर जल्द ही छात्रों की समस्याओं का स्थायी हल नहीं निकाला गया, तो यह आंदोलन उत्तराखंड से लेकर दिल्ली तक चलाया जाएगा. इस दौरान छात्रों और अभिभावकों ने नुक्कड़ कार्यक्रम भी पेश किए.

शासन-प्रशासन के तमाम आश्वासनों के बावजूद छात्र और अभिभावक शिक्षक-पुस्तकों की मांग को लेकर डटे हुए हैं. शिक्षक-पुस्तक आंदोलन को विभिन्न जन संगठनों का समर्थन मिल रहा है. छात्रों का कहना है कि अब लड़ाई महाविद्यालय से निकलकर सड़कों पर लड़ी जाएगी, जिसमें अभिभावक उनके साथ है.

छात्रों का शिक्षक-पुस्तक आंदोलन

पढ़ें- तेज रफ्तार वाहन चलाने वाले ड्राइवर को दो साल की सजा, 21 हजार रुपये का लगा जुर्माना

आंदोलनकारी छात्रों ने पिथौरागढ़ महाविद्यालय की शैक्षणिक व्यवस्थाओं को लेकर लोगों से आगे आने की अपील की है. वहीं, आंदोलन को समर्थन दे रहे जन संगठनों का कहना है कि सरकार झूठे आश्वासनों से छात्रों के इस आंदोलन को तोड़ने का प्रयास कर रही है, मगर जब तक छात्रों की मांगे पूरी नही होगी तब तक आंदोलन जारी रहेगा.

Intro:पिथौरागढ़: पिछले 32 दिनों से जारी शिक्षक-पुस्तक आंदोलन लगातार तूल पकड़ता जा रहा है। महाविद्यालय के छात्रों और अभिभावकों ने नगर में सांस्कृतिक जुलूस निकालकर राज्य सरकार को आगाह किया है कि अगर छात्रों की समस्याओं का स्थायी हल जल्द ही नही किया गया तो उत्तराखंड से लेकर दिल्ली तक ये आंदोलन चलाया जाएगा। इस दौरान छात्रों और अभिभावकों ने जनगीत गाते हुए नुक्कड़ कार्यक्रम भी पेश किए।

शासन-प्रशासन के तमाम आश्वासनों के बावजूद छात्र और अभिभावक शिक्षक-पुस्तकों की मांग को लेकर डटे हुए है। विभिन्न जनसंगठनों का भी आंदोलन को समर्थन मिल रहा है। छात्रों का कहना है कि अब लड़ाई महाविद्यालय से निकलकर सड़कों पर लड़ी जाएगी। जिसमें अभिभावक पूरी तरह उनके साथ है। आंदोलनकारी छात्रों ने पिथौरागढ़ महाविद्यालय की शैक्षणिक व्यवस्थाओं को लेकर जनमानस से आगे आने की अपील की। वहीं आंदोलन को समर्थन दे रहे जनसंगठनों का कहना है कि सरकार झूठे आश्वासनों से छात्रों के इस आंदोलन को तोड़ने का प्रयास कर रही है। मगर जब तक छात्रों की मांगे पूरी नही होंगी तब तक आंदोलन जारी रहेगा।

Byte: भगवान रावत, अध्यक्ष, जनमंच
Byte: राकेश जोशी, अध्यक्ष, छात्र संघ


Body:पिथौरागढ़: पिछले 32 दिनों से जारी शिक्षक-पुस्तक आंदोलन लगातार तूल पकड़ता जा रहा है। महाविद्यालय के छात्रों और अभिभावकों ने नगर में सांस्कृतिक जुलूस निकालकर राज्य सरकार को आगाह किया है कि अगर छात्रों की समस्याओं का स्थायी हल जल्द ही नही किया गया तो उत्तराखंड से लेकर दिल्ली तक ये आंदोलन चलाया जाएगा। इस दौरान छात्रों और अभिभावकों ने जनगीत गाते हुए नुक्कड़ कार्यक्रम भी पेश किए।

शासन-प्रशासन के तमाम आश्वासनों के बावजूद छात्र और अभिभावक शिक्षक-पुस्तकों की मांग को लेकर डटे हुए है। विभिन्न जनसंगठनों का भी आंदोलन को समर्थन मिल रहा है। छात्रों का कहना है कि अब लड़ाई महाविद्यालय से निकलकर सड़कों पर लड़ी जाएगी। जिसमें अभिभावक पूरी तरह उनके साथ है। आंदोलनकारी छात्रों ने पिथौरागढ़ महाविद्यालय की शैक्षणिक व्यवस्थाओं को लेकर जनमानस से आगे आने की अपील की। वहीं आंदोलन को समर्थन दे रहे जनसंगठनों का कहना है कि सरकार झूठे आश्वासनों से छात्रों के इस आंदोलन को तोड़ने का प्रयास कर रही है। मगर जब तक छात्रों की मांगे पूरी नही होंगी तब तक आंदोलन जारी रहेगा।

Byte: भगवान रावत, अध्यक्ष, जनमंच
Byte: राकेश जोशी, अध्यक्ष, छात्र संघ


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