कोटद्वार: अमलेसा गांव के लोगों ने गांव को सड़क से जोड़ने की मांग की है और मांग पूरी न होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है. ग्रामीणों का कहना है कि उनके गांव में सड़क नहीं होने से भारी समस्याओं का सामना करना पड़ता है. किसी के बीमार होने पर मरीज को कंधों के सहारे सड़क तक लाया जाता है, जिसके बाद उसे इलाज मिल पाता है.
बता दें, सिरोबाड़ी-अमलेसा-लांगबाड़ी-इलमोडा-धोलखेत खाल मोटर मार्ग की स्वीकृति साल 2005-06 में हुई थी. तब लोक निर्माण विभाग ने 10 किलोमीटर सड़क की कटिंग शुरू की थी. सड़क कटिंग के दौरान लोक निर्माण विभाग ने प्लेन नदी पर एक स्टील गार्डर पुल का निर्माण भी किया था. लोक निर्माण विभाग ने बजट का रोना रोकर सड़क की कटिंग बीच में ही छोड़ दिया. पुल का निर्माण साल 2012 में समाप्त हो गया था लेकिन 8 साल बीत जाने के बाद भी सड़क को पुल से नहीं जोड़ा गया.
साल 2019- 20 में पीएमजीएसवाई सतपुली के द्वारा इस सड़क पर 7 किलोमीटर पर पेंटिंग का कार्य किया, लेकिन यह कार्यदाई संस्था भी 3 किलोमीटर इस सड़क को मुख्य सड़क से जोड़ना भूल गई. जिस कारण वर्तमान में अमलेसा, लोहताल, लांगवाड़ी, सिरोबाड़ी गांव सड़क से वांछित हैं. ग्रामीणों ने सिरोबाड़ी के समीप पुल पर प्रदर्शन कर सड़क निर्माण कार्य को पूरा करने की मांग की साथ ही मांग पूरी ना होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी.
स्थानीय लोगों का कहना है कि इस पुल को बने करीब 8 साल हो चुके हैं, लेकिन आज तक कोई गाड़ी नहीं चली है. पुल की हालत यह है कि इस पर जंग लगना शुरू हो गया है और टूटने की कगार पर पहुंच गया है. स्थानीय लोगों ने विधायक के खिलाफ गुस्सा जताते हुए कहा कि पिछले 10 सालों से विधायक अमलेसा गांव की इस सड़क की सुध लेने नहीं पहुंचे.