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20 साल पुराने पौड़ी ब्लास्ट के राज से उठेगा 'पर्दा', थाने को भेजी गई शिकायत, संपति विवाद पर भी जांच शुरू - pauri umesha hotel controversy

पौड़ी पंत इलेक्ट्रॉनिक्स ब्लास्ट केस ब्लास्ट और उमेशा होटल संपति विवाद को लेकर पुलिस ने अपनी जांच शुरू कर दी है. इसके पहले चरण में शिकायतकर्ता ऊषा पंत को पूछताछ के लिए बुलाया गया. जिसमें शिकायतकर्ता ऊषा पंत ने कोतवाली पौड़ी में पुलिस के सामने अपने बयान दर्ज करवाये.

Pant Electronics Blast Case
20 साल पुराने पौड़ी ब्लास्ट के राज से उठेगा 'पर्दा'
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Nov 9, 2023, 6:11 PM IST

Updated : Nov 9, 2023, 6:47 PM IST

20 साल पुराने पौड़ी ब्लास्ट के राज से उठेगा 'पर्दा'

श्रीनगर: 20 साल पहले पौड़ी के पंत इलेक्ट्रॉनिक में एक धमाका हुआ, जिसका रहस्य आजतक बना हुआ है. पौड़ी में हुए इस ब्लास्ट को कोई सिलेंडर ब्लास्ट बताता है तो कोई इसे सीडी ब्लास्ट बताता है. 20 साल बाद भी आज तक इस ब्लास्ट की हकीकत सामने नहीं आ पाई है. अब पंत इलेक्ट्रॉनिक ब्लास्ट केस, उमेशा होटल समेत संपति पर मालिकाना हक को लेकर चल रहे पारिवारिक विवाद में पुलिस ने जांच शुरू कर दी है. मामले की जांच की जिम्मेदारी सीओ सदर श्याम दत्त नौटियाल को दी गई है. इस मामले में शिकायतकर्ता स्व.उमेश पंत की पत्नी ऊषा पंत ने जांच के सम्बन्ध में कोतवाली पौड़ी में पुलिस के सामने अपने बयान दर्ज करवाये.

शिकायतकर्ता ऊषा पंत ने उमेश पंत के भाइयों ललित और बुद्धि पंत पर संपति के लालच में अपने भाई की हत्या का षड्यंत्र रचने का आरोप लगाया. शिकायतकर्ता ऊषा पंत ने कहा राजनीतिक पहुंच के चलते दोनों भाइयों ने हत्याकांड की जांच को रफा-दफा करने की कोशिश भी की. साथ ही उन्होंने अपने बयान दर्ज कराते हुए कहा कि दोनों भाइयों ने मानसिक रूप से बीमार उनके ससुर स्व.भगवती पंत के साथ भी जालसाजी की. जिसमें उन्होंने फर्जी वसीयत बनाकर संपति हड़पने का प्रयास किया. ऊषा पंत ने आरोप लगाया उनके पति की मौत के बाद मिलने वाले जीवन बीमा फंड और पति के तमाम बैंक /पोस्ट आफिस खातों में उनके फर्जी हस्ताक्षर कर दोनों भाइयों ने पैसा हड़पे.

पढ़ें- 19 साल बाद फिर सुर्खियों में पौड़ी ब्लास्ट मामला, पीड़िता ने परिजनों पर लगाए गंभीर आरोप, लगाई न्याय की गुहार

वहीं, इस मामले में उमेश पंत के भाई ललित पंत और बुद्धि पंत का पक्ष भी सामने आया है. दोनों भाइयो ने खुद पर लगे सारे आरोपों को ख़ारिज करते हुये सम्पत्ति विवाद को आपसी सुलह-समझौते से सुलझाने की बात कही है. मामले में सीओ सदर श्याम दत्त नौटियाल ने बताया ये 2004 का मामला है. इसमें एक प्रार्थना पत्र दिया गया है. प्रार्थना पत्र जांच के लिए थाने को भेज दिया गया है. जांच में प्राथमिक जांच की जाएगी. इसमें अगर कुछ भी तथ्य सामने आएंगे तो मामले में एफआईआर दर्ज की जाएगी.

क्या है मामला: दरअसल, 25 नवंबर 2004 में पौड़ी के पंत इलेक्ट्रॉनिक में संदिग्ध परिस्थितियों में धमाका हुआ था. जिसमें उमेश पंत की मौत हो गई थी. मामले में तत्कालीन सरकार ने सीबीआई और सीआईडी समेत अन्य एजेंसियों से जांच कराने का आश्वासन दिया था, लेकिन मामले में कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई. हालांकि, सीबीसीआईडी (CBCID) ने मामले की जांच की, लेकिन ठोस नतीजे पर नहीं पहुंच पाई. आरोप है कि अब संबंधित संपत्ति पर उमेश पंत के परिजनों पर कब्जा कर लिया है. जिसे लेकर उमेश पंत की पत्नी उषा पंत इंसाफ की गुहार को लेकर दर दर भटक रही हैं. इसी संबंध में पीड़िता उषा पंत ने पौड़ी एसएसपी श्वेता चौबे से मुलाकात की थी. जिसमें उन्होंने न्याय की गुहार लगाई थी. जिसके बाद एसएसपी श्वेता चौबे ने मामले की जांच पौड़ी सीओ सदर सौंपी. साथ ही जो भी कागजात और तथ्य पीड़िता की ओर से दिए गए उसकी जांच कराने के निर्देश भी एसएसपी ने दिये थे. इसी कड़ी में पीड़िता उषा पंत को पौड़ी सीओ सदर ने पूछताछ के लिए बुलाया. जिसमें उनका पक्ष सुना गया

20 साल पुराने पौड़ी ब्लास्ट के राज से उठेगा 'पर्दा'

श्रीनगर: 20 साल पहले पौड़ी के पंत इलेक्ट्रॉनिक में एक धमाका हुआ, जिसका रहस्य आजतक बना हुआ है. पौड़ी में हुए इस ब्लास्ट को कोई सिलेंडर ब्लास्ट बताता है तो कोई इसे सीडी ब्लास्ट बताता है. 20 साल बाद भी आज तक इस ब्लास्ट की हकीकत सामने नहीं आ पाई है. अब पंत इलेक्ट्रॉनिक ब्लास्ट केस, उमेशा होटल समेत संपति पर मालिकाना हक को लेकर चल रहे पारिवारिक विवाद में पुलिस ने जांच शुरू कर दी है. मामले की जांच की जिम्मेदारी सीओ सदर श्याम दत्त नौटियाल को दी गई है. इस मामले में शिकायतकर्ता स्व.उमेश पंत की पत्नी ऊषा पंत ने जांच के सम्बन्ध में कोतवाली पौड़ी में पुलिस के सामने अपने बयान दर्ज करवाये.

शिकायतकर्ता ऊषा पंत ने उमेश पंत के भाइयों ललित और बुद्धि पंत पर संपति के लालच में अपने भाई की हत्या का षड्यंत्र रचने का आरोप लगाया. शिकायतकर्ता ऊषा पंत ने कहा राजनीतिक पहुंच के चलते दोनों भाइयों ने हत्याकांड की जांच को रफा-दफा करने की कोशिश भी की. साथ ही उन्होंने अपने बयान दर्ज कराते हुए कहा कि दोनों भाइयों ने मानसिक रूप से बीमार उनके ससुर स्व.भगवती पंत के साथ भी जालसाजी की. जिसमें उन्होंने फर्जी वसीयत बनाकर संपति हड़पने का प्रयास किया. ऊषा पंत ने आरोप लगाया उनके पति की मौत के बाद मिलने वाले जीवन बीमा फंड और पति के तमाम बैंक /पोस्ट आफिस खातों में उनके फर्जी हस्ताक्षर कर दोनों भाइयों ने पैसा हड़पे.

पढ़ें- 19 साल बाद फिर सुर्खियों में पौड़ी ब्लास्ट मामला, पीड़िता ने परिजनों पर लगाए गंभीर आरोप, लगाई न्याय की गुहार

वहीं, इस मामले में उमेश पंत के भाई ललित पंत और बुद्धि पंत का पक्ष भी सामने आया है. दोनों भाइयो ने खुद पर लगे सारे आरोपों को ख़ारिज करते हुये सम्पत्ति विवाद को आपसी सुलह-समझौते से सुलझाने की बात कही है. मामले में सीओ सदर श्याम दत्त नौटियाल ने बताया ये 2004 का मामला है. इसमें एक प्रार्थना पत्र दिया गया है. प्रार्थना पत्र जांच के लिए थाने को भेज दिया गया है. जांच में प्राथमिक जांच की जाएगी. इसमें अगर कुछ भी तथ्य सामने आएंगे तो मामले में एफआईआर दर्ज की जाएगी.

क्या है मामला: दरअसल, 25 नवंबर 2004 में पौड़ी के पंत इलेक्ट्रॉनिक में संदिग्ध परिस्थितियों में धमाका हुआ था. जिसमें उमेश पंत की मौत हो गई थी. मामले में तत्कालीन सरकार ने सीबीआई और सीआईडी समेत अन्य एजेंसियों से जांच कराने का आश्वासन दिया था, लेकिन मामले में कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई. हालांकि, सीबीसीआईडी (CBCID) ने मामले की जांच की, लेकिन ठोस नतीजे पर नहीं पहुंच पाई. आरोप है कि अब संबंधित संपत्ति पर उमेश पंत के परिजनों पर कब्जा कर लिया है. जिसे लेकर उमेश पंत की पत्नी उषा पंत इंसाफ की गुहार को लेकर दर दर भटक रही हैं. इसी संबंध में पीड़िता उषा पंत ने पौड़ी एसएसपी श्वेता चौबे से मुलाकात की थी. जिसमें उन्होंने न्याय की गुहार लगाई थी. जिसके बाद एसएसपी श्वेता चौबे ने मामले की जांच पौड़ी सीओ सदर सौंपी. साथ ही जो भी कागजात और तथ्य पीड़िता की ओर से दिए गए उसकी जांच कराने के निर्देश भी एसएसपी ने दिये थे. इसी कड़ी में पीड़िता उषा पंत को पौड़ी सीओ सदर ने पूछताछ के लिए बुलाया. जिसमें उनका पक्ष सुना गया

Last Updated : Nov 9, 2023, 6:47 PM IST
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