श्रीनगर: मेडिकल कॉलेज (Srinagar Medical College) के सर्जरी विभाग में मरीजों की जान के साथ खिलवाड़ हो रहा है. विभाग की लेप्रोस्कोपी मशीन (Srinagar Medical College Laparoscopy Machine) कई बार सर्जरी के दौरान धोखा दे रही है. मशीन की स्क्रीन सर्जरी के दौरान अचानक बंद हो जा रही है, जिससे सर्जन को पेट के अंदर उपकरण चलाने में दिक्कत हो जाती है. इस दौरान हल्की सी असावधानी से उपकरणों से मरीज किसी अंग में चोट लगने का खतरा बना रहता है.
श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में साल 2012 में खरीदी गई लेप्रोस्कोपी मशीन समय के साथ पुरानी हो चुकी है. इस मशीन से बिना चीरा दूरबीन विधि से सर्जरी की जाती है. इस विधि से सर्जरी करने में सामान्य विधि से सर्जरी की तुलना में मरीज को बिस्तर पर कम रहना पड़ता है.समस्या यह है कि इस मशीन की स्क्रीन बार-बार बंद हो जाती है. सर्जरी के दौरान शरीर में छेद करके उपकरण और कैमरों का प्रवेश कराया जाता है. स्क्रीन बंद होने से सर्जन को ना तो कैमरे से कुछ दिखाई देता है और ना ही ऐसे में औजारों से कार्य किया जा सकता है.
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सूत्रों के अनुसार, स्क्रीन को पुन: चालू करने के लिए मॉनीटर को बंद कर दोबारा ऑन करना पड़ता है. इस दौरान यदि पेट के अंदर हल्का सा कोई उपकरण हिला, तो अंदरूनी हिस्सों में चोट आ सकती है. तकनीक के हिसाब से मशीन हुई पुरानी-मेडिकल कॉलेज की लेप्रोस्कोपी मशीन 10 साल पुरानी है. तकनीकी के हिसाब से यह चलन से बाहर हो गई है. इसके कैमरों व स्क्रीन की गुणवत्ता इतनी बेहतर नहीं है. इससे साफ पिक्चर नहीं आती है. वर्तमान में डबल चिप एचडी और 4 के रेजोल्यूशन मशीन आ रही हैं.
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इन मशीनों का पिक्सल ज्यादा होता है. जिससे साफ पिक्चर स्क्रीन मेंं दिखाई देती है. यानि कि जितनी साफ पिक्चर सर्जन को दिखाई देगी, उतने बेहतर ढंग से सर्जरी होगी. मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य (Srinagar Medical College Principal) प्रो. पुष्पेंद्र सिंह ने कहा कि सर्जरी विभाग की ओर से नई मशीन की खरीद के लिए विगत जून माह में प्रस्ताव दिया गया था. इसकी अनुमानित लागत लगभग एक करोड़ रुपये है. प्रस्ताव को निदेशालय भेज दिया गया है.