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गौला का जलस्तर घटने से गहराया संकट, सिंचाई के अभाव में झुलस रही फसल - हल्द्वानी में पानी की परेशानी

हल्द्वानी का काफी बड़ा इलाका खेतों में सिंचाई के लिए गौला नदी पर ही निर्भर हैं. लेकिन इस साल गौला नदी का जल स्तर कम होने से किसानों को पर्याप्त मात्रा में पानी नहीं मिल पा रहा है. ऐसे में किसानों के सामने बड़ी मुश्किल खड़ी हो गई है.

Drinking water problem
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Published : Apr 19, 2021, 11:05 AM IST

Updated : Apr 19, 2021, 12:00 PM IST

हल्द्वानी: गर्मी बढ़ते ही हल्द्वानी और आसपास के इलाकों में पानी का संकट गहराने लगा हैं. गौला नदी का जलस्तर लगातार गिर रहा है. जिसकी वजह से किसानों को सिंचाई के लिए पानी भी नहीं मिल रहा है. हल्द्वानी के कई ग्रामीण इलाके सिंचाई के लिए गौला नदी पर ही निर्भर है. लेकिन अब वो भी जवाब दे गई है. गौला नदी का जलस्तर घटने से किसानों को जरुरत के मुताबिक मात्र 30 प्रतिशत पानी ही उपलब्ध हो पा रहा है. जिससे किसानों की परेशानी बढ़ गई है. जगह-जगह सिंचाई नहर और गुल क्षतिग्रस्त होने के चलते खेतों तक पानी भी नहीं पहुंच पा रहा है.

गौला नदी का जलस्तर घटने से गहराया जल संकट.

पढ़ें: सवाड़ गांव में गहराया पेयजल संकट, नहीं बुझ रही लोगों की प्यास

हल्द्वानी के गौलापार, बरेली रोड, हल्दुचौड़ और गोरापड़ाव सहित कई इलाकों के किसानों खेतों में सिंचाई के लिए गौला नदी के पानी पर ही निर्भर है. मॉनसून सीजन में बरसात कम होने के चलते इस बार गौला नदी का जलस्तर रिकॉर्ड तोड़ते नीचे चला गया है. नदी में मात्र 55 क्यूसेक पानी रह गया है. ऐसे में सिंचाई विभाग अब किसानों को सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध नहीं करा पा रहा है.

सिंचाई विभाग के मुख्य अभियंता संजय शुक्ला ने बताया कि नदी में पानी नहीं होने के चलते वर्तमान समय में किसानों को सिंचाई के लिए मात्र 30 प्रतिशत ही पानी उपलब्ध कराया जा रहा है. साथ ही सिंचाई नहरों का आधुनिकरण बनाने की प्रक्रिया की जा रही है. जिससे पानी की बर्बादी को रोका जा सके.

हल्द्वानी: गर्मी बढ़ते ही हल्द्वानी और आसपास के इलाकों में पानी का संकट गहराने लगा हैं. गौला नदी का जलस्तर लगातार गिर रहा है. जिसकी वजह से किसानों को सिंचाई के लिए पानी भी नहीं मिल रहा है. हल्द्वानी के कई ग्रामीण इलाके सिंचाई के लिए गौला नदी पर ही निर्भर है. लेकिन अब वो भी जवाब दे गई है. गौला नदी का जलस्तर घटने से किसानों को जरुरत के मुताबिक मात्र 30 प्रतिशत पानी ही उपलब्ध हो पा रहा है. जिससे किसानों की परेशानी बढ़ गई है. जगह-जगह सिंचाई नहर और गुल क्षतिग्रस्त होने के चलते खेतों तक पानी भी नहीं पहुंच पा रहा है.

गौला नदी का जलस्तर घटने से गहराया जल संकट.

पढ़ें: सवाड़ गांव में गहराया पेयजल संकट, नहीं बुझ रही लोगों की प्यास

हल्द्वानी के गौलापार, बरेली रोड, हल्दुचौड़ और गोरापड़ाव सहित कई इलाकों के किसानों खेतों में सिंचाई के लिए गौला नदी के पानी पर ही निर्भर है. मॉनसून सीजन में बरसात कम होने के चलते इस बार गौला नदी का जलस्तर रिकॉर्ड तोड़ते नीचे चला गया है. नदी में मात्र 55 क्यूसेक पानी रह गया है. ऐसे में सिंचाई विभाग अब किसानों को सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध नहीं करा पा रहा है.

सिंचाई विभाग के मुख्य अभियंता संजय शुक्ला ने बताया कि नदी में पानी नहीं होने के चलते वर्तमान समय में किसानों को सिंचाई के लिए मात्र 30 प्रतिशत ही पानी उपलब्ध कराया जा रहा है. साथ ही सिंचाई नहरों का आधुनिकरण बनाने की प्रक्रिया की जा रही है. जिससे पानी की बर्बादी को रोका जा सके.

Last Updated : Apr 19, 2021, 12:00 PM IST
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