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जख्मी 'लक्ष्मी' के इलाज के लिए दक्षिण अफ्रीका से पहुंचे पशु डॉक्टर, पांव में बढ़ रहा संक्रमण

लक्ष्मी नाम की हथिनी के पैर में संक्रमण के इलाज के लिए दक्षिण अफ्रीका से पशु डॉक्टर को बुलाया है. अब डॉक्टर लक्ष्मी नाम की हथिनी का इलाज करेंगे.

लक्ष्मी नाम की हथिनी
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Published : Apr 21, 2019, 6:11 PM IST

रामनगरः हाई कोर्ट के आदेश के बाद वन प्रभाग ने जब्त किये हथिनी के इलाज के लिए दक्षिण अफ्रीका से पशु डॉक्टर को बुलाया है. अब डॉक्टर लक्ष्मी नाम की हथिनी का इलाज करेंगे. काफी दिनों से पैर में संक्रमण होने से लक्ष्मी बीमार चल रही थी. हालत में सुधार नहीं होने पर विभाग ने विदेशी पशु डॉक्टर का सहारा लिया है. वहीं, डॉक्टरों की मानें तो संक्रमण काफी फैल गया है. जरूरी इलाज के साथ पोषण युक्त भोजन दिए जाने की जरूरत है.

जानकारी देते डॉक्टर कोबस सिरोत.

बता दें कि हाई कोर्ट के आदेश के बाद रामनगर वन प्रभाग ने सात निजी पालतू हाथियों को जब्त किया था. जिसे विभाग ने आमडंडा स्थित अस्थाई हाथी खाने में रखा है, लेकिन इसमें से कई हाथी बीमार हैं. जिनका इलाज किया जा रहा है. इनमें लक्ष्मी नाम की हथिनी के पैर में संक्रमण होने से लंबे समय से बीमार चल रही है. लक्ष्मी के इलाज के लिए स्थानीय वेटनरी डॉक्टरों के अलावा पंतनगर विश्वविद्यालय के विशेषज्ञों का भी सहारा लिया गया, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ.

ये भी पढ़ेंः उत्तरकाशी से देहरादून जा रही कार खाई में गिरी, प्रधानाचार्य की मौत

इतना ही नहीं पैर में संक्रमण के चलते डॉक्टरों की राय पर हथिनी के पांवों के लिए जूते भी बनाए गए. साथ ही इलाज में सावधानियां भी बरती गई, बावजूद इसके कुछ सुधार नहीं हो पाया. पैर में संक्रमण के चलते लक्ष्मी बैठ गई थी. जिसे उठाने और इलाज कराने के लिए क्रेन का सहारा लिया गया. वहीं, हालत में सुधार नहीं होने पर विभाग ने साउथ अफ्रीका के पशु डॉक्टर कोबस रथ को बुलाया है.


विभाग की मानें तो डॉक्टर कोबस रथ साउथ अफ्रीका के कुरुगर नेशनल पार्क के जाने-माने पशु डॉक्टर रहे हैं. रविवार को डॉक्टर कोबस रथ ने आमडंडा हाथी खाने पहुंच कर सभी हाथियों का परीक्षण किया. इस दौरान लक्ष्मी नाम की हथिनी के इलाज के लिए स्थानीय विभागीय पशु डॉक्टरों को कई टिप्स भी दिए. डॉक्टर कोबस रथ का कहना है कि लंबी बीमारी से हथिनी के पांव में संक्रमण फैल गया है. इसके लिए जरूरी इलाज के साथ एनर्जिक डाइट और पोषण देने की आवश्यकता है. साथ ही कहा कि हथिनी को अपने चलने में काफी समय लगेगा.

रामनगरः हाई कोर्ट के आदेश के बाद वन प्रभाग ने जब्त किये हथिनी के इलाज के लिए दक्षिण अफ्रीका से पशु डॉक्टर को बुलाया है. अब डॉक्टर लक्ष्मी नाम की हथिनी का इलाज करेंगे. काफी दिनों से पैर में संक्रमण होने से लक्ष्मी बीमार चल रही थी. हालत में सुधार नहीं होने पर विभाग ने विदेशी पशु डॉक्टर का सहारा लिया है. वहीं, डॉक्टरों की मानें तो संक्रमण काफी फैल गया है. जरूरी इलाज के साथ पोषण युक्त भोजन दिए जाने की जरूरत है.

जानकारी देते डॉक्टर कोबस सिरोत.

बता दें कि हाई कोर्ट के आदेश के बाद रामनगर वन प्रभाग ने सात निजी पालतू हाथियों को जब्त किया था. जिसे विभाग ने आमडंडा स्थित अस्थाई हाथी खाने में रखा है, लेकिन इसमें से कई हाथी बीमार हैं. जिनका इलाज किया जा रहा है. इनमें लक्ष्मी नाम की हथिनी के पैर में संक्रमण होने से लंबे समय से बीमार चल रही है. लक्ष्मी के इलाज के लिए स्थानीय वेटनरी डॉक्टरों के अलावा पंतनगर विश्वविद्यालय के विशेषज्ञों का भी सहारा लिया गया, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ.

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इतना ही नहीं पैर में संक्रमण के चलते डॉक्टरों की राय पर हथिनी के पांवों के लिए जूते भी बनाए गए. साथ ही इलाज में सावधानियां भी बरती गई, बावजूद इसके कुछ सुधार नहीं हो पाया. पैर में संक्रमण के चलते लक्ष्मी बैठ गई थी. जिसे उठाने और इलाज कराने के लिए क्रेन का सहारा लिया गया. वहीं, हालत में सुधार नहीं होने पर विभाग ने साउथ अफ्रीका के पशु डॉक्टर कोबस रथ को बुलाया है.


विभाग की मानें तो डॉक्टर कोबस रथ साउथ अफ्रीका के कुरुगर नेशनल पार्क के जाने-माने पशु डॉक्टर रहे हैं. रविवार को डॉक्टर कोबस रथ ने आमडंडा हाथी खाने पहुंच कर सभी हाथियों का परीक्षण किया. इस दौरान लक्ष्मी नाम की हथिनी के इलाज के लिए स्थानीय विभागीय पशु डॉक्टरों को कई टिप्स भी दिए. डॉक्टर कोबस रथ का कहना है कि लंबी बीमारी से हथिनी के पांव में संक्रमण फैल गया है. इसके लिए जरूरी इलाज के साथ एनर्जिक डाइट और पोषण देने की आवश्यकता है. साथ ही कहा कि हथिनी को अपने चलने में काफी समय लगेगा.

Intro:एंकर-रामनगर वन प्रभाग द्वारा हाईकोर्ट के आदेश के बाद जब्त किए गए पालतू हाथियों में से लक्ष्मी नामक मादा हाथी का स्वास्थ्य बहुत दिनों से खराब है। काफी उपचार के बाद वह सही नहीं हो पा रही है। विभाग ने दक्षिणी अफ्रीका के प्रसिद्ध पशु चिकित्सक के उपचार और सलाह का सहारा लिया ताकि लक्ष्मी को जल्दी ही स्वास्थ लाभ मिल सके।


Body:वीओ-हाईकोर्ट के आदेश के बाद रामनगर वन प्रभाग ने सात निजी पालतू हाथीयो को जब्तीकरण किया था। जिनको आमडंडा स्थित बनाए गए अस्थाई हाथी खाने में रखा गया है। बावजूद इसमें से कई हाथी बीमार हैं जिनका उपचार चल रहा है। खासतौर से लक्ष्मी नामक हथिनी पैर के संक्रमण को लेकर काफी लंबे समय से बीमार चल रही है। जिसका उपचार स्थानीय बैटनरी डॉक्टरों के अलावा पंतनगर विश्वविद्यालय के विशेषज्ञो को भी लक्ष्मी के उपचार के लिए सहारा लिया गया। लेकिन पूर्ण रूप से सफलता हाथ नहीं लग पायी। यहाँ तक की पैर में संक्रमण के चलते डॉक्टरों की राय पर हथिनी के पाँवो के जूते भी बनाए गए और उपचार में सावधानियां भी बढ़ती गई परंतु कुछ हासिल नहीं हो सका। बीमारी के चलते लक्ष्मी बैठ गई जिसे उठाने और उपचार करने के लिए क्रेन का सहारा भी लिया गया। विभाग ने पहली बार साउथ अफ्रीका के पशु चिकित्सक डॉक्टर कोबस सिरोत का सहारा लिया गया है। विभाग की मानें तो डॉक्टर कोबस सिरोत साउथ अफ्रीका के कुरुगर नेशनल पार्क के जाने-माने पशु चिकित्सक रहे हैं। जिनको भारत में बुलाकर उनकी राय और उपचार का सहारा लिया गए।रविवार को डॉक्टर कोबस सिरात ने आमडंडा हाथी खाने पहुंच कर सभी हाथियों का परीक्षण किया और लक्ष्मी नामक हथिनी के उपचार के लिए स्थानीय विभागीय पशु चिकित्सकों को टिप्स भी दिए। डॉक्टर कोबस सिरात की मानें तो लंबी बीमारी के हथिनी के चलते पाँव संक्रमण काफी फैल गया है। जिसके लिए मुक्कमल उपचार के साथ साथ एनजिर्क डायट और पोषण दीए जाने की आवश्यकता है।इसे अपने पाँव पर चलने से में समय लगेगा।।
बाइट-1-डॉ. पराग मधुकर धकाते(चीफ कंचरवेटर)
बाइट-2-डॉ. कोबस सिरोत (विशेषज्ञ एवं पशुचिकित्सक, साउथ अफ्रीका)


Conclusion:
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