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राज्य सरकार की मंजूरी के बाद STPF के गठन की कवायद में जुटा कॉर्बेट प्रशासन

दस साल का इंतजार खत्म हो गया और राज्य सरकार की ओर से एसटीपीएफ के गठन को मंजूरी मिल चुकी है. कॉर्बेट प्रशासन की मानें तो एसटीपीएफ के गठन के लिए शासन स्तर पर प्रस्ताव पास हो चुका है. कॉर्बेट प्रशासन को शासनादेश का इंतजार है.

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Published : Sep 3, 2019, 5:00 PM IST

रामनगर: कॉर्बेट पार्क में बाघों की सुरक्षा और संरक्षण को लेकर आखिरकार दस साल के लंबे इंतजार के बाद एसटीपीएफ बनाने के लिए शासन से प्रस्ताव पारित हो चुका है. एसटीपीएफ को खड़ा करने के लिए जल्द ही कॉर्बेट प्रशासन इसे अमलीजामा पहनायेगा. कॉर्बेट प्रशासन को शासन के जीओ का इंतजार है. बताया जा रहा है कि एसटीएफ के गठन के लिए 85 लोग की दरकार होगी. जिसमें 81 वन रक्षक, 3 वन क्षेत्रधिकारी और 1 एसीएफ स्तर के अधिकारी की तैनाती होगी.

कॉर्बेट टाइगर रिजर्व में बाघों की सुरक्षा को लेकर बनाई जाने वाली स्पेशल टाइगर प्रोटेक्शन फोर्स को शासन से हरी झंडी मिलने के बाद विभाग को शासनादेश का इंतजार है. रामनगर कॉर्बेट टाइगर रिजर्व विश्व में बाघों की राजधानी के रूप में जाना जाता है. देश का यह पहला टाइगर रिजर्व है, जहां बाघों की जनसंख्या घनत्व सबसे अधिक है.

पढ़ें- देहरादून में नकली दूध और पनीर बनाने वाले रैकेट का भंडाफोड़

हर चार साल में होने वाली बाघों की गणना में यहां बाघों की संख्या बढ़कर आती है. यही कारण है कि कॉर्बेट पर शिकारियों की नजर गढी रहती हैं. कार्बेट में शिकारियों पर अंकुश लगाने और बाघों की सुरक्षा व संरक्षण के लिए भारत सरकार ने दस साल पहले स्पेशल टाइगर प्रोटेक्शन फोर्स के गठन का निर्णय लिया था. राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) ने भी 2009 में एसटीपीएफ के गठन के लिए अपनी सैद्धांतिक सहमति भी दे दी थी. बावजूद इसके कुछ खामियों के चलते राज्य सरकार की ओर से एसटीपीएफ के गठन को हरी झंडी नहीं पा रही थी. जिसका कारण ये मामला अधर में पड़ा हुआ था.

लेकिन अब 10 सालों का लंबा इंतजार खत्म हो गया है. राज्य सरकार की ओर से एसटीपीएफ के गठन के लिए मंजूरी मिल चुकी है. कॉर्बेट प्रशासन की मानें तो एसटीपीएफ के गठन के लिए शासन स्तर पर प्रस्ताव पास हो चुका है. कॉर्बेट प्रशासन को शासनादेश का इंतजार है. जैसे ही शासनादेश की कॉपी उनके पास पहुंचेगी एसटीपीएफ के गठन की कार्यवाही शुरू कर दी जाएगी.

पढ़ें- अल्मोड़ा: भारी बारिश से एक मकान जमींदोज, एक लड़की की मौत, मवेशी जिंदा दफन

कॉर्बेट टाइगर रिजर्व के निदेशक राहुल कुमार ने बताया कि बाघों की सुरक्षा और उनके संरक्षण के लिए बनने वाली एसटीपीएफ में 85 लोग शामिल होंगे. जिनमें 1 वन रक्षक, 3 वन क्षेत्राधिकारी और 1 एसीएफ स्तर के अधिकारी एसटीपीएफ में तैनात रहेंगे. शासना स्तर पर बनने वाली नियमावली के अनुसार ही आगे की कार्रवाई की जायेगी.

रामनगर: कॉर्बेट पार्क में बाघों की सुरक्षा और संरक्षण को लेकर आखिरकार दस साल के लंबे इंतजार के बाद एसटीपीएफ बनाने के लिए शासन से प्रस्ताव पारित हो चुका है. एसटीपीएफ को खड़ा करने के लिए जल्द ही कॉर्बेट प्रशासन इसे अमलीजामा पहनायेगा. कॉर्बेट प्रशासन को शासन के जीओ का इंतजार है. बताया जा रहा है कि एसटीएफ के गठन के लिए 85 लोग की दरकार होगी. जिसमें 81 वन रक्षक, 3 वन क्षेत्रधिकारी और 1 एसीएफ स्तर के अधिकारी की तैनाती होगी.

कॉर्बेट टाइगर रिजर्व में बाघों की सुरक्षा को लेकर बनाई जाने वाली स्पेशल टाइगर प्रोटेक्शन फोर्स को शासन से हरी झंडी मिलने के बाद विभाग को शासनादेश का इंतजार है. रामनगर कॉर्बेट टाइगर रिजर्व विश्व में बाघों की राजधानी के रूप में जाना जाता है. देश का यह पहला टाइगर रिजर्व है, जहां बाघों की जनसंख्या घनत्व सबसे अधिक है.

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हर चार साल में होने वाली बाघों की गणना में यहां बाघों की संख्या बढ़कर आती है. यही कारण है कि कॉर्बेट पर शिकारियों की नजर गढी रहती हैं. कार्बेट में शिकारियों पर अंकुश लगाने और बाघों की सुरक्षा व संरक्षण के लिए भारत सरकार ने दस साल पहले स्पेशल टाइगर प्रोटेक्शन फोर्स के गठन का निर्णय लिया था. राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) ने भी 2009 में एसटीपीएफ के गठन के लिए अपनी सैद्धांतिक सहमति भी दे दी थी. बावजूद इसके कुछ खामियों के चलते राज्य सरकार की ओर से एसटीपीएफ के गठन को हरी झंडी नहीं पा रही थी. जिसका कारण ये मामला अधर में पड़ा हुआ था.

लेकिन अब 10 सालों का लंबा इंतजार खत्म हो गया है. राज्य सरकार की ओर से एसटीपीएफ के गठन के लिए मंजूरी मिल चुकी है. कॉर्बेट प्रशासन की मानें तो एसटीपीएफ के गठन के लिए शासन स्तर पर प्रस्ताव पास हो चुका है. कॉर्बेट प्रशासन को शासनादेश का इंतजार है. जैसे ही शासनादेश की कॉपी उनके पास पहुंचेगी एसटीपीएफ के गठन की कार्यवाही शुरू कर दी जाएगी.

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कॉर्बेट टाइगर रिजर्व के निदेशक राहुल कुमार ने बताया कि बाघों की सुरक्षा और उनके संरक्षण के लिए बनने वाली एसटीपीएफ में 85 लोग शामिल होंगे. जिनमें 1 वन रक्षक, 3 वन क्षेत्राधिकारी और 1 एसीएफ स्तर के अधिकारी एसटीपीएफ में तैनात रहेंगे. शासना स्तर पर बनने वाली नियमावली के अनुसार ही आगे की कार्रवाई की जायेगी.

Intro:नोट-विजुअल wrap से भेजा गया है जबकि बाइट और स्क्रिप्ट मोजों से भेजी गई है। डेक्स प्लीज चेक कर लें।

summary- कॉर्बेट में बाघों की सुरक्षा और संरक्षण को लेकर आखिरकार दस वर्षो के लंबे इंतजार के बाद एसटीपीएफ को बनाने के लिए शासन से प्रस्ताव पारित हो चुका है। बहुत जल्दी ही एसटीपीएफ को खड़ा करने के लिए कॉर्बेट प्रशासन इसे अमलीजामा पहनायेगा। कॉर्बेट प्रशासन को शासन के जीओ का इंतजार है। बताया जा रहा है कि एसटीएफ के गठन के लिए 85 लोग की दरकार होगी। जिसमें 81 वन रक्षक, 3 वन क्षेत्रअधिकारी और 1 एसीएफ स्तर के अधिकारी की तैनाती होगी।

intro- कॉर्बेट टाइगर रिजर्व में बाघों की सुरक्षा को लेकर बनाई जाने वाली स्पेशल टाइगर प्रोटेक्शन फोर्स को शासन से हरी झंडी मिलने के बाद विभाग को शासनादेश का इंतजार है। जिसके बाद इस फोर्स को लेकर कार्यवाही शुरू हो जाएगी।


Body:vo.- रामनगर कॉर्बेट टाइगर रिजर्व विश्व में बाघों की राजधानी के रूप में जाना जाता है। देश का यह पहला टाइगर रिजर्व है जहां बागों का जनसंख्या घनत्व सबसे अधिक है हर चार साल में होने वाली बाघों की गणना में यहां बाघों की संख्या बढ़कर आती है। जिसको देखते हुए बाघों के शिकारियों की नजर कॉर्बेट में गढ़ी रहती है। जिसको देखते हुए लगभग दस वर्ष पूर्व बाघों की सुरक्षा के लिहाज़ से स्पेशल टाइगर प्रोटेक्शन फोर्स के गठन का निर्णय भारत सरकार द्वारा लिया गया था। और इस फोर्स के गठन के लिए हरी झंडी दिखा दी गई थी। राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) ने भी 2009 में एसटीपीएफ के गठन के लिए अपनी सैद्धांतिक सहमति भी दे दी थी। बावजूद इसके कुछ खामियों के चलते एसटीपीएफ के गठन में राज्य सरकार द्वारा हरी झंडी मिल पाना मुश्किल हो रहा था। हालांकि दस वर्ष के लंबे इंतजार के बाद अब भाजपा की राज्य सरकार ने एसटीपीएफ के गठन के लिए सहमति मिल चुकी। कॉर्बेट प्रशासन की मानें तो शासन स्तर से एसटीपीएफ के गठन के लिए प्रस्ताव शासन स्तर पर पास हो चुका है। कॉर्बेट प्रशासन को शासनादेश का इंतजार है। जैसे ही शासनादेश की कॉपी उनके पास पहुंचेगी एसटीपीएफ के गठन की कार्यवाही शुरू कर दी जाएगी। उन्होंने बताया कि बाघों की सुरक्षा और उनके संरक्षण के लिए बनने वाली एसटीपीएफ में 85 लोग शामिल होंगे। जिनमें 1वन रक्षक, 3 वनक्षेत्राधिकारी और 1 एसीएफ स्तर के अधिकारी एसटीपीएफ में तैनात रहेंगे।शासना
स्तर पर बनने वाली नियमावली के अनुसार ही आगे की कार्रवाई की जायेगी।

byte- राहुल कुमार (निर्देशक,कॉर्बेट टाइगर रिजर्व)


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