हरिद्वार: ऋषिकुल आयुर्वेदिक कॉलेज (Rishikul Ayurvedic College) के बीएएमएस के छात्रों ने अपनी मांग नहीं माने जाने पर कॉलेज में तालाबंदी कर दी. छात्रों का आरोप है कि ना केवल कॉलेज प्रबंधन, बल्कि प्रदेश सरकार भी स्टाइपेंड बढ़ाने को लेकर उन्हें लगातार गुमराह करती आ रही है. अब जब तक हमारा स्टाइपेंड एमबीबीएस के छात्रों के बराबर नहीं किया जाता, तब तक उनका कॉलेज में तालाबंदी कर विरोध प्रदर्शन जारी रहेगा.
छात्रों का आरोप है कि कोरोना काल में जिस तरह एमबीबीएस के छात्रों ने जन सेवा की. उसी तरह ऋषिकुल और गुरुकुल में पढ़ने वाले बीएएमएस के छात्रों ने दिन-रात अपनी सेवाएं दी. कोरोना काल में भी इन छात्रों ने बढ़-चढ़कर लोगों की सेवा की, लेकिन जब स्टाइपेंड देने की बारी आई तो एमबीबीएस और बीएएमएस के छात्रों में सरकार द्वारा भेदभाव किया गया.
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बता दें कि बीते कई महीनों से बीएएमएस के छात्र अपना स्टाइपेंड एमबीबीएस के छात्रों के बराबर करने की मांग करते आ रहे हैं, लेकिन कहीं कोई सुनवाई नहीं हो रही है. बीते शुक्रवार को भी छात्रों ने ऋषिकुल आयुर्वेदिक कॉलेज में स्टाइपेंड बढ़ाने को लेकर हंगामा किया था, जिसके बाद न केवल कॉलेज प्रबंधन, बल्कि सरकार की ओर से भी जल्द इस पर निर्णय लेने की बात की गई थी. छात्रों का कहना है कि उन्हें आश्वासन दिया था कि सोमवार तक उनका स्टाइपेंड बढ़ा दिया जाएगा, लेकिन अब उन्हें पता चला है कि उनके साथ धोखा किया गया है.
क्या कहते हैं छात्र: बीएएमएस छात्रा पूजा ने कहा हमारी मांग है कि स्टाइपेंड 17,000 किया जाए, लेकिन हमारे वाइस चांसलर और रजिस्ट्रार ने हमसे झूठ बोला कि हमारा स्टाइपेंड बढ़ाया जा चुका है. सोमवार को जब हम सचिवालय पहुंचे तो पता चला कि कुछ देर पहले ही हमारी फाइल वहां पहुंची थी. जिसके विरोध स्वरूप न केवल आज से हम अनिश्चितकालीन धरने पर बैठ हैं, बल्कि हमने कॉलेज में तालाबंदी भी कर दी है. अब जब तक हमारा स्टाइपेंड नहीं बढ़ाया जाता हम इसी तरह तालाबंदी करके हड़ताल करते रहेंगे.