देहरादूनः उत्तराखंड में करीब 9 साल के लंबे इंतजार के बाद वर्चुअल क्लास की शुरूआत हो गई है. देहरादून के तपोवन स्थित नवोदय विद्यालय में बतौर मुख्य अतिथि सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने वर्चुअल क्लास के स्टूडियो का शुभारंभ किया. इस दौरान सीएम त्रिवेंद्र और शिक्षा मंत्री अरविंद पांडे ने छात्रों की पहली वर्चुअल क्लास ली. जिसमें कई छात्र-छात्राओं ने सवाल भी पूछे और अपने स्कूलों की समस्याएं भी रखीं.
दरअसल, उत्तराखंड के 1200 स्कूलों को वर्चुअल क्लास से जोड़ा जाना है. शनिवार को शुभारंभ के मौके पर डेढ़ सौ स्कूलों को वर्चुअल क्लास से जोड़ा गया. इसके बाद आने वाले समय में 500 स्कूलों को और जोड़ा जाएगा और फिर बाकी बचे स्कूलों को भी जोड़ने का प्रयास किया जाएगा.
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पहले दिन मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत और शिक्षा मंत्री अरविंद पांडे समेत शिक्षा सचिव मीनाक्षी सुंदरम वर्चुअल क्लास के स्टूडियो में बैठकर बच्चों से रूबरू हुए. जिसमें स्वराज विविध स्कूलों के छात्रों ने कई सवाल किए और उन्हें उनके सवालों के जवाब भी मिले.
इस दौरान मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि यह एक बेहतर कदम है. सरकार इस पर भी विचार कर रही है कि स्कूलों के भवनों का इस्तेमाल 6 घंटे बाद कैसे और किन चीजों के लिए किया जा सकता है? साथ ही कहा कि वर्चुअल तकनीक का इस्तेमाल जागरुकता, स्वास्थ्य, खेती और साक्षरता बढ़ाने जैसे विषयों पर भी करने के निर्देश दिए गए हैं.
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जिलेवार चयनित 500 स्कूलों के वर्चुअल क्लास-
- अल्मोड़ा- 52
- बागेश्वर- 10
- चमोली- 45,
- चंपावत- 15
- देहरादून- 46
- हरिद्वार- 10
- नैनीताल- 61
- पौड़ी- 82
- पिथौरागढ़- 40
- रुद्रप्रयाग- 21
- टिहरी- 52
- उधमसिंह नगर- 33
- उत्तरकाशी- 33 वर्चुअल क्लासरूम तैयार किए जाएंगे.
वहीं, इस परियोजना में अध्ययनरत करीब 1.20 लाख बच्चे लाभांवित होंगे.