देहरादून: उत्तराखंड में पेपर लीक के बाद राजस्व उप निरीक्षक यानी पटवारी-लेखपाल की भर्ती परीक्षा निरस्त कर दी गई है. अब यह परीक्षा दोबारा से 12 फरवरी को आयोजित होगी. यह जानकारी उत्तराखंड लोक सेवा आयोग ने दी है. वहीं, 12 फरवरी 2023 को पूर्व निर्धारित सहायक लेखाकार/लेखा परीक्षक परीक्षा अब 19 फरवरी को आयोजित की जाएगी. इसके अलावा बाकी सभी परीक्षाएं एवं साक्षात्कार आयोग की ओर से पूर्व में जारी परीक्षा कैलेंडर के अनुसार आयोजित की जाएगी.
गौर हो कि पटवारी भर्ती की परीक्षा 8 जनवरी (रविवार) को हुई थी. इस बार पटवारी भर्ती की परीक्षा राज्य लोक सेवा आयोग उत्तराखंड (UKPSC) ने करवाई थी, लेकिन इसके प्रश्न पत्र लीक हो गए थे. इस संबंध में एसटीएफ ने लोक सेवा आयोग के अनुभाग अधिकारी संजीव चतुर्वेदी समेत सात लोगों को गिरफ्तार किया है. संजीव चतुर्वेदी के पास से आउट प्रश्न पत्र की कॉपियां और प्रश्न पत्र लीक कर अवैध रूप से कमाए 22 लाख 50 हजार रुपयों की बरामदगी भी हुई है. जिसके बाद सरकार ने संजीव प्रकाश चतुर्वेदी को सस्पेंड कर दिया है.
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इस बार सरकार ने पारदर्शी भर्ती परीक्षा कराने की जिम्मेदारी UKPSC को दी थी, लेकिन UKPSC की ओर से आयोजित दूसरा ही पेपर लीक हो गया. एसटीएफ को पेपर लीक से जुड़ी जानकारी मिली थी, जिसके बाद जांच शुरू की गई. सूचना की पुष्टि के लिए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक एसटीएफ आयुष अग्रवाल ने विस्तृत जांच की. जांच में आरोपों की पुष्टि होने पर आज 12 जनवरी 2023 को हरिद्वार के थाना कनखल में IPC की धारा 409, 420, 467, 468, 471, 120बी व 3/4 उत्तर प्रदेश/उत्तराखंड सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधनों की रोकथाम) निवारण अधिनियम 1998 के तहत केज दर्ज किया गया. एसटीएफ इस पूरे मामले की जांच कर रही है और टीम में अभी इस गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश कर रही है.
अपराध का तरीका: एसएसपी एसटीएफ आयुष अग्रवाल ने बताया कि लोक सेवा आयोग उत्तराखंड की ओर से बीती 8 जनवरी 2023 को आयोजित लेखपाल और पटवारी के एग्जाम पेपर तैयार करने में आयोग के अति गोपन कार्यालय में अनुभाग-3 की ओर से किया गया था. इसमें अनुभाग में नियुक्त अधिकारी संजीव चतुर्वेदी ने अपनी कस्टडी से प्रश्न पत्र को अपनी पत्नी रितु के साथ मिलकर संजीव कुमार को उपलब्ध कराया. इस पेपर लीक एवज में संजीव कुमार ने रितु को मोटी नकद धनराशि दी
इस प्रश्न पत्र को संजीव कुमार और राजपाल ने राजकुमार समेत अन्य के माध्यम से 35 अभ्यर्थियों को बांटा. इसके बाद उत्तर प्रदेश के बिहारीगढ़ स्थित माया अरुण रिजॉर्ट और ग्राम सेठपुर लक्सर हरिद्वार के साथ अन्य स्थानों में पढ़ाया. फार्म हाउस में 35 अभ्यर्थियों को पेपर सॉल्व कराया गया. इसी तरह से हरिद्वार समेत अन्य स्थानों पर भी अभ्यर्थियों को पेपर सॉल्व कराने की बात सामने आई है. फिलहाल, मामले में जांच जारी है. अन्य अभियुक्तों और उनकी ओर से अवैध रूप से अर्जित धनराशि के संबंध में भी कार्रवाई की जा रही है.
ऐसे खुला था पहले मामला: जब परीक्षा में गड़बड़ी की शिकायतें पता चलने लगीं तो बेरोजगार संगठनों समेत कई छात्रों ने मुख्यमंत्री धामी से मिलकर इस परीक्षा में हुई अनियमितताओं की जांच को लेकर मांग की. जब शिकायतकर्ता मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के पास पहुंचे और उन्होंने कुछ व्हाट्सएप स्क्रीनशॉट और कुछ तथ्य मुख्यमंत्री के सामने रखे तो मुख्यमंत्री ने तत्काल प्रभाव से इस मामले पर कार्रवाई के निर्देश दिए. इसके बाद 22 जुलाई 2022 को रायपुर थाने में मुकदमा दर्ज कराया गया. बाद में पुलिस ने इस मामले की जांच एसटीएफ को सौंपी.