देहरादून: लंबे इंतजार के बाद शिक्षा सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम की ओर से जारी आदेश में यह साफ कर दिया गया है कि शिक्षा सत्र 2020-21 से स्कूलों और मदरसों में पढ़ने वाले छात्रों के किताबों का पैसा डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (डीबीटी) से ही मिलेगा. इसके लिए शासन स्तर से जिलों को धनराशि जारी कर दी गई है. पिछले साल तक सरकार खुद ही किताब खरीदकर बच्चों को बांटने पर विचार कर रही थी.
गौर हो कि सरकारी स्कूलों और मदरसों में कक्षा 1 से लेकर 8वीं तक के सभी वर्गों के छात्रों के लिए सरकार डीबीटी के तहत पैसा खातों में डालेगी. कक्षा 9वीं से लेकर 12वीं तक के केवल एसटी/एससी वर्ग के छात्र-छात्राओं को ही किताबों के लिए पैसा दिया जाएगा.
जिलों को भेजी गई धनराशि
जिले के नाम | जारी की गई धनराशि |
अल्मोड़ा | 112.64 लाख |
बागेश्वर | 57.74 लाख |
चमोली | 79.07 लाख |
चंपावत | 53.47 लाख |
देहरादून | 180.41 लाख |
हरिद्वार | 294.22 लाख |
नैनीताल | 144.25 लाख |
पौड़ी | 106.01 लाख |
पिथौरागढ़ | 83.76 लाख |
रुद्रप्रयाग | 52.56 लाख |
टिहरी | 119.70 लाख |
उत्तरकाशी | 70.44 लाख |
उधम सिंह नगर | 271.17 लाख |
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बता दें कि सरकार की ओर से कक्षा 1 से 5वीं में पढ़ने वाले छात्रों को 250 रुपए दिए जाते हैं, छठी से आठवीं में पढ़ने वाले छात्रों को 400 रुपए और कक्षा नौवीं से बारहवीं तक के एससी-एसटी के छात्र-छात्राओं को 700 से 1200 रुपए तक दिए जाते हैं. इनकी संख्या प्रदेश में 80 हजार से ज्यादा है.
किताबों के लिये 2225 लाख की धनराशि अनुमोदित की गई है, जिसमें से 1625 लाख से अधिक की धनराशि जिलों को भेज दी गई है. सरकारी स्कूल, अशासकीय स्कूल, मान्यता प्राप्त मदरसे जो तय पाठ्यक्रम को लागू करते हैं, उनके बच्चों को स्कूली किताबों के लिए धनराशि दी जाएगी.