देहरादून: उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (UKSSSC) ने विवादों के बीच मुख्य आरक्षी और पुलिस दूरसंचार विभाग की लिखित प्रतियोगी परीक्षा का संचालन किया. परीक्षा में 23,462 अभ्यर्थी शामिल हुए. आयोग ने बताया गया कि परीक्षा में किसी भी अप्रिय घटना या गड़बड़ी की कोई सूचना नहीं है. आयोग ने इस परीक्षा के संचालन के लिए सभी केंद्र अधीक्षकों के साथ साथ समस्त अधिकारियों, कर्मचारियों और सेवा प्रदाताओं का भी आभार जताया है. जल्द ही आयोग की वेबसाइट पर इस परीक्षा की आंसर शीट को भी पब्लिश किया जाएगा और अभ्यर्थियों को प्रश्नों पर चुनौती का भी अवसर दिया जाएगा.
उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग इस वक्त बड़े विवादों से घिरा हुआ है. दरअसल, बीते वर्ष 2021 के दिसंबर माह में 4 और 5 तारीख को हुए ग्रेजुएट लेवल के 916 पदों की भर्ती परीक्षा में पेपर लीक मामला इन दिनों चर्चा में है. पुलिस ने आयोग के साथ काम कर रही एक आउटसोर्सिंग एजेंसी के डाटा एंट्री ऑपरेटर को भी गिरफ्तार किया था, जिसके बाद आयोग के साथ काम कर रही इस आउटसोर्सिंग कंपनी पर सवाल उठ रहे थे. लेकिन उसके बाद आयोग ने स्पष्ट किया कि इस आउटसोर्सिंग कंपनी की जिम्मेदारियां बदल दी गई हैं. अब सभी संवेदनशील जगहों से इस कंपनी के दखल को हटा दिया गया है.
आयोग गड़बड़ी के बाद कर रहा है सुधार: लोगों में इस बात को लेकर भी असमंजस की स्थिति थी कि आयोग अब आने वाली परीक्षाओं को लेकर किस तरह का रुख लेगा. वहीं, रविवार 31 जुलाई को उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने एक और परीक्षा का संचालन कर संदेश देने की कोशिश की है कि आयोग अपनी भर्ती प्रक्रिया पर किसी भी तरह का विराम नहीं लगाएगा. लगातार हो रही कमियों को दूर करते हुए आगे उनमें सुधार करेगा.
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रविवार को 23 हजार से ज्यादा लोगों ने दी परीक्षा: उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने बीते रोज रविवार को पहली पाली में सुबह 10 बजे से 12 बजे तक पुलिस दूरसंचार विभाग के कुल 272 पदों के लिए लिखित परीक्षा का आयोजन किया. इस परीक्षा के लिए कुल 43,984 अभ्यर्थियों को प्रवेश पत्र जारी किये गये थे. उसमें से 39,884 अभ्यर्थियों ने अपने प्रवेश पत्र डाउनलोड किये और 23,462 अभ्यर्थी लिखित परीक्षा में उपस्थित हुए. इस प्रकार उपस्थिति 54 प्रतिशत रही.
प्रदेश के 5 जिलों के 101 परीक्षा केंद्रों पर परीक्षा का आयोजन किया गया था. सभी अभ्यर्थियों की हैंड मेटल डिटेक्टर डिवाइस से फ्रीस्किंग और सुरक्षा जांच की गई. सभी अभ्यर्थियों की बायोमेट्रिक उपस्थिति ली गयी. इसमें अभ्यर्थी की फोटो और अंगूठे का निशान लिया गया. इसको अभिलेख सत्यापन के समय वेरिफाई भी किया जाएगा.