देहरादून: साल 2020 के अंत से पहले 18 दिसंबर को राज्य परिवहन प्राधिकरण की महत्वपूर्ण बैठक होने जा रही है. जिसमें स्मार्ट सिटी लिमिटेड के तहत राजधानी में संचालित होने जा रहे स्मार्ट इलेक्ट्रिक बसों के किराए पर निर्णय लिया जा सकता है. इसके साथ ही बैठक में परिवहन से जुड़े अन्य बिंदुओं पर भी चर्चा की जाएगी.
गौरतलब है कि स्मार्ट सिटी परियोजना के तहत इन दिनों राजधानी देहरादून में स्मार्ट सिटी लिमिटेड के तहत लाई गई पहली प्रोटो इलेक्ट्रिक बस का ट्रायल किया जा रहा है. दिसंबर माह के अंत तक राजधानी के विभिन्न रूटों पर 11 इलेक्ट्रिक बसों का संचालन किया जाना है. जिसके किराए को लेकर राज्य परिवहन प्राधिकरण की बैठक में निर्णय लिया जा सकता है. जिसे अंतिम मुहर के लिए शासन को भेजा जाएगा.
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वहीं, ईटीवी भारत से बात करते हुए उपायुक्त परिवहन सनत कुमार सिंह ने बताया कि स्मार्ट सिटी परियोजना के तहत राजधानी में संचालित होने जा रहे स्मार्ट इलेक्ट्रिक बसों का किराया सामान्य सिटी बसों की तुलना में कुछ अधिक होगा. इसका मुख्य कारण यह है कि अवश्य सामान्य सिटी बसों की तुलना में ज्यादा आरामदायक और पूरी तरह से वातानुकूल है. साथ ही हिमाचल और उत्तर प्रदेश परिवहन निगम की ओर से भेजे गए प्रस्ताव पर भी बैठक में चर्चा की जाएगी. जिसके तहत हिमाचल और उत्तर प्रदेश के लिए कुछ नई बसों के संचालन पर निर्णय लिया जा सकता है.
सूत्रों के मुताबिक, स्मार्ट इलेक्ट्रिक बसों का किराया सामान्य सिटी बसों की तुलना में 25 से 30% अधिक हो सकता है. इस तरह सामान्य सिटी बसों की तुलना में इन स्मार्ट इलेक्ट्रिक बसों का किराया आम नागरिकों के जेब पर कुछ भारी पड़ सकता है. लेकिन वहीं दूसरी तरफ उन लोगों के लिए स्मार्ट इलेक्ट्रिक बस काफी फायदमंद होगी जो निजी टैक्सी बुक कर देहरादून से जॉली ग्रांट एयरपोर्ट का रुख करते हैं. जहां सामान्य तौर पर टैक्सी से जॉलीग्रांट एयरपोर्ट जाने पर 1000 से 1200 रुपए तक का किराया देना पड़ता है. तो वहीं स्मार्ट इलेक्ट्रिक बस से जॉलीग्रांट एयरपोर्ट तक का सफर यात्री महज 200 से 250 के रुपये में कर सकेंगे.