देहरादून: एलजीबीटी समुदाय ने आज राजधानी देहरादून में प्राइड मार्च निकाला. प्राइड मार्च परेड ग्राउंड से शुरू हुआ. जिसके बाद प्राइड मार्च सर्वे चौक, कनक चौक, बुद्धा चौक से होते हुए वापस परेड ग्राउंड पर आकर समाप्त हुआ. इस प्राइड मार्च में समुदाय से जुड़े लोगों के साथ ही उनके समर्थकों और संस्थाओं ने भाग लिया. थर्ड जेंडर को आज के दिन मान्यता मिली थी. जिसके अवसर पर ये प्राइड मार्च निकाला गया. .
रंगों से भरे फ्लैग और रंग बिरंगी पोशाकों के बीच एलजीबीटी समुदाय ने आज के दिन यानी 15 अप्रैल को मान्यता मिलने के मौके पर प्राइड मार्च निकाला. इस मौके पर प्राइड मार्च में शामिल सागर रस्तोगी ने कहा यह उनकी पूरे भारत में 13 वीं प्राइड मार्च है. इस प्राइड मार्च में लेस्बियन, गे, ट्रांसजेंडर्स भाग ले रहे हैं. उन्होंने कहा इसके माध्यम से हम सरकार को संदेश देना चाहते हैं कि हम माइनॉरिटी में नहीं बल्कि मेजॉरिटी में है. हमें भी अन्य लोगों की भांति सुविधाएं मिलनी चाहिए. हम चाहते हैं कि समाज की सोच बदले. हमें भी लोग अपने जैसा समझें. उन्होंने कहा अन्य लोगों की भांति हमें भी अस्पतालों में उसी प्रकार की सुविधाएं मिलनी चाहिए.
पढे़ं- 'दृष्टि' पत्र से तैयार होगी लोकसभा चुनाव की जमीन!, पार्टी को मजबूत करने में जुटी धामी सरकार
रागिनी ने कहा सरकार से हम उम्मीद रखते हैं कि उन्हें भी समाज की मुख्यधारा में शामिल होने का मौका मिले. उन्होंने कहा समलैंगिकता का कोई अपराध नहीं है. ऐसे में भारत की सभ्यता के अनुसार सबको अपना जीवन जीने का अधिकार है. हमें इस सच को अपनाना होगा. इधर प्राइड वॉक में शामिल होने पहुंची उत्तर प्रदेश की रहने वाली चाहत रौतेला का कहना है कि आम लोगों की तरह हमें भी जीवन जीने का अधिकार मिलना चाहिए. उन्होंने कहा हम भी आत्मसम्मान के साथ जीने का हक चाहते हैं.
पढे़ं- दुनिया में 'योग की राजधानी' के रूप में प्रसिद्ध है ऋषिकेश, श्री राम ने भी की थी यहां तपस्या
दरअसल, शनिवार को एलजीबीटी समुदाय के संगठनों ने प्राइड वॉक के जरिए एकजुटता का संदेश दिया. जिसमें अन्य राज्यों से आए ट्रांसजेंडर्स ने मार्च निकाला. अपने संदेश में एलजीबीटी समुदाय ने कहा हम भी इसी समाज का हिस्सा है,हमें अपनी लैंगिकता और जेंडर पर हमेशा गर्व रहेगा.