देहरादून: किसान कांग्रेस कमेटी ने केंद्र सरकार द्वारा लगातार बढ़ाई गई पेट्रोल डीजल और रसोई गैस की कीमतों में वृद्धि के खिलाफ देहरादून के ईसी रोड स्थित पेट्रोल पंप पर जमकर प्रदर्शन किया. इस मौके पर पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत भी प्रदर्शन में पहुंचे और किसान कांग्रेस की मांगों को जायज ठहराया.
प्रदर्शन के दौरान पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि पेट्रोल डीजल की बढ़ती कीमतों के खिलाफ उन्होंने दो-चार दिन के लिए अपने कार्यक्रम टाल दिए हैं. एक कार्यक्रम के तहत वह चौराहे पर गैस सिलेंडर को अपने सर के ऊपर रखकर पेट्रोलियम पदार्थों की बढ़ती कीमतों पर अपना विरोध जताएंगे. उन्होंने अपने समर्थकों को विरोध-प्रदर्शन में शामिल नहीं होने को कहा है. उनका कहना है कि इससे जनता के विरोध को बल मिल सकेगा.
वहीं, पूर्व सीएम हरीश रावत दूसरे कार्यक्रम के तहत रोडवेज के बढ़े हुए किराए को लेकर भी विरोध करेंगे. हरीश रावत ने कहा कि यदि मौजूदा सरकार राजनीति करेगी तो कांग्रेस भी चुप नहीं बैठेगी. भाजपा लगातार वर्चुअल रैलियां कर रही है. उन्होंने भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि हम आह भी भरते हैं तो हमें बदनाम किया जाता है, और यह कत्ल भी कर देते हैं तो कहते हैं इधर मत देखो.
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भारतीय किसान कांग्रेस के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष सुरेंद्र सोलंकी ने कहा कि महामारी के दौरान किसानों ने अपनी समस्याओं को लेकर कृषि मंत्री के आवास के सामने धरना दिया, लेकिन सरकार किसानों की समस्याओं पर ध्यान नहीं दे रही है. कोरोनाकाल में किसानों की ओर से डीजल की खपत ज्यादा हुई है. ऐसे में किसान कांग्रेस कमेटी लगातार मांग कर रही हैं कि किसानों को डीजल पर 20 रुपये की सब्सिडी पर दी जाए. वहीं, सरकार डीजल के दाम कम करने के बजाय दाम बढ़ा रही है. उन्होंने कहा कि देश के इतिहास में पहली बार डीजल के दाम पेट्रोल से महंगे हो गए हैं. ऐसे में किसानों को भारी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है.
दरअसल, पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने डीजल-पेट्रोल के बढ़ते दामों से नाराज होकर केंद्र सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला है. इसी कड़ी में पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत उत्तराखंड किसान कांग्रेस कमेटी के प्रदर्शन में पहुंचे और उनकी मांगों को जायज ठहराते हुए केंद्र और राज्य सरकार पर जमकर निशाना साधा.