मसूरी: दो महीने के लॉकडाउन ने सबकी कमर तोड़ दी है. लोगों को रेस्टोरेंट में खाना खिलाने वाले अब खुद भुखमरी की कगार पर पहुंच चुके हैं. होटल कारोबार से जुड़े लोगों का भी यही हाल है. आर्थिक संकट से घिरे होटल और रेस्टोरेंट व्यवसाइयों ने प्रदेश सरकार से मदद की गुहार लगाई है.
होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड ने इस संबंध में मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी भेजा है. एसोसिएशन के अध्यक्ष आर्यन माथुर और सचिव संजय अग्रवाल ने कहा कि अगर मांगों पर जल्दी कोई सकारात्मक निर्णय नहीं लिया जाता है तो इन व्यवसायों से जुड़े लोगों के सामने आर्थिक संकट खड़ा हो जाएगा. इस व्यवसाय से जुड़े हजारों लोग बेरोजगारी की कगार पर पहुंच जाएंगे.
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एसोसिएशन की मांग
- व्यवसाय को दोबारा शुरू करने के लिए शून्य ब्याज पर लोन दिया जाए.
- सब्सिडी देने के लिए वर्तमान टूरिज्म और इंडस्ट्री पॉलिसी में बदलाव किया जाए.
- प्रदेश और नगर निगम से मिलने वाले लाइसेंस और एनओसी को बढ़ाया जाए.
- एक साल तक लाइसेंस की फीस माफ की जाए.
- हाउस और सीवरेज टैक्स को माफ किया जाए.
- पानी व बिजली चार्ज उपयोग के हिसाब से लिया जाए.
मसूरी होटल एसोसिएशन के सचिव संजय अग्रवाल ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार को पर्यटन को बढ़ावा देने के साथ होटल और रेस्टोरेंट्स उद्योग को पुनर्जीवित करने के लिए जल्द कदम उठाने पड़ेंगे. होटल एसोसिएशन ने कई सुझाव दिए हैं. हालांकि अभीतक उन्हें सरकार की तरफ से कोई सकारात्मक जवाब नहीं मिला है, जिससे होटल और रेस्टोरेंट उद्योग से जुड़े व्यवसाई मायूस हैं.