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कोरोना की तीसरी लहर से निपटने के लिए तैयारियां तेज, 78 डॉक्टरों को किया गया चिन्हित - third wave of corona in uttarakhand

राज्य में कोरोना की तीसरी लहर से निपटने के लिए में स्वास्थ्य विभाग ने तैयारियां तेज कर दी हैं.

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स्वास्थ्य विभाग ने तेज की तैयारियां
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Published : Jun 7, 2021, 9:47 PM IST

देहरादून: कोरोना की दूसरी लहर कम होने के बाद अब तीसरी लहर भी आने वाली है. जिसमें अनुमान लगाया जा रहा है कि यह बच्चों के लिए खतरनाक साबित होने वाली है. तीसरी लहर के लिए स्वास्थ्य विभाग पिछले एक महीने से एक तैयारी कर रहा है. इस बार स्वास्थ्य विभाग निजी अस्पतालों के बाल रोग डॉक्टरों की सेवाएं लेगा. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी बाल रोग डॉक्टरों को चिन्हित करने में जुट गए हैं. अब तक 78 डॉक्टरों को चिन्हित किया जा चुका है.

स्वास्थ्य विभाग ने तेज की तैयारियां.

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने पैरामेडिकल, स्टाफ नर्स की भी जानकारी जुटाई जा रही है. साथ ही जरूरत पड़ने पर राजधानी सहित ऋषिकेश, मसूरी और विकासनगर में छोटे-छोटे क्लीनिक के जरिए बच्चों का इलाज कर रहे बाल रोग डॉक्टरों की सेवाएं भी इस दौरान ली जाएंगी.

पढ़ें- हिंद के योद्धाओं के लिए खास है 'आर्मी बैंड', रणबांकुरों का बढ़ाता है हौसला

नोडल अधिकारी दिनेश चौहान ने जानकारी देते हुए बताया तीसरी लहर के लिए चर्चाएं चल रही हैं. कोरोना की तीसरी लहर बच्चों के लिए खतरनाक हो सकती है. उसके लिए पिछले एक महीने से तैयारियां शुरू कर दी गई हैं. सभी सरकारी और निजी बड़े और छोटे अस्पतालों में निक्कू बेड और पिक्कू बेड की स्थिति के साथ अस्पतालों में बाल रोग डॉक्टर कितने काम कर रहे हैं, उसकी जानकारी ली गई है.

देहरादून: कोरोना की दूसरी लहर कम होने के बाद अब तीसरी लहर भी आने वाली है. जिसमें अनुमान लगाया जा रहा है कि यह बच्चों के लिए खतरनाक साबित होने वाली है. तीसरी लहर के लिए स्वास्थ्य विभाग पिछले एक महीने से एक तैयारी कर रहा है. इस बार स्वास्थ्य विभाग निजी अस्पतालों के बाल रोग डॉक्टरों की सेवाएं लेगा. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी बाल रोग डॉक्टरों को चिन्हित करने में जुट गए हैं. अब तक 78 डॉक्टरों को चिन्हित किया जा चुका है.

स्वास्थ्य विभाग ने तेज की तैयारियां.

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने पैरामेडिकल, स्टाफ नर्स की भी जानकारी जुटाई जा रही है. साथ ही जरूरत पड़ने पर राजधानी सहित ऋषिकेश, मसूरी और विकासनगर में छोटे-छोटे क्लीनिक के जरिए बच्चों का इलाज कर रहे बाल रोग डॉक्टरों की सेवाएं भी इस दौरान ली जाएंगी.

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नोडल अधिकारी दिनेश चौहान ने जानकारी देते हुए बताया तीसरी लहर के लिए चर्चाएं चल रही हैं. कोरोना की तीसरी लहर बच्चों के लिए खतरनाक हो सकती है. उसके लिए पिछले एक महीने से तैयारियां शुरू कर दी गई हैं. सभी सरकारी और निजी बड़े और छोटे अस्पतालों में निक्कू बेड और पिक्कू बेड की स्थिति के साथ अस्पतालों में बाल रोग डॉक्टर कितने काम कर रहे हैं, उसकी जानकारी ली गई है.

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