देहरादूनः उत्तराखंड के देहरादून में पुलिस ने एक और फर्जी डॉक्टर को गिरफ्तार किया है. अब तक पुलिस ऐसे सात फर्जी बीएएमएस की डिग्री लेकर इलाज कर रहे झोलाछाप डॉक्टरों को गिरफ्तार कर चुकी है. पुलिस ने ये सातवीं गिरफ्तारी मोहम्मद जावेद के रूप में की है, जो देहरादून के चूना भट्टा में अपना क्लीनिक चला रहा था. वहीं, फर्जी डिग्रियां मुहैया कराने वाला सरगना पर 25 हजार का इनाम घोषित किया गया है. वहीं, एसआईटी अब फर्जी डिग्री पर सरकारी पदों पर भर्ती होने वालों लोगों की कुंडली खंगालने जा रही है.
बता दें कि उत्तराखंड एसआईटी की टीम अब तक बहुचर्चित फर्जी बीएएमएस की डिग्री मामले में सात आरोपियों को गिरफ्तार कर चुकी है. पुलिस जांच में पता चला है कि एक फर्जी डिग्री के साढ़े 6 लाख रुपए तक दिए गए हैं. माना जा रहा है कि ऐसे ही कुछ और फर्जी डॉक्टरों की गिरफ्तारियां जल्द हो सकती हैं. जानकारी है कि पुलिस की रडार पर देहरादून के ऐसे 36 डॉक्टर हैं. जिनके हाथों पर जल्द हथकड़ी कस सकती है.
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वहीं, फर्जी डिग्रियां मुहैया कराने वाला गिरोह का सरगना इमलाख अभी फरार चल रहा है. जिस पर पुलिस ने 25 हजार का इनाम भी घोषित कर दिया है. साथ ही आरोपी की संपत्ति को कुर्क करने की तैयारी की जा रही है. फरार आरोपी इमलाख के साथी इमरान को एसटीएफ की टीम पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है. इमरान मुजफ्फरनगर स्थित बाबा ग्रुप ऑफ कॉलेज का चेयरमैन था. एसटीएफ ने डॉक्टरी की फर्जी डिग्री देने वाले गिरोह का पर्दाफाश बीती 11 जनवरी को किया था.
देहरादून एसपी क्राइम सर्वेश पंवार ने बताया कि फर्जी डिग्रियों के बारे में चिकित्सा परिषद के लोगों से भी पूछताछ की जानी है. पुलिस अपनी आगे की विवेचना में इसको शामिल करेगी. उन्होंने बताया कि गिरफ्तार आरोपी जावेद ने साल 2016-17 में फर्जी डिग्री मुहैया कराने वाले गिरोह के सरगना इमलाख से साढ़े छह लाख में फर्जी डिग्री ली थी. जिसके जरिए उसने क्लीनिक खोला था और आराम से मरीजों का इलाज भी कर रहा था.
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