देहरादून: इस समय पूरा देश आर्थिक मंदी के दौर से गुजर रहा है, जिसका असर उत्तराखण्ड में भी देखने को मिल रहा है. वहीं, राज्य सरकार मन्दी का कोई भी असर न होने की बात कह रही है. लेकिन, मंदी के कारण कई लोगों का रोजगार छिन गया है तो कई लोगो की नौकरियां खत्म हो गई. ये आंकड़ा दिन प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है.
सरकार के प्रवक्ता मदन कौशिक ने बताया कि उत्तराखंड राज्य में मंदी का कोई भी असर नहीं है. सरकार का तर्क है कि पिछले साल की तुलना में यहां प्रति व्यक्ति आय में बढ़ोत्तरी हुई है. राज्य के अंदर इस प्रकार की कोई स्थिति नहीं है. राज्य में कई योजनाएं भी सफल रूप से चलाई जा रही हैं. साथ ही बताया कि पिछले साल हुई इन्वेस्टर समिट के अंतर्गत अच्छा इन्वेस्ट राज्य के अंदर आया है. इसी कारण राज्य सरकार युवाओं को रोजगार से जोड़ने का प्रयास कर रही है.
राज्य सरकार भले ही इस बात को मानने से इंकार कर रही हो, लेकिन इंडस्ट्री से जुड़े कई लोगों का यह मानना है कि उत्तराखंड भी मंदी से अछूता नहीं है. औद्योगिक क्षेत्रों में पिछले 2 सालों में प्रोडक्शन में काफी गिरावट आई है, जिस पर सरकार को ध्यान देने की आवश्यकता है. वहीं, मंदी के कारण सबसे ज्यादा असर झेल रहे ऑटो सेक्टर का हाल बुरा है.
ये भी पढ़ें: लोक परंपराओं के संरक्षण का द्योतक है सातूं-आठूं महोत्सव, दूर-दराज से पहुंचते हैं लोग
राजधानी में मारुति की डीलरशिप के रीजनल मैनेजर पी सी उपाध्याय ने बताया कि पिछले कुछ समय में मार्केट में 20% की गिरावट दर्ज की गई है. जो कि विचारणीय प्रश्न है. मंदी में ऑटो सेक्टर की हालत खस्ता है. हर दिन शोरूम बंद होते जा रहे हैं और ऑटो सेक्टर में काम करने वाले निवेशक मंदी से परेशान हैं.