देहरादून: उत्तराखंड में कोरोना संक्रमण के मामलों में कमी आई है लेकिन ब्लैक फंगस तेजी से पांव पसार रहा है. प्रदेश में बड़ी संख्या में ब्लैक फंगस के मरीज सामने आ रहे हैं. स्वास्थ्य विभाग के अनुसार उत्तराखंड में अब तक म्यूकोमाइकोसिस (ब्लैक फंगस) के 260 मामले सामने आ चुके हैं. इसके साथ ही राज्य में अब तक ब्लैक फंगस से 36 लोगों की मौत हो चुकी है.
राजधानी देहरादून में ब्लैक फंगस के 232 मामले सामने आए हैं. इनमें सबसे ज्यादा मामले ऋषिकेश एम्स में भर्ती 156 मरीजों के हैं. देहरादून में अब तक ब्लैक फंगस से 30 लोगों की मौत हुई है, जबकि 16 लोग इस बीमारी से स्वस्थ हुए हैं. वहीं, उधम सिंह नगर में भी ब्लैक फंगस से अब तक एक मौत हुई है. नैनीताल में ब्लैक फंगस के अबतक 18 मामले सामने आए हैं. यहां भी ब्लैक फंगस से 5 लोगों की मौत हो चुकी है.
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ब्लैक फंगस को महामारी घोषित किए जाने के बाद अब सभी सरकारी एवं प्राइवेट अस्पतालों को इस बीमारी के मरीजों के बारे में सीएमओ कार्यालय को जानकारी देनी होगी. साथ ही ब्लैक फंगस के मरीजों के इलाज के लिए उत्तराखंड में 12 अस्पतालों को चयनित किया गया है. मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने इस संबंध में आदेश जारी करते हुए कहा था कि ब्लैक फंगस के मरीजों के उपचार के लिए प्रदेश में संचालित 12 डेडिकेटेड कोविड-19 हॉस्पिटल को अधिकृत किया जाता है. इसको लेकर सभी संबंधित जिलों के सीएमओ को निर्देश दिया गया है कि वह ब्लैक फंगस के मरीजों के समुचित उपचार की व्यवस्था तत्काल सुनिश्चित करें.
इन अस्पतालों में हो रहा है इलाज
- श्री महंत इंद्रेश हॉस्पिटल देहरादून
- ओएनजीसी अस्पताल देहरादून
- सीएमआई हॉस्पिटल देहरादून
- दून मेडिकल कॉलेज
- एम्स ऋषिकेश
- हिमालयन जौलीग्रांट अस्पताल
- मैक्स हॉस्पिटल देहरादून
- विनय विशाल देहरादून
- मिलिट्री हॉस्पिटल देहरादून
- सुशीला तिवारी अस्पताल हल्द्वानी
- वीर चंद्र सिंह गढ़वाली मेडिकल हॉस्पिटल श्रीनगर
- मैक्सवेल हॉस्पिटल देहरादून